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सोशल मीडिया पर फोटो वायरल होने के बाद एक्शन में पुलिस, वाहन सीज, दो गिरफ्तार

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Published : May 3, 2019, 2:05 PM IST

सेलाकुई और सहसपुर इलाकों में ठेका संचालकों ने सोशल मीडिया पर एक संदेश वायरल किया था. जिसमें ग्राहकों को उनके ठिकानों से शराब की दुकान तक लाने और ले जाने की फ्री-वाहन सेवा का जिक्र था. तभी से ठेका संचालक ग्राहकों को ये सेवा उपलब्ध करवा रहे थे. वहीं, सोशल मीडिया में इस मामले के वायरल होने बाद पुलिस ने पूरे प्रकरण की छानबीन की और सर्विस देने वाले ठेकेदार के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार कर सर्विस वाहन को सीज कर दिया.

ग्राहकों को उनके ठिकानों से शराब की दुकान तक लाने और ले जाने की फ्री-वाहन सेवा इसी वाहन से दी जाती थी.

देहरादून: राज्य में नई आबकारी नीति लागू की गई है. ऐसे में शराब की दुकानों के टेंडरों में सरकार ने 20% अधिक टैक्स लगाया है. वहीं, इन दुकानों के ठेकेदार राजस्व को पूरा करने के लिए नायाब तरीके आजमा रहे हैं. ताजा मामला सेलाकुई का है. जहां ठेके पर शराब की बिक्री बढ़ाने के लिए दुकान मालिक ने अपने ग्राहकों के लिए दुकान तक आने-जाने के लिए फ्री वाहन सेवा शुरू की थी. सोशल मीडिया पर ये फोटो वायरल होने के बाद पुलिस ने इस दुकान के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार कर वाहन को भी सीज कर दिया है.

जानकारी के मुताबिक, कुछ दिनों से सेलाकुई और सहसपुर इलाकों में ठेका संचालकों ने सोशल मीडिया पर एक संदेश वायरल किया था. जिसमें ग्राहकों को उनके ठिकानों से शराब की दुकान तक लाने और ले जाने की फ्री-वाहन सेवा का जिक्र था. तभी से ठेका संचालक ग्राहकों को ये सेवा उपलब्ध करवा रहे थे. वहीं, सोशल मीडिया में इस मामले के वायरल होने बाद पुलिस ने पूरे प्रकरण की छानबीन की और सर्विस देने वाले ठेकेदार के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार कर सर्विस वाहन को सीज कर दिया.

ये भी देखे: 600 करोड़ के घाटे से उबरने के लिए आबकारी विभाग का नया प्लान

वहीं, पुलिस को दिए बयान में कर्मचारियों ने बताया कि सरकार को इस साल अधिक राजस्व देना है. जिस कारण इस बार सेलाकुई स्थित दुकान का टेंडर नहीं हुआ है और देशी शराब का ठेका लम्बे समय से बंद है. ऐसे में सहसपुर क्षेत्र में देशी शराब का ठेका खुलने पर वहां के ठेका संचालक ने राजस्व को पूरा करने के चलते ग्राहकों को अलग-अलग स्थानों से लाने और ले जाने के लिए वाहन की फ्री सर्विस मुहैया करवाई थी, ताकि दुकान की बिक्री बढ़ाई जा सके. पुलिस का कहना है कि ठेका संचालक के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रशासन को रिपोर्ट प्रेषित की गई है.

देहरादून: राज्य में नई आबकारी नीति लागू की गई है. ऐसे में शराब की दुकानों के टेंडरों में सरकार ने 20% अधिक टैक्स लगाया है. वहीं, इन दुकानों के ठेकेदार राजस्व को पूरा करने के लिए नायाब तरीके आजमा रहे हैं. ताजा मामला सेलाकुई का है. जहां ठेके पर शराब की बिक्री बढ़ाने के लिए दुकान मालिक ने अपने ग्राहकों के लिए दुकान तक आने-जाने के लिए फ्री वाहन सेवा शुरू की थी. सोशल मीडिया पर ये फोटो वायरल होने के बाद पुलिस ने इस दुकान के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार कर वाहन को भी सीज कर दिया है.

जानकारी के मुताबिक, कुछ दिनों से सेलाकुई और सहसपुर इलाकों में ठेका संचालकों ने सोशल मीडिया पर एक संदेश वायरल किया था. जिसमें ग्राहकों को उनके ठिकानों से शराब की दुकान तक लाने और ले जाने की फ्री-वाहन सेवा का जिक्र था. तभी से ठेका संचालक ग्राहकों को ये सेवा उपलब्ध करवा रहे थे. वहीं, सोशल मीडिया में इस मामले के वायरल होने बाद पुलिस ने पूरे प्रकरण की छानबीन की और सर्विस देने वाले ठेकेदार के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार कर सर्विस वाहन को सीज कर दिया.

