ETV Bharat / state

उत्तराखंड: एक साल में बढ़े 1.5 लाख बिजली उपभोक्ता, फिर भी घाटे में विभाग - uttarakhand news

उत्तराखंड में बिजली उपोभक्ताओं की संख्या में बढ़ोतरी के बावजूद राज्य में बिजली की खपत घटी है. इस वजह से ऊर्जा विभाग का राजस्व भी घट गया है.

dehradun
ऊर्जा भवन
author img

By

Published : Jan 16, 2020, 2:24 PM IST

Updated : Jan 16, 2020, 4:07 PM IST

देहरादून: उत्तराखंड में साल 2019 के अनुसार बिजली के घरेलू और कमर्शियल उपभोक्ता करीब 23 लाख हैं. जबकि साल 2018 में प्रदेशभर में करीब 21.5 लाख उपभोक्ता थे. उपभोक्ताओं की संख्या बढ़ने के बावजूद भी एक से डेढ़ मिलियन यूनिट प्रतिदिन बिजली की खपत में गिरावट आयी है.

इसके पीछे जो भी कारण हो, लेकिन फिलहाल स्थिति यही है कि बिजली कि खपत बढ़ नहीं रही है. जिसकी वजह से ऊर्जा विभाग बिजली आपूर्ति के लिए रोजाना मात्र 2 से 5 मिलियन यूनिट ही अन्य राज्यों से बिजली खरीद रहा है. जिस वजह से ऊर्जा विभाग का राजस्व भी घट गया है.

फिर भी घाटे में ऊर्जा विभाग

साल 2018 में जब प्रदेश भर में 21.5 लाख बिजली उपभोक्ता थे. तब रोजाना बिजली खपत 39-40 मिलियन यूनिट थी और यूपीसीएल प्रतिदिन 8 से 12 मिलियन यूनिट बिजली अन्य राज्यों से खरीदता था लेकिन एक साल में बिजली कंज्यूमर की संख्या करीब डेढ़ लाख बढ़ने के बावजूद 2019 में बिजली खपत घटकर 38-39 मिलियन यूनिट प्रतिदिन हो गयी है.

ये भी पढ़े: पाक-चीन के मंसूबों पर फिरा पानी, सुरक्षा परिषद ने फिर किया कश्मीर मुद्दे पर बहस से इनकार

प्रतिदिन एक से दो मिलियन यूनिट बिजली खपत में गिरावट दर्ज की जा रही है. यही नहीं बिजली आपूर्ति के लिए अन्य राज्यों से बिजली खरीदने के यूनिट में गिरावट दर्ज हुई है. 2019 में यह घटकर 2 से 5 मिलियन यूनिट तक रह गया.

यूपीसीएल के एमडी बीसी के मिश्रा ने बताया कि बिजली खपत में कमी नहीं हुई है, लेकिन बिजली खपत जिस दर से बढ़नी चाहिए उस दर से नहीं बढ़ रही है. हालांकि ऊर्जा विभाग को सालाना 4 से 5 फीसदी तक बढ़ोत्तरी का अंदेशा था लेकिन उतनी नहीं बढ़ पाई है. जैसे जैसे टेक्नोलॉजी बढ़ रही है उसी तरह एनर्जी सेविंग एक्यूप्मेंट आ गए हैं. इसके कारण भी बिजली खपत में कमी हुई है.

देहरादून: उत्तराखंड में साल 2019 के अनुसार बिजली के घरेलू और कमर्शियल उपभोक्ता करीब 23 लाख हैं. जबकि साल 2018 में प्रदेशभर में करीब 21.5 लाख उपभोक्ता थे. उपभोक्ताओं की संख्या बढ़ने के बावजूद भी एक से डेढ़ मिलियन यूनिट प्रतिदिन बिजली की खपत में गिरावट आयी है.

इसके पीछे जो भी कारण हो, लेकिन फिलहाल स्थिति यही है कि बिजली कि खपत बढ़ नहीं रही है. जिसकी वजह से ऊर्जा विभाग बिजली आपूर्ति के लिए रोजाना मात्र 2 से 5 मिलियन यूनिट ही अन्य राज्यों से बिजली खरीद रहा है. जिस वजह से ऊर्जा विभाग का राजस्व भी घट गया है.

