देहरादून: उत्तराखंड विधानसभा में हुई भर्तियों (Uttarakhand assembly backdoor recruitment) को विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी (Assembly Speaker Ritu Khanduri) ने भले ही निरस्त करने का फैसला ले लिया हो, लेकिन भर्ती को लेकर विवादों में रहे कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल (Cabinet Minister Prem Chand Aggarwal) को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (CM Pushkar Singh Dhami) ने क्लीन चिट दे दी है. उधर सीएम ने भर्ती निरस्त का जल्द ही शासन से आदेश होने का भी इशारा किया.
उत्तराखंड विधानसभा में 228 भर्तियों के निरस्त होने से जुड़ा प्रस्ताव जल्द ही शासन को मिल जाएगा. विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी ने जांच कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर भाजपा और कांग्रेस सरकार में हुई इन 228 भर्तियों को निरस्त करने का फैसला लिया है, जिसका प्रस्ताव शासन को भेजने की बात कही गई है.
खास बात यह है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने विधानसभा अध्यक्ष के इस प्रस्ताव पर जल्द ही शासन स्तर से आदेश जारी किए जाने का इशारा कर दिया है. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि जो प्रस्ताव विधानसभा अध्यक्ष की तरफ से शासन को भेजा जा रहा है वह मात्र औपचारिकता है और अब यह सभी भर्तियां निरस्त करने के आदेश जल्द किए जाएंगे.
भर्तियों को निरस्त करने के मामले में भले ही मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी हो, लेकिन भर्तियों को लेकर सबसे ज्यादा विवादों में रहे वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने क्लीन चिट दे दी है.
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मीडिया द्वारा मुख्यमंत्री से पूछे गए सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि अब भर्तियां निरस्त हो चुकी है लिहाजा वित्त मंत्री को लेकर पूछे गए सवाल का कोई औचित्य नहीं है. जाहिर है कि इस मामले में सरकार के मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल सोशल मीडिया से लेकर विपक्ष के निशाने पर है, लेकिन भाजपा सरकार उनको लेकर कुछ स्पष्ट स्थिति नहीं बना पा रही है और इसीलिए मुख्यमंत्री ने प्रेमचंद्र के इस्तीफे के सवाल पर कन्नी काट दी.