वाराणसी: योगी सरकार ने कोरोना काल की शुरुआत में ही स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने को लेकर कई निर्देश जारी किये थे, लेकिन काशी के लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल में डॉक्टरों की कमी सरकार की मंशा पर पानी फेर रही है. अस्पताल में इमरजेंसी अफसर के साथ डॉक्टरों की कमी के कारण मरीजों और उनके परिजनों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.
क्षेत्र के एक लाख लोग प्रभावित
वाराणसी के रामनगर में स्थित लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल में स्वीकृत 33 पदों में से 10 पद रिक्त हैं, जिसमें इमरजेंसी अफसर की कमी अब लोगों को खलने लगी है. क्षेत्र की लगभग एक लाख जनता को अस्पताल में डॉक्टरों की कमी का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है. इस समस्या के कारण लोगों को मजबूरी में प्राइवेट अस्पतालों में जाना पड़ रहा है, जिसके कारण लोगों की जेब पर असर पड़ रहा है.
इतने पद हैं रिक्त
आपको बता दें कि लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल में एक भी मेडिकल अफसर मौजूद नहीं है. हालांकि अस्पताल में चार पद स्वीकृत हैं. अस्पताल में चार मेडिकल अफसरों के साथ-साथ एक ईएनटी, दो कार्डियोलॉजिस्ट, एक प्लास्टिक सर्जन, एक शल्य चिकित्सक और एक आर्थोपेडिक सर्जन के पद रिक्त पड़े हैं.
कई बार प्रशासन को किया गया सूचित
लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल के सीएमएस डॉ. एके उपाध्याय ने जानकारी दी कि इस संबंध में कई बार प्रशासन को सूचित किया जा चुका है, लेकिन अभी तक डॉक्टर उपलब्ध नहीं हुए हैं. फिलहाल अभी जितने स्टाफ मौजूद हैं, उन्हीं से काम किया जा रहा है.