देहरादून: पड़ोसी राज्य दिल्ली में चरम पर पहुंचे प्रदूषण की तो देशभर में बात हो रही है लेकिन दिल्ली से लगते उत्तराखंड राज्य में प्रदूषण के हालात कुछ कम खराब नहीं हैं. यहां भी प्रदूषण अपने चरम पर है. दिवाली के बाद से ही प्रदूषण नियंत्रण में आने का नाम नहीं ले रहा है.
उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के डाटा के मुताबिक, बीती 4 नवंबर को दिवाली की रात उत्तराखंड के देहरादून और हरिद्वार में प्रदूषण अपने चरम पर था. दिवाली की रात देहरादून और हरिद्वार में एयर क्वालिटी इंडेक्स खतरे के निशान पर था तो वहीं इसके बाद 11 नवंबर तक देहरादून नेहरू कॉलोनी क्षेत्र में एयर क्वालिटी इंडेक्स 125 और घंटाघर के आसापस 153 रहा. इसी तरह से हरिद्वार का AQI 182 और ऋषिकेश का AQI 112 था.
उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारी एसपी सुबुद्धि ने बताया कि सर्दियों में अकसर हवा में प्रदूषण बढ़ जाता है, वहीं दिवाली के बाद प्रदूषण में हमेशा बढ़ोतरी देखने को मिलती है. उन्होंने बताया कि 11 नवंबर तक प्रतिदिन प्रदेश के अलग-अलग जगह पर एयर क्वालिटी इंडेक्स का डाटा कलेक्ट किया गया है. अब हर 15 दिन में एक बार हवा में प्रदूषण की जांच की जाएगी.
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गौर हो कि दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण की स्थिति रविवार को 'गंभीर' श्रेणी से सुधरकर 'बेहद खराब' की श्रेणी में पहुंच गयी. 24 घंटे का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 330 दर्ज किया गया. एक दिन पहले ये 437 पर था. शुक्रवार को एयर क्वालिटी सूचकांक 471 दर्ज किया गया था. यह इस सीजन का अब तक का सबसे खराब स्थिति थी. इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट ने शनिवार को प्रदूषण के स्तर में वृद्धि को 'आपात हालात' करार दिया था और राष्ट्रीय राजधानी में लॉकडाउन का सुझाव दिया था. कोर्ट ने केंद्र से कहा कि वह इस मामले पर बैठक बुलाए.