चंपावत: जूना अखाड़े की ओर से सनातन धर्म की रक्षा के लिए उत्तराखंड के चारधाम में छड़ी यात्रा निकाली जा रही है. ये यात्रा चारों धाम जाकर सनातन धर्म का प्रचार-प्रसार करेगी. इसी कड़ी में सोमवार को छड़ी यात्रा चंपावत के टनकपुर के पूर्णागिरि धाम पहुंची. जहां पूर्णागिरि मंदिर में पूजा-अर्चना और दर्शन के बाद छड़ी यात्रा पिथौरागढ़ के लिए रवाना हुई.
इस दौरान अखाड़ा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी प्रेमगिरी महाराज ने कहा कि 25 साल बाद इस यात्रा का आयोजन किया जा रहा है. जिसके कारण लोगों में इसे लेकर काफी उत्साह है. उन्होंने कहा जब सनातन धर्म का पतन हो रहा था तब आदिगुरु शंकराचार्य ने यहीं पर अमर कल्पवृक्ष के नीचे पांच साल तपस्या की थी. जिससे उन्हें दिव्य ज्ञान ज्योति प्राप्त हुई थी. जिसके बाद उन्होंने भारत के चार कोनों में चार पीठों की स्थापना कर भारत और सनातन धर्म को एकता के सूत्र में पिरोया था.
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जूना अखाड़ा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि आदिगुरु शंकराचार्य से प्रभावित होकर इस छड़ी यात्रा का आयोजन किया जा रहा है. इसके माध्यम से एक बार फिर से सनातन धर्म को मजबूत किया जाएगा. उन्होंने बताया कि इस यात्रा का समापन पांच नवंबर को हरिद्वार में होगा.