वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में विकास कार्यों की बयार बह रही है. पांच साल सांसद रहने के बाद दोबारा बनारस से जनप्रतिनिधि चुने जाने के बाद फिर से देश की सत्ता संभाल रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अपने संसदीय क्षेत्र में चल रही परियोजनाओं पर विशेष ध्यान रहता है. बनारस में चल रही तमाम परियोजनाओं की निगरानी वह स्वयं करते हैं. वर्तमान में 10 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की परियोजनाएं बनारस में संचालित हो रही हैं. इनमें 124 परीयोजनाएं ऐसी हैं, जिनकी लागत आठ हजार करोड़ से ज्यादा की है. इसमें प्रधानमंत्री मोदी का ड्रीम प्रोजेक्ट विश्वनाथ कॉरिडोर, जापान के सहयोग से नगर निगम के पास तैयार हो रहा रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर और मैटरनिटी हॉस्पिटल बीएचयू समेत कई अन्य बड़ी योजनाएं शामिल हैं, जिनको पूरा तो मार्च 2020 में ही होना था, लेकिन लॉकडाउन की वजह से चीजें गड़बड़ा गईं. हालांकि अब अधिकारियों का दावा है कि कुछ योजनाएं दिसम्बर 2020 और मार्च 2021 और बाकी दिसम्बर 2021 तक परियोजनाएं पूरी हो जाएंगी.
क्योटो बनाने का देखा सपना
बनारस की तस्वीर बदलने के लिए प्रधानमंत्री मोदी लंबे वक्त से प्रयासरत हैं. बनारस को क्योटो बनाने का सपना प्रधानमंत्री ने अपने पहले कार्यकाल में ही देखा. साल 2014 में सांसद बनने के बाद देश की सत्ता संभालने के साथ ही प्रधानमंत्री ने सपने को पूरा करने की कोशिशें शुरू कर दीं. बनारस में एक के बाद एक हजारों करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट शुरू हुए अंडरग्राउंड केबलिंग से लेकर घाटों के सुंदरीकरण, अंडरग्राउंड गैस पाइपलाइन, हृदय योजना, तालाब और कुंडों के सुंदरीकरण की योजना, सड़कों की स्थिति को सुधारने का कार्य हो या फिर गलियों को सुंदर बनाने का काम सब कुछ हुआ. दूसरी बार सत्ता में आने के बाद इन योजनाओं को पूरा करने पर विशेष बल दिया गया.
कई योजनाएं अभी अधर में
जिन योजनाओं को 5 साल में ही पूरा होना था, वह अब तक चल रही हैं. अंडरग्राउंड केबलिंग का काम अभी बचा हुआ है. कई इलाकों में यह अधर में है. अंडरग्राउंड गैस पाइप लाइन का काम भी अब तक 80% हुआ है. 20% कार्य अभी बाकी है. नए फ्लाईओवर के निर्माण का कार्य अब भी जारी है और स्वास्थ्य सेवाओं को सुधारने के लिए मैटरनिटी हॉस्पिटल, मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल सहित कई योजनाएं अभी पूरी तरह से कंप्लीट नहीं हो सकी हैं. सबसे अहम प्रोजेक्ट विश्वनाथ कॉरिडोर का कार्य अभी लगभग 20 प्रतिशत ही हुआ है.
दिसंबर 2021 तक पूरे होंगे प्रोजेक्ट
अधिकारियों का कहना है कि काम तेजी से जारी है और 2021 मार्च तक बड़े प्रोजेक्ट के काम पूरे कर लिए जाएंगे. जबकि कुछ छोटे प्रोजेक्ट 2020 दिसंबर में ही कंप्लीट हो जाएंगे. बाकी बचे बड़े प्रोजेक्ट का काम दिसंबर 2021 तक हर हाल में पूरा कर लिया जाएगा. फिलहाल अधिकारी जो भी कहें लेकिन निर्धारित वक्त से कई प्रोजेक्ट लेट हो चुके हैं और उनकी समय सीमा भी बढ़ाए जाने के बाद कुछ इस साल और कुछ अगले साल तक पूरे किए जाएंगे.
पब्लिक है संतुष्ट
हालांकि पब्लिक बनारस में हुए कामों से और चल रहे कामों को लेकर काफी आशान्वित है लोगों का कहना है बनारस की छवि बदली है. कामों में लेट हो रहा है तो कोई दिक्कत नहीं लेकिन आने वाले समय में बनारस की तस्वीर बदली नजर आएगी यह पूरा विश्वास है.
यह प्रोजेक्ट हैं जारी
कुल 10 हजार करोड़ की परियोजनाएं वर्तमान समय में जिले में चल रही हैं.
