वाराणसी: धर्म और आस्था की नगरी वाराणसी को मस्ती और मौज का शहर भी कहा जाता है. शायद यही वजह है कि यहां आने वाला हर व्यक्ति इसकी मस्ती में खो कर रह जाता है. साथ ही अपना कद अपनी प्रतिष्ठा और सब कुछ भूलकर काशी के रंग में रंग जाता है. ऐसे ही रंग में शुक्रवार को रंगे नजर आए बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ. वाराणसी के छोटी सी चाय की दुकान पर रुक कर जेपी नड्डा ने आज तीसरी बार चाय की चुस्की ली. यह चाय की दुकान काल भैरव मंदिर के पास मौजूद है. अशोक यादव की चाय की दुकान पर जेपी नड्डा काशी आने के बाद हमेशा चाय पीने पहुंचते हैं. तो क्या है इस चाय की दुकान का जेपी नड्डा से कनेक्शन और क्यों पसंद है उनको अशोक की यह खास चाय.
दरअसल जेपी नड्डा जब पहली बार कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में चुने गए थे. उन्होंने वाराणसी आकर काल भैरव मंदिर में माथा टेका था. काल भैरव मंदिर का अपना ही महत्व है. कहते हैं कि काशी के कोतवाल के रूप में विराजमान काल भैरव के दर्शन पूजन से हर इच्छा की पूर्ति होती है. यही वजह है कि पहली बार कार्यकारी अध्यक्ष बनने पर और दूसरी बार अध्यक्ष के तौर पर जिम्मेदारी संभालने के बाद जेपी नड्डा यहां पहुंचकर उनका दर्शन पूजन किया. अब जब उनके कार्यकाल का विस्तार किया गया है तो उन्होंने फिर से एक बार काल भैरव मंदिर विश्वनाथ मंदिर पहुंचकर पूजन किया.
इस दौरान उन्होंने अपने उस 3 बार के प्रोग्राम को भी दोहराया है. काल भैरव मंदिर के पास मौजूद अशोक यादव की चाय की दुकान पर रुक कर चाय भी पी है. इस बारे में अशोक यादव का कहना है कि जेपी नड्डा को उनकी चाय बेहद पसंद है. वह पहले भी दो बार यहां पर आकर चाय पी चुके हैं. उनको चाय की गरम-गरम चुस्की लेते हुए बातचीत करना बेहद पसंद है. आज भी चाय पीने के बाद उन्होंने मुझको कंपलीमेंट देते हुए कहा कि आज तुम्हारी चाय बहुत अच्छी बनी है. जेपी नड्डा ने चाय पीने के बाद उसके पैसे भी दिए और छोटी सी चर्चा करते हुए चाय के साथ काशी के विकास पर भी बातचीत की.
वहीं, स्थानीय निवासी मनोज यादव ने बताया कि काशी के कोतवाल का दर्शन पूजन करने वह तीसरी बार आए हैं. कोतवाल के रूप में विराजमान बाबा भैरव के दर्शन से हर मुराद पूरी होती है. पहली बार दर्शन के बाद उन्होंने बड़ी जीत हासिल की दूसरी बार दर्शन के बाद भी उन्होंने राष्ट्रीय अध्यक्ष के तौर पर बड़ी जिम्मेदारी की पूर्ति की और तीसरी बार जब उन्हें फिर से जिम्मेदारी मिली है तो वह बाबा से 2024 में बड़ी जीत की कामना करने के लिए आए हैं. मनोज यादव ने कहा उन्होंने लोकल कार्यकर्ताओं से भी बातचीत की और 2024 के लिए कमर कसकर 2019 से भी बड़ी जीत हासिल करने के लिए कहा है.