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देहरादून: लॉकडाउन में प्रवासी मजदूरों पर दर्ज हुए मुकदमे होंगे वापस, शासन ने कसी कमर - case take back against files migrants during corona lockdown

कोरोना लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज किए गए मुकदमे वापस होने जा रहे है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन करते हुए उत्तराखंड पुलिस ने लगभग 289 मुकदमे चिन्हित किए हैं.

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पुलिस मुख्यालय
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Published : Jun 27, 2020, 6:58 PM IST

Updated : Jun 27, 2020, 7:17 PM IST

देहरादून: कोरोना लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज किए गए मुकदमे वापस होने जा रहे है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन करते हुए उत्तराखंड पुलिस ने लगभग 289 मुकदमे चिन्हित किए हैं. जिसके तहत 637 से अधिक प्रवासी मजदूरों के खिलाफ दर्ज मुकदमों को जल्द ही वापस लिया जा सकता है. प्रदेश के सभी 13 जिलों में दर्ज हुए मुकदमों का आंकड़ा लगभग तैयार हो चुका है. ऐसे में जल्द ही संबंधित सभी जिला अधिकारियों के माध्यम से केस वापस लेने वाले मुकदमों की लिस्ट तैयार कर शासन को भेजी जाएगी. जिसके बाद इस संबंध में अनुमति मिलने के बाद मुकदमे वापस लेने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी.

लॉकडाउन में प्रवासी मजदूरों पर दर्ज हुए मुकदमे होंगे वापस.
पुलिस मुख्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बाद राज्य के सभी 13 जिलों से प्रवासी मजदूरों पर दर्ज मुकदमों को वापस लेने की प्रक्रिया के तहत चिन्हीकरण का कार्य लगभग पूरा किया जा चुका है. वहीं, 113 मुकदमे जिनमें 328 लोग आरोपित हैं. इन सभी पर लॉकडाउन का उल्लंघन करने का आरोप लगा है. जबकि, बाकी आधे 176 मुकदमे जिनमें 309 प्रवासी मजदूर आरोपित हैं, इन पर क्वारंटाइन सेंटरों में उल्लंघन, मारपीट और तोड़फोड़ करने को लेकर मुकदमे दर्ज हुए हैं.


वह इस मामले में महानिदेशक (अपराध एवं कानून व्यवस्था) अशोक कुमार ने बताया कि राज्य के सभी 13 जिलों में लॉकडाउन के दौरान प्रवासियों के खिलाफ अलग-अलग मामलों में दर्ज मुकदमों की सूची लगभग तैयार की जा चुकी है. कुल मुकदमों की संख्या की अंतिम सूची जल्द ही तैयार कर जिलाधिकारियों के माध्यम से शासन को सौंपी जाएगी.

पढ़ें: सरकार के पास कोरोना से निपटने की योजना नहीं : राहुल गांधी

बता दें कि, पिछले दिनों सर्वोच्च न्यायालय द्वारा देश के सभी राज्यों को आदेशित करते हुए कहा गया था कि कोरोना लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज होने वाले मुकदमे वापस लिए जाए. इसी आदेश अनुसार उत्तराखंड में भी लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज होने वाले मुकदमों को वापस लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी है.

देहरादून: कोरोना लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज किए गए मुकदमे वापस होने जा रहे है. सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन करते हुए उत्तराखंड पुलिस ने लगभग 289 मुकदमे चिन्हित किए हैं. जिसके तहत 637 से अधिक प्रवासी मजदूरों के खिलाफ दर्ज मुकदमों को जल्द ही वापस लिया जा सकता है. प्रदेश के सभी 13 जिलों में दर्ज हुए मुकदमों का आंकड़ा लगभग तैयार हो चुका है. ऐसे में जल्द ही संबंधित सभी जिला अधिकारियों के माध्यम से केस वापस लेने वाले मुकदमों की लिस्ट तैयार कर शासन को भेजी जाएगी. जिसके बाद इस संबंध में अनुमति मिलने के बाद मुकदमे वापस लेने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी.

लॉकडाउन में प्रवासी मजदूरों पर दर्ज हुए मुकदमे होंगे वापस.
पुलिस मुख्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक सर्वोच्च न्यायालय के आदेश के बाद राज्य के सभी 13 जिलों से प्रवासी मजदूरों पर दर्ज मुकदमों को वापस लेने की प्रक्रिया के तहत चिन्हीकरण का कार्य लगभग पूरा किया जा चुका है. वहीं, 113 मुकदमे जिनमें 328 लोग आरोपित हैं. इन सभी पर लॉकडाउन का उल्लंघन करने का आरोप लगा है. जबकि, बाकी आधे 176 मुकदमे जिनमें 309 प्रवासी मजदूर आरोपित हैं, इन पर क्वारंटाइन सेंटरों में उल्लंघन, मारपीट और तोड़फोड़ करने को लेकर मुकदमे दर्ज हुए हैं.


वह इस मामले में महानिदेशक (अपराध एवं कानून व्यवस्था) अशोक कुमार ने बताया कि राज्य के सभी 13 जिलों में लॉकडाउन के दौरान प्रवासियों के खिलाफ अलग-अलग मामलों में दर्ज मुकदमों की सूची लगभग तैयार की जा चुकी है. कुल मुकदमों की संख्या की अंतिम सूची जल्द ही तैयार कर जिलाधिकारियों के माध्यम से शासन को सौंपी जाएगी.

पढ़ें: सरकार के पास कोरोना से निपटने की योजना नहीं : राहुल गांधी

बता दें कि, पिछले दिनों सर्वोच्च न्यायालय द्वारा देश के सभी राज्यों को आदेशित करते हुए कहा गया था कि कोरोना लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज होने वाले मुकदमे वापस लिए जाए. इसी आदेश अनुसार उत्तराखंड में भी लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर दर्ज होने वाले मुकदमों को वापस लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी है.

Last Updated : Jun 27, 2020, 7:17 PM IST
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