ऋषिकेश: वेलकम चिल्ड्रन होम सोसाइटी में हुए छात्र की मौत के मामले में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. 10 मार्च को वासु को ही नहीं सात अन्य छात्रों के साथ भी मारपीट की गई थी. इस बात का खुलासा स्कूल के पास रहने वाले चश्मदीद नरेश रावत ने की है. जिसके बाद एक बार फिर स्कूल प्रबंधन सवालों के घेरे में आ गया है.
ईटीवी भारत की एक्सक्लुसिव बातचीत में चश्मदीद नरेश रावत ने उस दिन के घटनाक्रम का विस्तार से खुलासा किया. जिस दिन उन्होंने वासु की मौत की खबर पढ़ी, उससे एक दिन पहले यानि 10 मार्च को मिशनरी स्कूल के हॉस्टल की छत पर 8 बच्चों को एक लाइन में खड़ा कर दो सीनियर छात्रों द्वारा बैट और विकेट से उनकी पिटाई की गई. पिटाई के वक्त पीड़ित छात्रों की चीखने- चिल्लाने की आवाज आ रही थी. उन्होंने बताया कि कई घंटे बीत जाने के बाद भी जब चीखने-चिल्लाने की आवाज बंद नहीं हुई तो उन्होंने (चश्मदीद) अपनी छत से उन बच्चों को बचाने के लिए जोर से चिल्लाया. तब जाकर बच्चों के चीखने की आवाज थमी.
अगले दिन सुबह उन्हें ये खबर मिली कि एक छात्र की मौत हो गई. अब सबसे बड़ा सवाल मिशनरी हॉस्टल पर यह उठ रहा है कि 2 से 3 घंटे तक बच्चों की पिटाई होती रही लेकिन हॉस्टल के किसी भी कर्मचारी के कानों तक बच्चों की चीखने की आवाज क्यों नहीं पहुंची? जो कई सवाल खड़े कर रही है.