वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भगवान भोलेनाथ के प्रिय दिन सोमवार को विश्वनाथ धाम के लोकार्पण करने के साथ ही इस भव्य कॉरिडोर को देश को समर्पित कर दिया है. विश्वनाथ धाम के लोकार्पण के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने भाषण के दौरान वाराणसी में लोगों से तीन संकल्प 'स्वच्छता, सृजन और देश को आत्मनिर्भर बनाने का अनवरत प्रयास' मांगे हैं.
बेहद सौभाग्यशाली लम्हा
पीएम के संबोधन के बाद संतों से ईटीवी भारत ने खास बातचीत की. इस दौरान प्रख्यात कथावाचक रमेश ओझा, कथावाचक मोरारी बापू समेत उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य और दिनेश शर्मा ने भी बातचीत में आज के लम्हे को बेहद सौभाग्यशाली बताया. उपमुख्यमंत्री केशव मौर्या ने कहा कि यह पल पूरे भारत के लिए ही नहीं बल्कि विश्व के लिए भी सौभाग्यशाली है. केशव मौर्य ने अखिलेश यादव की तरफ से कॉरिडोर के निर्माण के बारे में दिए गए बयान पर कहा कि यदि किसी का मानसिक स्वास्थ्य खराब हो जाए तो वह जल्द स्वस्थ हो. मैं बाबा विश्वनाथ से यही कामना करता हूं.
मजदूरों के साथ किया भोजन
पीएम मोदी ने विश्वनाथ मंदिर में पहुंचकर उन कर्मयोगियों का अभिवादन किया, जिन्होंने इस धाम को तैयार करने में अपना खून-पसीना एक किया. पीएम ने यहां काम करने वाले मजदूरों से मुलाकात की और इन सभी पर अपने हाथों से पुष्पवर्षा की और इनके साथ तस्वीरें भी खिंचवाई. इसके अलावा कार्यक्रम खत्म होने के बाद उन्होंने इन मजदूरों के साथ बैठकर भोजन भी किया. इस भव्य कॉरिडोर को बनाने में 2000 से ज्यादा मजदूरों की मेहनत लगी है. इन मजदूरों ने दिन-रात काम करके 33 महीनों में भव्य कॉरिडोर को तैयार किया है. इसके बाद पीएम रविदास पार्क पहुंचे, जहां उन्होंने संत रविदास की मूर्ति पर पुष्पांजलि अर्पित की.
गंगा आरती में होंगे शामिल
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के अलावा 12 राज्यों के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री सोमवार शाम को गंगा आरती देखने के लिए क्रूज के जरिए जाएंगे. बनारस में आज शाम को देव दीपावली जैसा नजारा देखने के लिए सभी लोग मौजूद रहेंगे. भाजपा शासित राज्यों के सभी मुख्यमंत्रियों के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अब कुछ देर बाद बनारस लोकोमोटिव वर्कशॉप के गेस्ट हाउस पहुंचेंगे, जहां विश्राम करने के बाद शाम 6 बजे सभी लोग एक बार फिर से वाराणसी के गंगा घाटों की सैर करने निकलेंगे.
काशी आगमन के बाद पीएम पहले काल भैरव मंदिर पहुंचे, जहां वह कुर्ता-पायजामा और शॉल के साथ गले में रुद्राक्ष की माला डाले दिखाई दिए. मंदिर के बाहर निकलने के बाद बड़ी संख्या में मौजूद भीड़ को उन्होंने नमन किया और सभी का अभिवादन स्वीकार किया. काल भैरव मंदिर से लौटते वक्त प्रधानमंत्री को वाराणसी के प्रसिद्ध स्वर्ण कारोबारी सोनावाला ज्वेलर्स के परिवार के सदस्यों की तरफ से पगड़ी और रुद्राक्ष की माला उपहार स्वरूप भेंट की गई. हालांकि एसपीजी की टीम ने लोगों को रोकने की कोशिश की लेकिन, प्रधानमंत्री ने खुद अपना काफिला रोककर लोगों से उपहार लिया. इसके बाद पीएम मोदी ने बाबा काशी विश्वनाथ के दर्शन किए.