देहरादूनः रेल मंत्रालय द्वारा उत्तराखंड के सभी रेलवे स्टेशन पर मौजूद साइन बोर्ड में हिंदी के बाद दूसरे स्थान पर संस्कृत किये जाने के प्रस्ताव का उत्तराखंड सरकार ने स्वागत किया है. सरकार ने कहा है कि संस्कृत प्रदेश की दूसरी राजभाषा है और प्रदेश में अन्य जगहों पर भी संस्कृत का प्रयोग किया जा रहा है, तो वहीं भाजपा ने भी इस कदम को सराहनीय बताया है.
बता दें कि मुरादाबाद डिवीजन की सीनियर डीसीएम रेखा शर्मा ने उत्तराखंड सरकार को पत्र लिखकर उत्तराखंड में मौजूद सभी रेलवे स्टेशन पर लगे साइन बोर्ड में दूसरे स्थान पर उर्दू को हटाकर संस्कृत करने की अनुमति मांगी है, जिस पर तमाम तरह की प्रतिक्रियाएं सभी जगह से आ रही हैं.
उत्तराखंड सरकार की ओर से मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने इस प्रस्ताव का स्वागत करते हुए कहा कि सरकार के द्वारा पहले ही संस्कृत को बढ़ावा देते हुए विधानसभा, सचिवालय सहित सरकार के नेम प्लेट के अलावा ज्यादारत जगहों पर संस्कृत को दूसरा दर्जा दिया गया है. अब अगर रेलवे भी रेलवे स्टेशन पर लगे साइन बोर्ड में संस्कृत को बढ़ावा देना चाहता है तो यह स्वागत योग्य है
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तो वहीं उत्तराखंड भाजपा ने इस कदम को सराहनीय बताया है. भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी देवेंद्र भसीन ने कहा कि उत्तराखंड देवभूमि है और अगर यहां हम संस्कृत को प्रोत्साहन नहीं देंगे, तो कहा देंगे.