वाराणसी: धर्म नगरी वाराणसी में काशी तमिल संगमम का शुभारंभ हो रहा है. जहां 2 प्रांतों की विविध विधाओं व कलाओं का समायोजन होगा. बड़ी बात यह है कि इस समायोजन में तमिलनाडु के 2500 से ज्यादा मेहमान शामिल होंगे. जहां वह काशी में तमिलनाडु का तो प्रतिनिधित्व जरूर करेंगे, लेकिन यहां से उत्तर प्रदेश के ब्रांड एंबेसडर बन करके तमिलनाडु के लिए रवाना होंगे.
पीएम ने किया ट्वीट
आज से काशी में काशी तमिल संगम की शुरुआत हो चुकी है. इसके आयोजन की औपचारिक शुरुआत करने के लिए 19 नवंबर को प्रधानमंत्री मोदी वाराणसी आने वाले हैं. यह कार्यक्रम केंद्र सरकार की प्लानिंग का बड़ा हिस्सा है. यही वजह है कि प्रधानमंत्री मोदी लगातार इस पर ट्वीट भी कर रहे हैं. कुछ देर पहले प्रधानमंत्री मोदी ने इस कार्यक्रम को लेकर ट्वीट किया है और एक वीडियो भी शेयर किया है. जिसमें तमिल और काशी की संस्कृति की झलक दिखाई दे रही है प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि काशी तमिल संगमम एक अनूठा कार्यक्रम है. यह हमारे गहरे संबंधों को मनाने और पुन: पुष्टि करने का एक विशेष अवसर देता है.
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Kashi Tamil Sangamam is a unique programme. It gives a special opportunity to celebrate and reaffirm our deep rooted bonds. pic.twitter.com/IqrRWRGtIn
— Narendra Modi (@narendramodi) November 17, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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— Narendra Modi (@narendramodi) November 17, 2022
दरअसल, देश में पहली बार उत्तर और दक्षिण के समावेशन के लिए आयोजित होने वाले इस संगम में 2,500 से ज्यादा मेहमानों के शामिल होने की संभावना है. बड़ी बात यह है कि यह मेहमान तमिलनाडु के हर एक शहर, हर एक कला व उद्योग का प्रतिनिधित्व करने के लिए काशी आ रहे हैं. लेकिन, यहां वह काशी के साथ संगम नगरी, व राम नगरी का भी दीदार करेंगे और उसके बाद यहां से उत्तर प्रदेश का ब्रांड एंबेसडर बनकर अपने घर के लिए रवाना हो जाएंगे.
संगमम में शामिल होने के लिए तमिलनाडु के 2500 से ज्यादा मेहमान काशी आ रहे हैं. यह मेहमान 12 ग्रुपों में बंटे हुए हैं. हर ग्रुप में लगभग 210 सदस्य होंगे. यह सदस्य पूरे महीने अलग-अलग दिन आएंगे. पहले ग्रुप का जत्था तमिलनाडु से रवाना हो चुका हैं. इसके साथ ही आज एक नई ट्रेन रवाना होगी, जो आगामी 19 नवंबर तक काशी में आ जाएगी. यह ट्रेन अलग-अलग 21 स्टेशनों पर रुकते हुए काशी आएगी.
मंडलायुक्त ने बाहर से अतिथियों के साथ अच्छा व्यवहार करने की दी नशीहत
वाराणसी मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा ने गुरुवार को आयुक्त सभागार के ऑडिटोरियम मीटिंग हॉल में काशी तमिल संगमम के आयोजन को लेकर आवश्यक बैठक की. बैठक में पर्यटन विभाग, नाविक संगठन, नगर निगम, सिविल डिफेंस, ऑटो यूनियन से संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे. बैठक में मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा ने सभी ई-रिक्शा चालकों, ऑटो रिक्शा चालकों, सिविल डिफेंस के वॉलिंटियर्स एवं टूरिस्ट गाइडो को तमिलनाडु से आए अतिथियों के साथ अच्छा व्यवहार करने की नशीहत दी. उन्होंने सलाह दी, कि कुछ तमिल वाक्यों एवं शब्दों को सीखें और उनका प्रयोग तमिलनाडु से आए अतिथियों के साथ करें. जिससे बातचीत में समस्या न हो.
मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा ने कहा कि तमिलनाडु से अलग-अलग ग्रुप में लोग ट्रेन से वाराणसी आएंगे. एक महीने का सारा आयोजन बीएचयू के एंफीथिएटर ग्राउंड पर होगा. वहां, हमारी प्रदर्शनियां लगेंगी, फूड कोर्ट होंगे और कल्चरल प्रोग्राम होंगे. उस कार्यक्रम को काशी के लोगों के साथ ही उत्तर प्रदेश के अन्य हिस्सों से आने वाले लोग भी देखेंगे. जो लोग तमिलनाडु से आ रहे हैं, उनका एक-एक ग्रुप एक-एक दिन के लिए प्रयागराज और अयोध्या भी जाएगा. मंडलायुक्त कौशल राज शर्मा ने कहा कि तमिल शब्दों को सीखने के लिए गूगल प्ले स्टोर से भारत सरकार द्वारा लॉन्च किया गया भासनी (BHASHINI) ऐप डाउनलोड करें. इस ऐप के द्वारा हिंदी में बोला गया शब्द तमिल भाषा में बताएगा. जिससे किसी भी व्यक्ति को तमिल भाषा समझना बहुत सरल होगा.
