वाराणसी : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र बनारस में समाजवादी पार्टी गठबंधन के दो प्रत्याशी आमने-सामने हैं. हालांकि मंगलवार को प्रशासन की तरफ से प्रत्याशी बनाए गए बर्खास्त जवान तेज बहादुर यादव को उनके नामांकन पत्रों में गड़बड़ी के बाद नोटिस जारी की गई है, लेकिन जो दूसरे प्रत्याशी के तौर पर शालिनी यादव ने नामांकन दाखिल किया था, उनका परिचय फिलहाल वैध साबित हो गया है. अब शालिनी यादव खुद को ही गठबंधन का प्रत्याशी बता कर चुनाव लड़ने की बात कह रही हैं. देखना यह होगा कि आखिर सपा-बसपा गठबंधन के प्रत्याशी के तौर पर पीएम मोदी के खिलाफ अब कौन प्रत्याशी मैदान में उतरता है. वहीं तेजबहादुर का कहना है कि यदि उनका पर्चा रद्द होता है, तो वह शालिनी यादव का पूरा समर्थन करेंगे.
क्या बोली शालिनी यादव
- मीडिया से बातचीत करते हुए शालिनी यादव ने कहा कि सोशल मीडिया पर जो भी चीजें वायरल की जा रही है, वह गलत है.
- उन्होंने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के कहने पर ही नामांकन दाखिल किया था.
- उनका पर्चा वैध घोषित हो चुका है, कागजी कार्रवाई करने के बाद अब पूरी तरह से गठबंधन के प्रत्याशी के तौर पर बनारस से चुनाव लड़ रही हैं.
- उन्होेंने कहा कि उनका पर्चा वैध घोषित हो चुका है और वह समाजवादी पार्टी की वाराणसी से अधिकृत प्रत्याशी हैं.
तेज बहादुर यादव के पर्चे को लेकर नोटिस जारी हो चुकी है, हालांकि तेज बहादुर का कहना है कि ये बीजेपी की साजिश है और यदि उनका पर्चा रद्द होता है, तो वह शालिनी यादव का पूरा समर्थन करेंगे. उनके साथ खड़े होकर प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ प्रचार कर शालिनी यादव को मजबूती देंगे.