वाराणसीः जिले में अब हर महीने प्रत्येक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एक अतिकुपोषित बच्चे को एनआरसी में भर्ती कराएंगी. यह निर्णय मंगलवार को बैठक में किया गया. जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा की अध्यक्षता में जिला पोषण समिति की बैठक विकास भवन सभागार में हुई. जिलाधिकारी ने निर्देशित किया कि नीति आयोग की ओर से चयनित विकास खण्ड सेवापुरी की भांति, समस्त विकास खंडों में आगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का प्रशिक्षण कराया जाए. प्रत्येक मुख्य सेविका प्रत्येक माह 1-1 अतिकुपोषित बच्चे को एनआरसी में भर्ती कराए.
लोगों तक पहुंचाएं सरकारी लाभ
जिलाधिकारी ने कहा की लोगों तक सरकारी सुविधाओं का लाभ पहुंचाना आवश्यक है. आंगनबाड़ी कार्यकर्ता प्रत्येक गांव से सैम, मैम बच्चों का चिह्नांकन, स्कूल न जाने वाली किशोरियों का चिह्नांकन कर उनको योजना का लाभ दें. इसके साथ ही प्रत्येक 03 दिन में एक सक्सेस स्टोरी बनाकर उपलब्ध कराए, जिससे लोगों को जागरूक किया जा सके.
सुपरवाइजर को चेतावनी
कुपोषित बच्चों को अस्पताल में भर्ती ना कराए जाने को लेकर के जिलाधिकारी ने अपनी नाराजगी जाहिर की. उन्होंने कुपोषित बच्चों को एनआरसी में भर्ती न किए जाने पर सेवापुरी के सुपरवाइजर को चेतावनी जारी की. उन्होंने कहा कि हाथीबाजार में व शिवपुर में कुल एनआरसी 11 हैं. वहां बच्चों को भर्ती नहीं कराया जा रहा है, जो बेहद लापरवाही है. उन्होंने सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को निर्देशित करते हुए कहा कि यदि 1 सप्ताह में एनआरसी का कोई बेड खाली रहा, तो लापरवाही बरतने पर विभागीय कार्रवाई की जाएगी.
लगाई जाए पोषक वाटिका
जिलाधिकारी ने बैठक के दौरान अधिकारियों को सभी समस्त विभागीय भवनों का कायाकल्प कराए जाने का निर्देश दिया. साथ ही उन्होंने प्रत्येक आगनबाड़ी केन्द्र पर पोषण वाटिका लगाया लगाए जाने पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी केंद्रों पर पोषण वाटिका बेहद ही जरूरी है. पोषण वाटिका की देख-रेख हेतु सहायिकाओं के खाते में धनराशि हस्तानान्तरित की जाएगी.