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उन्नाव: गंगा में प्रदूषित पानी गिराने से एनजीटी खफा, 41 फैक्ट्रियों में लगेगा ताला

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Published : Jun 18, 2019, 5:51 PM IST

उन्नाव में नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश दिया है. जिला प्रशसान गंगा में प्रदूषित पानी गिराने से खफा है, इसलिए इन सभी फैक्ट्रियों को पूर्णतया बंद करने के निर्देश दिए गए हैं.

एनजीटी ने दिया 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश.

उन्नाव: गंगा में प्रदूषित पानी गिराने से एनजीटी खफा है. जिले की 41 फैक्ट्रियों को नोटिस जारी कर तालाबंदी का आदेश जारी किया गया है. जिले के दही चौकी और बंथर औद्योगिक क्षेत्रों में स्थापित 41 चर्म उद्योगों पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने अपनी निगाह टेढ़ी कर दी है. इन सभी फैक्ट्रियों को पूर्णतया बंद करने के आदेश सीपीसीबी ने जारी करते हुए जिस ट्रीटमेंट प्लांट से यह संबद्ध हैं उन्हें तत्काल अपग्रेड करने के आदेश भी दिये हैं.

एनजीटी ने दिया 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश.

एनजीटी ने दिया 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश

  • जिले में बीते दिनों एनजीटी के आदेश पर औद्योगिक क्षेत्रों और सीइटीपी का निरीक्षण करने पहुंची सीपीसीबी और यूपीपीसीबी की टीमों ने लगातार पांच दिन तक यहां के दूषित कचरे की जांच करते हुए सैंपलिंग की थी.
  • टीम ने इसमें हर दो घंटे में पानी की जांच कर सैंपल लिये और इसे परीक्षण के लिए लैब भेजा.
  • इसके बाद टीम द्वारा इसकी रिपोर्ट विभागीय अधिकारियों के साथ एनजीटी को भी पेश की गई.
  • जानकारों की मानें तो रिपोर्ट में सीईटीपी से निकल रहा पानी विभागीय मानकों पर कतई खरा नहीं उतर रहा है.
  • इसमें खतरनाक केमिकल क्रोमियम के अलावा अन्य प्रदूषणकारी कण भी काफी बढ़ी मात्रा में पाए गए.
  • जिसके बाद एनजीटी, सीपीसीबी व यूपीपीसीबी के अफसरों द्वारा इन ट्रीटमेंट प्लांट से जुड़ी सभी टेनरियों को बंद करने का निर्णय लिया गया.
  • जिसके बाद यूपीपीसीबी द्वारा सभी फैक्ट्री संचालकों और विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय को बंदी आदेश का नोटिस भेज दिया गया था.

शासन से गठित सीपीसीबी की जांच में कमियां पाई गई है. सीईटीपी प्लांट में भी तकनीकी खामियां मिली है. जिन्हें दूर करने के निर्देश सीपीसीबी ने दिए है. खामियां दूर न होने तक 41 फैक्ट्रियों को बंद करने के निर्देश फैक्ट्री मालिकों को दिए गए हैं. बंदी का आदेश सोमवार से लागू होगा, जो अग्रिम आदेश तक लागू होगा.

- विमल कुमार, क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी, उन्नाव

उन्नाव: गंगा में प्रदूषित पानी गिराने से एनजीटी खफा है. जिले की 41 फैक्ट्रियों को नोटिस जारी कर तालाबंदी का आदेश जारी किया गया है. जिले के दही चौकी और बंथर औद्योगिक क्षेत्रों में स्थापित 41 चर्म उद्योगों पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने अपनी निगाह टेढ़ी कर दी है. इन सभी फैक्ट्रियों को पूर्णतया बंद करने के आदेश सीपीसीबी ने जारी करते हुए जिस ट्रीटमेंट प्लांट से यह संबद्ध हैं उन्हें तत्काल अपग्रेड करने के आदेश भी दिये हैं.

एनजीटी ने दिया 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश.

एनजीटी ने दिया 41 फैक्ट्रियों को बंद करने का आदेश

  • जिले में बीते दिनों एनजीटी के आदेश पर औद्योगिक क्षेत्रों और सीइटीपी का निरीक्षण करने पहुंची सीपीसीबी और यूपीपीसीबी की टीमों ने लगातार पांच दिन तक यहां के दूषित कचरे की जांच करते हुए सैंपलिंग की थी.
  • टीम ने इसमें हर दो घंटे में पानी की जांच कर सैंपल लिये और इसे परीक्षण के लिए लैब भेजा.
  • इसके बाद टीम द्वारा इसकी रिपोर्ट विभागीय अधिकारियों के साथ एनजीटी को भी पेश की गई.
  • जानकारों की मानें तो रिपोर्ट में सीईटीपी से निकल रहा पानी विभागीय मानकों पर कतई खरा नहीं उतर रहा है.
  • इसमें खतरनाक केमिकल क्रोमियम के अलावा अन्य प्रदूषणकारी कण भी काफी बढ़ी मात्रा में पाए गए.
  • जिसके बाद एनजीटी, सीपीसीबी व यूपीपीसीबी के अफसरों द्वारा इन ट्रीटमेंट प्लांट से जुड़ी सभी टेनरियों को बंद करने का निर्णय लिया गया.
  • जिसके बाद यूपीपीसीबी द्वारा सभी फैक्ट्री संचालकों और विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय को बंदी आदेश का नोटिस भेज दिया गया था.