काशी संघ अयोध्या संगम का भी करेंगे दीदार
इन मेहमानों की हर टीम 2 दिन के लिए काशी भ्रमण पर आएगी. जहां सबसे पहले वह कैंट रेलवे स्टेशन पर आएंगें. जिसके बाद विशेष बस के जरिए उन्हें कार्यक्रम स्थल पर ले करके जाया जाएगा. जहां वह दिन में आयोजित होने वाले संगोष्ठी में शामिल होंगे. इसके साथ ही काशी की हेरिटेज का भी दीदार करेंगे. इस क्रम में वह सारनाथ अन्य विरासतों को देखने के बाद काशी के हैंडीक्राफ्ट, स्थानीय कलाओं को देखेंगे समझेंगे. यही नहीं वो गंगा आरती में भी शामिल होंगे. काशी दर्शन के बाद उनका जत्था संगम नगरी प्रयागराज के लिए रवाना हो जाएगा. जहां वह प्रयागराज का दीदार करने के बाद अयोध्या जाएंगे और श्री राम की नगरी का अवलोकन करेंगे. उत्तर प्रदेश के 3 शहरों का भ्रमण करने के बाद यह डेलीगेटस वापस तमिलनाडु के लिए रवाना हो जाएगा.
करेंगे यूपी की ब्रांडिंग बनेंगे बॉन्ड एम्बेसडर
वाराणसी जिलाधिकारी एस राजलिंगम ने बताया कि यह कार्यक्रम सांस्कृतिक समावेशन का कार्यक्रम है. जहां तमिलनाडु से आए लोग वहां के विरासत साहित्य संस्कृति का तो परिचय देंगे ही, मगर इसके साथ ही यहां से वह उत्तर प्रदेश के ब्रांड एंबेसडर बन करके अपने घर लौटेंगे और काशी उत्तर प्रदेश की ब्रांडिंग करेंगे. उन्होंने बताया कि इस आयोजन का सबसे महत्वपूर्ण और खास पहलू सांस्कृतिक समावेशन है.
इस बारे में भारतीय भाषा समिति के अध्यक्ष और कार्यक्रम संयोजक पंडित कृष्ण चमू शास्त्री ने बताया कि यह संगम काशी और तमिलनाडु के संबंधों में और प्रगाढ़ता लेकर आएगा. यह न सिर्फ धार्मिक पहलुओं से महत्वपूर्ण है. बल्कि, आर्थिक और सामाजिक पहलुओं से ही खासा महत्वपूर्ण है. यहां जो स्टॉल लगाए जा रहे हैं. उन पर तमिलनाडु के ओडीओपी प्रोडक्ट और वहां के उद्योग के बारे में प्रदर्शनी होगी. लोगों को इन सभी के बारे में बताया जाएगा. इससे वाराणसी में रहने वाले छात्र नए उद्योग व स्टार्टअप के बारे में जानकारी हासिल कर सकेंगे.
उन्होंने बताया कि यही नहीं तमिलनाडु से आने वाले छात्र व डेलिगेट्स काशी के बुनकरों, यहां के हैंडीक्राफ्ट उद्योगों कल कारखाना विजिट करेंगे. वहां की जानकारी हासिल करेंगे. इससे वह तमिलनाडु में जाकर के इन सब बिजनेस के बारे में, नए स्टार्टअप के बारे में सोच सकेंगे. यह प्रोग्राम काशी और तमिलनाडु दोनों स्थानों के युवाओं को एक नई सोच, एक नया उद्योग व स्टार्टअप प्रदान करने वाला है.
पीएम मोदी करेंगे मुख्य आयोजन का शुभारंभ
मुख्य आयोजन 19 नवंबर से शुरू हो रहा है. जिसका शुभारंभ लगभग 1:00 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे. यहां वह तमिल छात्रों के साथ विशेष रूप से संवाद करेंगे. इस दौरान मंच पर तमिलनाडु संगीत, भरतनाट्यम इत्यादि प्रस्तुतियों का भी आनंद लेंगे. इसके साथ ही तमिलनाडु से आने वाले विभिन्न मंदिरों के दर्जनभर पुजारियों को पीएम मोदी सम्मानित करेंगे. लगभग 2 घंटे का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कार्यक्रम होगा. जहां स्वागत भाषण के बाद उनका उद्बोधन भी होगा.
स्टॉल करेंगे तमिलनाडु के संस्कृति का बखान
गौरतलब है कि आज शाम से सभी स्टालों का आगाज हो जाएगा. इन स्टॉलों पर तमिलनाडु के समृद्ध संस्कृति, इतिहास, परंपरा, साहित्य, धरोहर लोक जीवन शैली इत्यादि को प्रदर्शित किया जाएगा. यही नहीं इसमें तमिलनाडु की ओडीओपी प्रोडक्ट को भी रखा जाएगा. इसके साथ ही वहां के व्यंजनों की भी प्रस्तुति होगी, जिसका काशीवासी स्वाद ले सकेंगे.
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