विकासनगर: उत्तराखंड और हिमाचल की सीमा से सटे आसन वेटलैंड में इन दिनों पक्षियों का प्रवास चल रहा है. जहां, इन दिनों करीब 50 से अधिक प्रजातियों की पक्षियों को देखा जा सकता है. वहीं, दूर-दराज से आने वाले पक्षी प्रेमी और शोधार्थी करीब 4,466 बहुरंगी परिंदों का दीदार कर रहे हैं.
वहीं, वन रेंजर जवाहर सिंह तोमर और पक्षी विशेषज्ञ ने बताया कि पिछले साल 79 प्रजाति के लगभग 6,170 देसी-विदेशी पक्षी प्रवास पर आए थे. उन्होंने बताया कि आसन वेटलैंड वन क्षेत्र में आने वाले पक्षियों की आईयूसीएन की रेड डाटा बुक, प्रकृति के संरक्षण के लिए अंतर्राष्ट्रीय संघ द्वारा विलुप्तप्राय प्रजाति के पक्षियों का डाटा तैयार किया गया है. तोमर ने बताया कि पक्षियों की गणना में वन विभाग तितली ट्रस्ट, नेचर साइंस इंस्टीट्यूट, एफआरआई और डब्लूडब्लूआई संस्था के विशेषज्ञ शामिल रहे.
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उधर पक्षियों की गणना करने आए तितली ट्रस्ट के पक्षी विशेषज्ञ संजय सोंधी ने बताया कि भारत का यह पहला फॉरेस्ट रिर्जव कंजर्वेशन है. यहां पर विदेशों से कई प्रजातियों के परिंदे प्रवास के लिए आते हैं.