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वहीं, पुलिस को दिए बयान में कर्मचारियों ने बताया कि सरकार को इस साल अधिक राजस्व देना है. जिस कारण इस बार सेलाकुई स्थित दुकान का टेंडर नहीं हुआ है और देशी शराब का ठेका लम्बे समय से बंद है. ऐसे में सहसपुर क्षेत्र में देशी शराब का ठेका खुलने पर वहां के ठेका संचालक ने राजस्व को पूरा करने के चलते ग्राहकों को अलग-अलग स्थानों से लाने और ले जाने के लिए वाहन की फ्री सर्विस मुहैया करवाई थी, ताकि दुकान की बिक्री बढ़ाई जा सके. पुलिस का कहना है कि ठेका संचालक के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रशासन को रिपोर्ट प्रेषित की गई है.

Intro:pls इस ख़बर की फ़ोटो mail से भेजी गई हैं।


देहरादून-नए वित्तीय वर्ष में शराब के ठेकेदारों पर अतिरिक्त 20 प्रतिशत अधिभार ( टैक्स) का बोझ इस कदर हावी है कि, वह उसे पूरा करने के लिए ऐसे नायब हरकत कर हैं कि,उन्हें जेल तक कि हवा खानी पड़ रही हैं। जीहाँ ऐसा ही ताज़ा उदाहरण देहरादून के सेलाकुई में उस वक्त सामने आया जब अपनी दुकान की बिक्री बढ़ाने के लिए ग्राहकों को शराब ठेके तक आने-जाने के लिए फ्री वाहन सेवा देकर वाले लाइसेंस धारक ठेकेदार के दो कर्मचारियों को पुलिस गिरफ्तार वाहन की सीज कर दिया।

जानकारी के मुताबिक कुछ दिनों से सेलाकुई और सहसपुर इलाकें में ठेका संचालक द्वारा बकायदा सोशल मीडिया में वायरल संदेश के जरिये बिक्री की शराब पिलाने के लिए ग्राहकों को अपने ठिकाने से मदिरा की दुकान तक फ्रीवाहन सेवा से पहुँचाया जा रहा था। सोशल मीडिया में वायरल इस हरकत पर लोगों में शराब बिक्री को लेकर एक ग़लत न्यूज़सेंस की भावना उत्पन्न को लेकर पुलिस ने छानबीन कर इस काम को करने वाले ठेकेदार के दोनों कर्मचारी को सेलाकुई शराब दुकान से वाहन सीज कर दोनों की गिरफ्तार किया।






Body:शराब राजस्व बोझ तले करनी पड़ी यह तरक़ीब-गिरफ्तार कर्मचारी

इस मामलें पर गिरफ्तार होने वाले शराब दुकान के कर्मचारियों ने अपने द्वारा पुलिस को दिये बयान में बताया कि सरकार को देने वाला राजस्व इस वर्ष पहले से अत्यधिक होने के कारण इस बार सेलाकुई ठेके की टेंडर कार्रवाई नहीं हो पायी,जिसके कारण सेलाकुई का देशी शराब ठेका काफी दिनों से बंद पड़ा है, ऐसे में सहसपुर क्षेत्र में देशी ठेके के खुलने पर वहाँ के ठेका संचालक द्वारा राजस्व को पूरा करने के चलते ग्राहकों को अलग अलग स्थानों से ठेके तक पहुँचने की चौपहिया वाहन से फ्री सर्विस मुहैया कराई गई थी, ताकि दुकान की सेल्स बढ़ाई जा सके।

उधर शराब बिक्री करने के लिए इस तरह की हरकत से समाज मे अनैतिक संदेश जाने के चलते पुलिस कार्रवाई कर शराब ठेके कर्मचारियों को गिरफ्तार करते हुए व वाहन सीज करने के बाद इस मामलें आरोपी ठेका संचालक के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रशासन को रिपोर्ट प्रेषित कर दी हैं।


Conclusion:सरकार शराब परोसकर राजस्व बढाने में जुटी

बहराल उत्तराखंड में भारी मात्रा की शराब बेचकर सरकार का राजस्व पूरा करने का दबाव इस कदर लाइसेंस धारकों पर है कि अब वह सड़कों,गली मोहल्लों पर शराब परोसने की इस हरकत पर उतर आए हैं। ऐसे में यह लगता हैं कि उत्तराखंड में मौजूदा सरकार अन्य तरह के सभी राजस्व बढ़ाने की जगह देवभूमि में शराब बिक्री से ही राजस्व पूरा करना चाहती हैं।
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