पूर्ण हो चुकी योजनाएं
- 100 बेड का मैटरनिटी हॉस्पिटल
- वाराणसी जनपद में 18.46 करोड़ धनराशि लागत से लाल बहादुर शास्त्री चिकित्सालय रामनगर का ऊंचीकरण
- 34.65 करोड़ धनराशि लागत से लहरतारा-फुलवरिया मार्ग पर वरुणा नदी पर सेतु निर्माण
- 26.21 करोड़ धनराशि लागत से कोनिया-सलारपुर मार्ग पर वरुणा नदी कोनिया घाट सेतु
- 38.11 करोड़ धनराशि लागत से बाबतपुर-कपसेठी मार्ग पर उत्तर रेलवे के रेल समपार संख्या 21ए/2टी पर चार लेन उपरिगामी सेतु
- 19.14 करोड़ धनराशि लागत से बाबतपुर- कपसेठी-भदोही मार्ग के 14 किलोमीटर में वरुणा नदी पर (कालिका धाम) दो लेन सेतु का निर्माण कार्य
- 35.71 करोड़ धनराशि लागत से वाराणसी- गाजीपुर मार्ग पर रेलवे के समपार संख्या 20 स्पेशल पर प्रस्तावित 3 दिन उपरिगामी सेतु
- 29.87 करोड़ धनराशि लागत से भिखारीपुर तिराहे से एनएच-2 तक (राजमार्ग संख्या 74 पर 4.5 किमी) का चौड़ीकरण एवं सुदृढ़ीकरण कार्य
- 29.63 करोड़ धनराशि से काशी हिंदू विश्वविद्यालय में रीजनल इंस्टिट्यूट ऑफ आपथेल्मोलॉजी की स्थापना
- 1965 प्रधानमंत्री आवास ग्रामीण के सापेक्ष 1933 आवास पूर्ण हो चुके हैं
- मुख्यमंत्री आवास ग्रामीण के अंतर्गत 1980 लक्ष्य के सापेक्ष 1930 आवास पूर्ण हो चुके हैं. प्रधानमंत्री आवास शहरी के अंतर्गत 12130 आवास पूर्ण हो चुके हैं.
- एनओएलबी योजना अंतर्गत 18 हजार 905 और 108 सामुदायिक शौचालय का निर्माण कार्य पूर्ण कराया गया.
ये कार्य हैं जारी (2020 दिसम्बर से अगस्त 2021 तक का लक्ष्य)
- 21.88 करोड़ धनराशि लागत से पंडित दीनदयाल उपाध्याय राजकीय चिकित्सालय पांडेयपुर, परिसर में 50 शैय्या महिला चिकित्सालय का निर्माण कार्य
- 32.83 करोड़ धनराशि लागत से जनपद न्यायालय वाराणसी के न्यायालय परिसर में 16 न्यायालय कक्ष (8 मंजिला) का निर्माण कार्य
- 28.78 करोड़ धनराशि लागत से 200 शोरूम (डबल सीटेट) गर्ल्स हॉस्टल बीएचयू सहित 461.67 करोड़ लागत की 20 परियोजनाओं पर कार्य चल रहा है.
- प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना अंतर्गत 12.36 किमी लंबाई के दो नये सड़कों का निर्माण कार्य के साथ ही 19.00 किमी लंबाई के 8 सड़कों का मरम्मत कार्य प्रगति पर है.
- वाराणसी जनपद में 156.16 करोड़ धनराशि लागत से 258.79 किमी0 लंबाई के 87 नई सड़कों का निर्माण एवं चौड़ीकरण कार्य कराया जा रहा है.
- घर-घर नल योजना अंतर्गत जनपद के सभी आठ विकास खंडों के 760 ग्राम पंचायतों, 1 हजार 296 राजस्व ग्राम एवं 4 हजार 570 बस्तियों के कुल 3 लाख 30 हजार 211 घरों एवं परिवारों को लाभान्वित किए जाने हेतु कुल 97 पेयजल योजना संचालित की गई हैं.
- 591 सामुदायिक शौचालय का निर्माण कार्य निर्माणाधीन है.
- सांसद स्थानीय क्षेत्र विकास योजना अंतर्गत 654.264 लाख रुपये धनराशि की 152 प्रस्ताव चित्रित किए जा चुके हैं.
- विधानमंडल क्षेत्र विकास निधि योजना अंतर्गत विधायक निधि से 306.50 लाख की धनराशि से 4 प्रस्ताव स्वीकृत किए गए हैं.
संचालित परियोजनाओं में 11 परियोजनाएं इसी वर्ष दिसंबर 2020 तक, 05 परियोजनाएं मार्च 2021, 10 परियोजनाएं दिसंबर, 2021 तक और अवशेष 2 परियोजनाएं दिसंबर, 2021 तक पूर्ण हो जाएंगी.
- जापान के अंतरराष्ट्रीय सहयोग से कन्वेंशन सेंटर रुद्राक्ष का निर्माण तेजी से हो रहा है. इसी वर्ष दिसंबर, 2020 तक पूर्ण हो जाएगा.
- जनपद वाराणसी में 50 करोड़ से अधिक लागत की सड़क व पुल की 8 परियोजनाएं क्रियान्वित हैं.
- वाराणसी में गेल द्वारा 345 करोड़ रुपये की गैस वितरण परियोजना में 19 हजार 400 घरों में जीआई इंफ्रास्ट्रक्चर लगा दिया गया और 3 हजार 550 घरों में पाइप लाइन से घरेलू गैस आपूर्ति भी हो रही है. 09 सीएनजी स्टेशन कार्य करना शुरू हो गए हैं. 03 सीएनजी स्टेशन निर्माणाधीन है.
