देहरादून: प्रमोशन की मांग को लेकर उत्तराखंड राज्य कर्मचारियों की अनिश्चितकालीन हड़ताल से आम जनता की परेशानियां बढ़ गई हैं. हड़ताल के कारण अतिआवश्यक सेवाओं को छोड़कर अन्य रोजमर्रा के काम पूरी तरह से प्रभावित हो गये हैं. अनिश्चितकाल हड़ताल से दून आरटीओ में भी काम पूरी तरह ठप हो गया है. 50 से अधिक कर्मचारियों वाले इस आरटीओ कार्यालय में मात्र 5 कर्मचारी खानापूर्ति के लिए अपनी सीटों पर विराजमान हैं.
2 फरवरी से शुरू हुई इस अनिश्चितकालीन हड़ताल के चलते प्रतिदिन लगभग 100 से 150 ड्राइविंग लाइसेंस का काम प्रभावित हो रहा है. इससे अब तक 1000 से ज्यादा लाइसेंस जारी नहीं हो पाये हैं. इतना ही नहीं सबसे ज्यादा उन लोगों को परेशानी हो रही है, जिनके लर्निंग लाइसेंस की वैधता समाप्त होने के कारण अब उन्हें दोबारा फीस भरकर आगामी दिनों में नए लाइसेंस के लिए आवेदन करना है.
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लर्निंग लाइसेंस वैधता समाप्त आवेदकों पर फीस की दोहरी मार
देहरादून आरटीओ दिनेश पठोई का भी मानना है कि 50 से अधिक कर्मचारियों से संचालित होने वाला कार्यालय मात्र 5 लोगों के सहयोग से चल रहा है. पठोई के मुताबिक, अभी तक फिटनेस, टैक्स, रजिस्ट्रेशन, रिन्यूअल जैसे अन्य कार्यों को छोड़कर अति आवश्यक में आने वाले राजकीय टैक्स और नए लाइसेंस जारी करने का ही काम किया जा रहा था. मगर, अब सभी कर्मचारी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गये हैं, जिससे ये काम भी ठप हो चुके हैं.
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हड़ताल के कारण लर्निंग लाइसेंस की वैधता समाप्त होने के बाद भी लाइसेंस नहीं मिल पा रहा है. ऐसे में अब सभी तरह के लर्निंग वैधता समाप्त होने वाले लोग नए सिरे से दोबारा फीस भरकर लाइसेंस के लिए आवेदन करेंगे. हालांकि, ऐसे आवेदक जिन्होंने वाहन चलाने का टेस्ट पास कर लिया है, उन्हें दोबारा टेस्ट नहीं देना होगा.
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परिवहन विभाग जनता को राहत देने के मूड में नहीं
देहरादून आरटीओ कार्यालय में पूरी तरह से कार्य ठप होने से जनता की मुसीबतें बढ़ी हैं. आरटीओ कार्यालय में अलग-अलग कामों को लेकर राज्य के बाहर से आने वाले लोग भी हड़ताल की वजह से खासे परेशान हो रहे हैं. राज्य कर्मियों की अनिश्चितकालीन हड़ताल होने के बावजूद उत्तराखंड परिवहन विभाग वाहनों के टैक्स, फिटनेस, नए पुराने लाइसेंस, रजिस्ट्रेशन वाहनों के ट्रांसफर, चालान गाड़ी सीज होना जैसे तमाम कार्यों के बाधित होने के बावजूद किसी तरह से समय सारणी बढ़ाकर राहत देने की पहल नहीं कर रहा है.