सुलतानपुर: संग्रामपुर थाना क्षेत्र में 26 जून 2014 को नौ साल की मासूम से रेप के दोषी को कोर्ट ने शुक्रवार को उम्रकैद और 50 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है. आरोपी अरुण ने दुष्कर्म के बाद लड़की की गला घोटकर हत्या कर शव को झाड़ियों में फेंक दिया था. गवाहों और साक्ष्यों के अवलोकन के बाद न्यायालय ने 6 वर्ष बाद दोषी को उम्र कैद की सजा सुनाई है.
2014 में हुई थी घटना
पीड़ित परिवार ने बेटी के साथ हुए जघन्य वारदात के संबंध में 26 जून 2014 को संग्रामपुर थाने में मुकदमा दर्ज कराया था. अभियोग में कहा गया था कि उनकी बेटी को बहला-फुसलाकर अज्ञात ने दुष्कर्म कर शव को झाड़ियों में फेंक दिया था.
तफ्तीश के दौरान संग्रामपुर थाना क्षेत्र स्थित रामगढ़ गांव निवासी अरुण सिंह का नाम प्रकाश में आया, जिसके खिलाफ साक्ष्य मिलने पर पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. आरोपी के विरुद्ध अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया गया था.
संपत्ति के विवाद को कोर्ट ने नकारा
विचारण के दौरान स्पेशल जज पास्को एक्ट ने साक्ष्यों और गवाहों का अवलोकन किया. अधिवक्ता बचाव पक्ष ने अभियोगी को पूर्व में पटाई गई जमीन वापस लेने के विवाद में फर्जी केस में फंसाने का तर्क रखा और आरोपी को बेकसूर बताया.
पक्ष-विपक्ष की बहस पर हुआ फैसला
कोर्ट के विशेष शासकीय अधिवक्ता सीएल द्विवेदी ने अपने साक्ष्य और तर्कों को रखकर अरुण सिंह को ही घटना के लिए दोषी ठहराया. जिस पर न्यायालय ने उसे ये सजा सुनाई है. दोनों पक्षों को सुनने के बाद स्पेशल जज राहुल प्रकाश ने आरोपी अरुण सिंह को मासूम से दुष्कर्म एवं हत्या के मामले में दोषी करार दिया. अदालत ने उसे उम्र कैद एवं 50,000 रुपये का अर्थदंड की सजा सुनाते हुए मामले का निस्तारण किया.
6 साल बाद मिला न्याय
मासूम के साथ दुष्कर्म कर उसकी हत्या करने के फैसले पर परिजनों ने संतोष व्यक्त करते हुए अपनी बेटी को आज न्याय मिलने की बात कही है.