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पुलिस ने हिरासत में लिए किसान, सरकारी काम में बाधा डालने का आरोप - Farmers on the dock

रुड़की से देवबंद तक रेलवे लाइन बिछाने के विरोध में 14 माह से धरने पर बैठे किसानों को पुलिस प्रशासन ने धरना स्थल से हटा दिया है. साथ ही सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में एक दर्जन किसानों को हिरासत में लिया है.

पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में 12 लोगों को हिरासत में लिया.
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Published : Jul 3, 2019, 6:00 PM IST

रुड़की: रुड़की से देवबंद तक रेलवे लाइन बिछाने के विरोध में 14 माह से धरने पर बैठे किसानों को पुलिस प्रशासन ने मंगलवार को धरना स्थल से जबरन हटा दिया है. कार्रवाई का विरोध करने वाले लगभग एक दर्जन किसानों को पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में हिरासत में लिया है. फिलहाल ,मामले की गंभीरता को देखते हुए भिस्तीपुर गांव में भारी पुलिसबल तैनात किया गया है.

पुलिस हिरासत में एक दर्जन से अधिक किसान.

बता दें कि रुड़की से देवबंद तक रेलवे लाइन बिछाने के लिए रेलवे विभाग ने गांव के किसानों की जमीन अधिग्रहण कर मुआवजा राशि दी थी. साथ ही किसानों के परिवारों में से एक सदस्य को उसकी शैक्षिक योग्यता के अनुसार नौकरी देने का वायदा किया था.

लेकिन कुछ समय बाद किसानों ने संबंधित विभाग पर आरोप लगाते हुए बिष्टुपुर गांव में रेलवे लाइन मार्ग पर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया. किसानों का आरोप है कि उन्हें उचित मुआवजा नहीं दिया गया है. साथ ही विभाग ने अपने वायदे के अनुसार किसानों के परिवारों में से एक सदस्य को उसकी शैक्षिक योग्यता के अनुसार नौकरी भी नहीं दी.

ये भी पढ़े: मुख्य सचिव के आदेशों का नहीं हुआ पालन, अधर में लटका अंतरराष्ट्रीय स्पोर्ट्स कॉम्पलेक्स का काम

वहीं, आज रेलवे विभाग के कर्मचारियों और किसानों के बीच कहासुनी हो गई. कर्मचारियों ने मामले की सूचना पुलिस दी. मौके पर पहुंचे पुलिस और रेलवे के अधिकारियों ने धरने पर बैठे किसानों को समझाया लेकिन किसानों का विरोध जारी रहा. मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने पर लगभग एक दर्जन किसानों को हिरासत में ले लिया. साथ ही पुलिस प्रशासन ने रेलवे विभाग के कर्मचारियों को कार्य जारी रखने के निर्देश दिए हैं.

रुड़की: रुड़की से देवबंद तक रेलवे लाइन बिछाने के विरोध में 14 माह से धरने पर बैठे किसानों को पुलिस प्रशासन ने मंगलवार को धरना स्थल से जबरन हटा दिया है. कार्रवाई का विरोध करने वाले लगभग एक दर्जन किसानों को पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में हिरासत में लिया है. फिलहाल ,मामले की गंभीरता को देखते हुए भिस्तीपुर गांव में भारी पुलिसबल तैनात किया गया है.

पुलिस हिरासत में एक दर्जन से अधिक किसान.

बता दें कि रुड़की से देवबंद तक रेलवे लाइन बिछाने के लिए रेलवे विभाग ने गांव के किसानों की जमीन अधिग्रहण कर मुआवजा राशि दी थी. साथ ही किसानों के परिवारों में से एक सदस्य को उसकी शैक्षिक योग्यता के अनुसार नौकरी देने का वायदा किया था.

