देहरादून: हरिद्वार से बांग्लादेशी मूल के दो आतंकवादी गिरफ्तार होने के बाद उत्तराखंड पुलिस तंत्र में हड़कंप मच गया है. गजवा-ए-हिंद के आतंकवादियों पर कार्रवाई करने वाली उत्तर प्रदेश एटीएस से अब उत्तराखंड पुलिस को सूचना आदान-प्रदान कर आगे की कार्रवाई को लेकर योजना बना रही है.
हालांकि, हरिद्वार से आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद इसे इंटेलिजेंस एजेंसियों का भी फेलियर माना जा रहा है. इस बात के सवाल उठ रहे हैं कि कैसे बाहर से आने वाले संदिग्ध व्यक्तियों के सत्यापन नहीं हो सके? कृष्णराज सेंथिल अबुदई ने बताया कि हरिद्वार से गिरफ्तार होने वाले संदिग्ध लोगों की गिरफ्तारी यूपी एटीएस द्वारा जरूर की गई है, लेकिन इसमें उत्तराखंड एसटीएफ ने भी उनकी पूरी मदद की.
अब उत्तर प्रदेश एटीएस इन गिरफ्तार संदिग्धों पर कार्रवाई करने में जुटी है. बता दें, धर्मनगरी हरिद्वार से संदिग्ध आतंकवादियों की गिरफ्तारी के बाद धार्मिक और संवेदनशील स्थानों की अतिरिक्त सुरक्षा भी बढ़ाए जाने की जानकारी भी सामने आ रही हैं.
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विशेष ड्राइव के तहत चलाया जाएगा राज्य में सत्यापन: दो संदिग्ध आतंकियों की गिरफ्तारी के बाद उत्तराखंड में विशेष सत्यापन अभियान चलाने की तैयारी हो रही है. पुलिस मुख्यालय प्रवक्ता डीआईजी सेंथिल अबुदई ने कहा कि उन्होंने सभी एसपी-एसएसपी को राज्य में सघन चेकिंग अभियान और सत्यापन अभियान चलाकर सत्यापन की करवाई करने के लिए निर्देशित किया है.
बता दें कि, बीते रोज (10 अक्टूबर को) उत्तर प्रदेश एटीएस ने मदरसों के सहारे आतंकी नेटवर्क तैयार करने वाले गजवा-ए-हिंद आतंकी संगठन से जुड़े 8 आतंकियों को गिरफ्तार किया है. इन आतंकियों के उत्तर प्रदेश के सहारनपुर, मेरठ, उत्तराखंड के हरिद्वार और नेपाल बॉर्डर कनेक्शन मिले हैं. एटीएस की विभिन्न टीमों ने कार्रवाई करते हुए हरिद्वार से अलीनूर व मुदस्सिर को भी गिरफ्तार किया गया है. बताया गया है कि इनमें एक बांग्लादेशी है, वहीं दूसरा रुड़की के नगला इमरती गांव का रहने वाला है.
मुदस्सिर (पुत्र अब्दुर्रहमान निवासी नगला इमरती जनपद हरिद्वार उत्तराखंड) को यूपी एटीएस ने कामिल अलीनूर (बांग्लादेशी) के साथ रूपेड़ी नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार किया है. मुदस्सिर ने आतंकी तल्हा (बांग्लादेशी) व अलीनूर (बांग्लादेशी) को सलेमपुर हरिद्वार में शरण थी. तल्हा ने मुदस्सिर को बदले में 80 हजार रुपए दिए थे.