फिर भी घाटे में ऊर्जा विभाग

साल 2018 में जब प्रदेश भर में 21.5 लाख बिजली उपभोक्ता थे. तब रोजाना बिजली खपत 39-40 मिलियन यूनिट थी और यूपीसीएल प्रतिदिन 8 से 12 मिलियन यूनिट बिजली अन्य राज्यों से खरीदता था लेकिन एक साल में बिजली कंज्यूमर की संख्या करीब डेढ़ लाख बढ़ने के बावजूद 2019 में बिजली खपत घटकर 38-39 मिलियन यूनिट प्रतिदिन हो गयी है.

ये भी पढ़े: पाक-चीन के मंसूबों पर फिरा पानी, सुरक्षा परिषद ने फिर किया कश्मीर मुद्दे पर बहस से इनकार

प्रतिदिन एक से दो मिलियन यूनिट बिजली खपत में गिरावट दर्ज की जा रही है. यही नहीं बिजली आपूर्ति के लिए अन्य राज्यों से बिजली खरीदने के यूनिट में गिरावट दर्ज हुई है. 2019 में यह घटकर 2 से 5 मिलियन यूनिट तक रह गया.

यूपीसीएल के एमडी बीसी के मिश्रा ने बताया कि बिजली खपत में कमी नहीं हुई है, लेकिन बिजली खपत जिस दर से बढ़नी चाहिए उस दर से नहीं बढ़ रही है. हालांकि ऊर्जा विभाग को सालाना 4 से 5 फीसदी तक बढ़ोत्तरी का अंदेशा था लेकिन उतनी नहीं बढ़ पाई है. जैसे जैसे टेक्नोलॉजी बढ़ रही है उसी तरह एनर्जी सेविंग एक्यूप्मेंट आ गए हैं. इसके कारण भी बिजली खपत में कमी हुई है.

Intro:Ready To Air......

उत्तराखंड में साल 2019 के अनुसार बिजली के डोमेस्टिक और कॉमर्शियल के करीब 23 लाख कस्टमर हैं। वहीं साल 2018 के सापेक्ष करीब डेढ़ लाख कनेक्शन बढे हैं। क्योकि साल 2018 में प्रदेश भर में करीब 21.5 लाख कस्टमर थे। बावजूद इसके बिजली कि खपत बढ़ने के बजाय एक से डेढ़ मिलियन यूनिट प्रतिदिन, बिजली खपत में गिरावट आयी है। इसके पीछे जो भी कारण हो लेकिन फिलहाल स्थिती यही हैं की बिजली कि खपत बढ़ नही रही है। यही वजह रहा कि ऊर्जा विभाग, साल 2019 में बिजली आपूर्ति के लिए रोजाना मात्र 2 से 5 मिलियन यूनिट ही अन्य राज्यों से बिजली ख़रीद रहा है। जिस वजह से ऊर्जा विभाग का राजस्व भी घट गया है। 


Body:साल 2018 में जब प्रदेश भर में 21.5 लाख बिजली कस्टमर थे, तब रोजाना बिजली खपत 39-40 मिलियन यूनिट थी। और यूपीसीएल प्रतिदिन 8 से 12 मिलियन यूनिट बिजली अन्य राज्यों से खरीदता था। लेकिन एक साल में बिजली कंज्यूमर करीब डेढ़ लाख बड़े है बावजूद इसके साल 2019 में बिजली खपत 38-39 मिलियन यूनिट प्रतिदिन हो गयी यानि प्रतिदिन एक से दो मिलियन यूनिट बिजली खपत में गिरावट हुई दर्ज की गयी है। यही नहीं बिजली आपूर्ति के लिए अन्य राज्यों से बिजली खरीदने के यूनिट में गिरावट दर्ज हुई है। और साल 2019 में यह घटकर 2 से 5 मिलियन यूनिट तक रहा।  


वही यूपीसीएल के एमडी बी० सी० के० मिश्रा ने बताया कि बिजली खपत कम नहीं हुई है लेकिन बिजली खपत जिस दर से बढ़नी चाहिए उस दर से नहीं बढ़ रही है। हालांकि ऊर्जा विभाग को सालाना 4 से 5 फीसदी तक बढ़ोत्तरी का अंदेशा था लेकिन उतनी नहीं बढ़ पायी। साथ ही बताया कि जैसे जैसे टेक्नोलॉजी बढ़ रही है उसी तरह एनर्जी सेविंग एकुप्मेंट आ गयी है। जो कम बिजली खपत से ज्यादा ऑउटपुट देते है जिस वजह से बिजली खपत में कमी हुई है। 

बाइट - बी०सी०के० मिश्रा , एमडी, यूपीसीएल 




Conclusion:
Last Updated : Jan 16, 2020, 4:07 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.