देहरादून: इसी हफ्ते सीएम त्रिवेंद्र रावत ने केंद्रीय सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री से मुलाकात कर भारत नेट 2.0 की मंजूरी प्राप्त की है. वहीं, उत्तराखंड में भारत नेट परियोजना के इस दूसरे चरण का किस तरह से फायदा होगा ये जानकारी उत्तराखंड आईटीडीए के निदेशक अमित सिन्हा ने दी.
उत्तराखंड सूचना प्रौद्योगिकी विकास एजेंसी के निदेशक अमित सिन्हा ने बताया कि भारत नेट फेज-1 में 1850 ग्राम पंचायतें प्रस्तावित थीं. अब भारत नेट फेज-2 के तहत 5,750 ग्राम पंचायतें और इस योजना के अंतर्गत आएंगी. यह भी नेट कनेक्टिविटी से जुड़ेंगी. आईटीडीए के निदेशक अमित सिन्हा ने बताया कि इस बार महत्वपूर्ण यह कि 15 अगस्त के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा इस योजना के तहत ग्राम पंचायत के अलावा एकल गांवों को भी इस योजना में जोड़ने के बात कही थी. जिसके बाद यह आंकड़ा बढ़ा है. भारत नेट फेज-2 के तहत इस योजना में कुल 12 हजार गांव सुपर फास्ट नेट कनेक्टिविटी से जुड़ेंगे.
पढ़ें- कैबिनेट फैसला: मुख्यमंत्री घसियारी योजना और वन भूमि नवीनीकरण को मंजूरी
बता दें कि इस योजना से चारधाम क्षेत्र की डिजिटल कनेक्टिविटी को मजबूती मिलेगी. साथ ही बॉर्डर एरिया में इंटरनेट कनेक्टिविटी के सुदृढ़ीकरण के लिये प्रोजेक्ट बनाया जाएगा. सीएम त्रिवेंद्र रावत ने केंद्र से उत्तराखण्ड में 'इंडिया एंटरप्राइज आर्किटेक्चर' परियोजना शीर्ष प्राथमिकता से लागू किये जाने का अनुरोध किया है. उत्तराखंड की कठिन भौगोलिक, महत्वपूर्ण सामरिक स्थिति और आपदा के प्रति संवेदनशीलता को देखते हुए भारत नेट परियोजना की स्टेट-लेड माॅडल में समयबद्धता के साथ कार्यान्वित करना बहुत जरूरी है. उम्मीद है कि भारत नेट 2.0 योजना की मंजूरी के बाद कृषि, स्वास्थ्य, शिक्षा जैसे विभागों की कार्यप्रणाली को राज्यव्यापी कम्प्यूटरीकृत किया जा सकेगा.