वाराणसी: राम मंदिर का सपना अब पूरा हो चुका है. 22 जनवरी को रामलला गर्भगृह में विराजेंगे. ऐसे में इस भव्य महाअनुष्ठान की तैयारियां चल रही हैं, जिसे पूरी दुनिया देखेगी. इसी कड़ी में देश भर के 100 चित्रकार अयोध्या में कैनवास पर रंग भर के रामकथा को उकेरेंगे. श्री राम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ने इसकी जिम्मेदारी ललित कला अकादमी को दी है, जिसमें वाराणसी शाखा भी शामिल है.
मंदिर के बाहर लगेगी प्रदर्शनीः ललित कला अकादमी की तरफ से देशभर के 100 चित्रकार शामिल होंगें. जिसमें वाराणसी से 7 चित्रकार रहेंगे. जो कैनवास पर ब्रश से राम कथा उकेरेंगे. भगवान राम के बाल स्वरूप, असुरों का संहार, वनगमन,पंचवटी प्रसंग सीताहरण, जैसे प्रसंग को शामिल कयि जाएगा. इन सभी चित्रों को चित्रकार अयोध्या में ही बनाएंगे. जब सभी चित्र तैयार हो जाएंगे, तो मंदिर के बाहर उसकी प्रदर्शनी लगाई जाएगी, जो पूरे एक महीने चलेगी. जिसे महानुष्ठान के समय राम भक्त निहारेंगे.
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6 दिन में सभी प्रसंग होगें तैयार: प्रो. सुनील विश्वकर्मा बताते हैं कि 'वन गमन के दौरान रामजी ने जो भी कार्य किए, जैसे रावण का वध, शूर्पनखा की घटना, तड़का वध आदि जो विषय हैं, उन सभी को दिखाया जाएगा. विशेष रूप से राम के समरस भाव को जनता के सामने प्रस्तुत करने के लिए कि किस तरह से उन्होंने समरसता का भाव पैदा किया था. अपने पूरे आदर्श जीवन में, उसका चित्रण करके कलाकार समाज के सामने रखने वाले हैं. वे सभी चित्र 5 से 6 दिन में पूरे हो जाएंगे.
रामलाल के दरबार में लगेगी ये प्रदर्शनी: सुनील विश्वकर्मा कहते हैं कि पेंटिंग तैयार होने के बाद राम लला के पास में ही गैलरी बनाकर उसकी प्रदर्शनी लगाई जाएगी. इस दौरान देश भर से दर्शक आने वाले हैं. विदेशों से भी भारी मात्रा में लोग आने वाले हैं. वे सभी लोग उन चित्रों को देख सकेंगे. वरिष्ठ चित्रकार वासुदेव कामत ने राम के जीवन पर बहुत से चित्र बनाए हैं. जो मंदिर राम लला का बन रहा है, उसके अंदर भी राम के जीवन के चित्रांकन का काम कर रहे हैं. उनके संयोजन में यह काम भी होगा. राष्ट्रीय ललित कला अकादमी इस पूरे कार्यशाला को नियंत्रित कर रही है.
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