- श्री काशी विश्वनाथ धाम का कार्य तेजी से निर्माणाधीन है, जिसे अगस्त 2021 तक पूर्ण कर लिया जाएगा.
- वाराणसी में विद्युत सुदृढ़ीकरण हेतु आईपीडीएस के फेज की 118.20 करोड़ रुपये की परियोजना अगले माह अक्टूबर 2020 में पूर्ण हो जाएगी.
- अलईपुर विद्युत उपकेंद्र का 56 करोड़ रुपये से निर्माण कराया जा रहा है. इससे बड़ी आबादी को अच्छे वोल्टेज के साथ पर्याप्त बिजली मिलेगी.
- वाराणसी के नालों, सीवर, सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट स्थापित किए गए हैं. 50 एमएलडी का रमना एसटीपी, 10 एमएलडी का रामनगर एसटीपी तथा इसके इंटरसेप्टर कार्य इसी वर्ष पूर्ण हो जाएंगे.
- वरुणा नदी के चैनेलाइजेशन एवं तटीय विकास परियोजना, जो 201.66 करोड़ रुपये लागत की है, इसका लगभग कार्य पूर्ण हो चुका है.
- स्मार्ट सिटी के तहत 45 परियोजनाएं, जिनकी लागत 1001.34 करोड़ रुपये है, क्रियान्वित है. इसमें अब तक विभिन्न कार्यों पर 262.52 करोड़ रुपये व्यय हो चुके हैं. स्मार्ट सिटी के कार्य युद्ध स्तर पर संचालित हो रहे हैं.
- स्मार्ट सिटी के तहत 173.54 करोड़ की लागत से काशी इंटीग्रेटेड कमांड कंट्रोल सेंटर की स्थापना हो चुकी है.
- शहर के 720 स्थानों पर एडवांस सर्विलांस कैमरा स्थापना के कार्य इसी वर्ष दिसंबर 2020 तक पूर्ण हो जाएगा.
- शहर की सड़क एवं परिवहन को रिवाइटलाइजेशन हेतु स्मार्ट सिटी में रोड एवं जंक्शन इंप्रूवमेंट का कार्य हो रहा है.
- शहर में इलेक्ट्रिक बस चार्जिंग स्टेशन स्थापना की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है.
- बेहतर यातायात हेतु स्मार्ट सिटी में शहर के तीन प्रमुख स्थानों पर पार्किंग बनवाई जा रही है, जिसमें गोदौलिया चौक पर 375 टू व्हीलर पार्किंग, टाउनहॉल में 150 कार एवं 200 टू व्हीलर पार्किंग तथा बेनियाबाग में 400 कार एवं 450 टू व्हीलर पार्किंग का निर्माण तेजी से हो रहा है.
- स्मार्ट सिटी में पार्क एवं कुंडों के विकास के तहत 4 स्मार्ट पार्क के रिडेवलपमेंट, मंदाकिनी कुंड का जीर्णोद्धार, नदेसर, चकरा, सोनभद्र, पांडेयपुर, चितईपुर तालाबों का विकास एवं सुंदरीकरण हो रहा है.
- ओल्ड काशी की रीडिवेलपमेंट को स्मार्ट सिटी में लेकर राजमंदिर, कामेश्वर महादेव, कालभैरव, दशाश्वमेध, जंगमबाड़ी, गढ़वासी टोला वार्डों का रिडेवलपमेंट कार्य हो रहा है.
- स्मार्ट सिटी में 12.59 करोड़ की लागत से कान्हा उपवन की स्थापना का कार्य पूर्ण हो चुका है. मछोदरी स्मार्ट स्कूल एवं कौशल विकास केंद्र डॉ संपूर्णानंद स्पोर्ट्स स्टेडियम के रीडिवेलपमेंट कार्य प्रगति में है.
- शहर के 5 शिरोपरि जलाशयों, विभिन्न स्थलों पर लैंडस्कैपिंग एवं आर्ट वर्क के कार्य स्मार्ट सिटी में शहर का सुंदरीकरण कर रहे हैं.
- अमृत योजना में वाराणसी नगर निगम के 05 जोन्स में 29.71 करोड़ रुपये लागत से पेयजल घरेलू गृह संयोजन की परियोजना क्रियान्वित है. इसमें शहर के 28 हजार 683 घरों में कनेक्शन देने का कार्य पूर्ण हो चुका है. इसमें कुल 50 हजार घरों को पेयजल उपलब्धता हेतु जोड़ा जाएगा.
- अमृत योजना में वाराणसी की एक परियोजना पूर्ण हो चुकी है, शेष पर तेजी से कार्य चल रहा है.
- पार्कों के निर्माण व सुंदरीकरण कार्य को अमृत योजना में किया जा रहा है. वाराणसी में 7 पार्को को लिया गया है.
- मैदागिन से गोदौलिया और गोदौलिया से दशाश्वमेध घाट तक गौरव पथ का निर्माण जारी है. यह कार्य 2020 दिसंबर तक पूरा होगा.