शासन से गठित सीपीसीबी की जांच में कमियां पाई गई है. सीईटीपी प्लांट में भी तकनीकी खामियां मिली है. जिन्हें दूर करने के निर्देश सीपीसीबी ने दिए है. खामियां दूर न होने तक 41 फैक्ट्रियों को बंद करने के निर्देश फैक्ट्री मालिकों को दिए गए हैं. बंदी का आदेश सोमवार से लागू होगा, जो अग्रिम आदेश तक लागू होगा.

- विमल कुमार, क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी, उन्नाव

Intro:स्पेशल

एंकर- पतित पावनी गंगा में प्रदूषित पानी गिराने से एनजीटी खफा है । उन्नाव के दही चौकी और बंथर सीईटीपी से संबद्ध टेनरियों पर एनजीटी की ने निगाह टेढ़ी कर ली हैं । उन्नाव जिले की 41 फैक्ट्रियों को नोटिस जारी कर तालाबंदी का आदेश जारी किया गया है । आपको बता दें कि उन्नाव के दही चौकी और बंथर औद्योगिक क्षेत्रों में स्थापित 41 चर्म उद्योगों पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने अपनी निगाह टेढ़ी कर दी है। इन सभी फैक्ट्रियों को पूर्णतया बंद करने के आदेश सीपीसीबी ने जारी करते हुए जिस ट्रीटमेंट प्लांट से यह संबद्ध हैं उन्हें तत्काल अपग्रेड करने के आदेश भी दिये हैं । आदेश से एक ओर जहां जिले के उद्यमियों में हड़कंप मचा हुआ है । वहीं सभी उद्यमी इसके लिए प्रदूषण बोर्ड सहित एनजीटी में भी गुहार लगाने की तैयारी कर रहे हैं। साथ ही सभी उद्यमी ट्रीटमेंट प्लांट के उच्चीकरण के लिए भी प्रयासरत हो गए हैं ।

Body:उन्नाव जनपद में बीते दिनों एनजीटी के आदेश पर औद्योगिक क्षेत्रों और कामन इन्फ्लुुुुएंट ट्रीटमेंट प्लांट (सीइटीपी) का निरीक्षण करने पहुंची केंद्रीय प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड (सीपीसीबी) व उप्र प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड (यूपीपीसीबी) की टीमों ने लगातार पांच दिन तक यहां के दूषित उत्प्रवाह की जांच करते हुए सैंपलिंग की थी । टीम ने इसमें हर दो घंटे में पानी की जांच कर सैंपल लिये और इसे परीक्षण को लैब भेजवाया । इसके बाद टीम द्वारा इसकी रिपोर्ट विभागीय अधिकारियों के साथ एनजीटी को भी पेश की गई । जानकारों की मानें तो रिपोर्ट में सीईटीपी से हो रहा उत्प्रवाह विभागीय मानकों पर कतई खरा नहीं उतर रहा है । इसमें खतरनाक केमिकल क्रोमियम के अलावा अन्य प्रदूषणकारी कण भी काफी बढ़ी मात्रा में पाए गए । जिसके बाद एनजीटी, सीपीसीबी व यूपीपीसीबी के अफसरों द्वारा इन ट्रीटमेंट प्लांट से जुुुुड़ी सभी टेनरियों को बंद करने का निर्णय लिया गया । जिसके बाद यूपीपीसीबी द्वारा सभी फैक्ट्री संचालकों व विभाग के क्षेत्रीय कार्यालय को बंदी आदेश का नोटिस भेज दिया गया था । Conclusion:जिला प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी विमल कुमार ने बताया कि शासन से गठित सीपीसीबी की जांच में कमियां पाई गई है। सीईटीपी प्लांट में भी तकनीकी खामियां मिली है। जिन्हें दूर करने के निर्देश सीपीसीबी ने दिए है। खामियां दूर न होने तक 41 ट्रेनरियों को बंद करने के निर्देश फैक्ट्री मालिकों को दिए गए हैं। बंदी का आदेश सोमवार से लागू होगा। जो अग्रिम आदेश तक लागू होगा।

बाईट- विमल कुमार क्षेत्रीय प्रदूषण अधिकारी उन्नाव
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