लेकिन कुछ समय बाद किसानों ने संबंधित विभाग पर आरोप लगाते हुए बिष्टुपुर गांव में रेलवे लाइन मार्ग पर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया. किसानों का आरोप है कि उन्हें उचित मुआवजा नहीं दिया गया है. साथ ही विभाग ने अपने वायदे के अनुसार किसानों के परिवारों में से एक सदस्य को उसकी शैक्षिक योग्यता के अनुसार नौकरी भी नहीं दी.

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वहीं, आज रेलवे विभाग के कर्मचारियों और किसानों के बीच कहासुनी हो गई. कर्मचारियों ने मामले की सूचना पुलिस दी. मौके पर पहुंचे पुलिस और रेलवे के अधिकारियों ने धरने पर बैठे किसानों को समझाया लेकिन किसानों का विरोध जारी रहा. मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने पर लगभग एक दर्जन किसानों को हिरासत में ले लिया. साथ ही पुलिस प्रशासन ने रेलवे विभाग के कर्मचारियों को कार्य जारी रखने के निर्देश दिए हैं.

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देवबंद,झबरेड़ा से रुड़की तक रेलवे विभाग द्वारा रेलवे लाइन बिछाने का कार्य किया जा रहा है मगर रेलवे लाइन बिछाने का काम को लेकर लंबे समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे किसान पिछले 14 महीनों से अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठे है किसानों को आज पुलिस प्रशासन ने धरना स्थल से जबरन उठा दिया और पुलिस प्रशासन का विरोध करने वाले लगभग एक दर्जन किसानों को हिरासत में लेकर रोशनाबाद पुलिस लाइन भेज दिया गया है फिलहाल मामले की गंभीरता को देखते हुए भिस्तीपुर गांव में भारी पुलिस फोर्स बल तैनात कर दिया गया है


Body:वीओ- आपको बता दें कि रुड़की से देवबंद के लिए काफी समय पहले जिन जिन गांव से रेलवे लाइन गुजरेगी उन्होंने गांव के किसानों की जमीन अधिग्रहण कर रेलवे विभाग द्वारा उनको जमीन के बदले मुआवजा राशि दे दी गई थी की रेलवे विभाग द्वारा लाइन बिछाने का काम शुरू किया गया था मगर कुछ समय बाद ही कुछ किसानों ने संबंधित विभाग पर आरोप लगाते हुए थाना जबेरा क्षेत्र के बिष्टुपुर गांव में रेलवे लाइन मार्ग पर धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया था किसान ने विभाग पर उनके साथ धोखा दिए जाने की बात कही थी किसानों का आरोप था कि उनको उचित मुआवजा नहीं दिया गया है और ना ही विभाग ने अपने वायदे के अनुसार किसानों के परिवारों में से उनके एक सदस्य को उसकी शैक्षिक योग्यता के अनुसार विभाग में स्थाई रूप से नौकरी भी दी जाएगी बस इन्हीं बातों को लेकर किसान विभाग के खिलाफ भारी रोष में थे आज किसानों को रेलवे विभाग ने कार्यस्थल से उठने के लिए कहा तो किसानों और रेलवे विभाग के कर्मचारियों में कहासुनी हो गई तत्काल ही कर्मचारियों द्वारा पुलिस और प्रशासन को इसकी सूचना दी गई सूचना मिलते ही पुलिस के अधिकारी और उसके साथ पहुंचे और धरने पर बैठे किसानों को समझाने का प्रयास करने लगे इसी बीच कुछ किसानों ने पुलिस प्रशासन का विरोध किया जिसके चलते हैं बहस हो गई बदल गई पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए सरकारी काम में बाधा डालने पर लगभग एक दर्जन किसानों को हिरासत में ले लिया है जिनको पुलिस द्वारा पुलिस लाइन भेज दिया गया है पुलिस प्रशासन द्वारा रेल विभाग के कर्मचारियों को भी कार्य जारी रखने के निर्देश दिए हैं हालातों को देखते हुए अभी भी भारी पुलिस फोर्स तैनात है

बाइट निकिता खंडेलवाल जॉइंट मजिस्ट्रेट रुड़की


Conclusion:1
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