सोनभद्र: अपर सत्र न्यायाधीश द्वितीय राहुल मिश्रा की अदालत ने बुधवार को सुनवाई करने के बाद दोष सिद्ध पाते हुए महिला को उम्रकैद की सजा सुनाई. वहीं, महिला पर 23000 रुपये का जुर्माना भी लगाया. बता दे कि बीजपुर थाना क्षेत्र में लगभग पौने 3 वर्ष पूर्व महिला ने अपने बच्चों को कुएं में फेंक दिया था. इस घटना में दो बच्चों की कुएं में डूबकर मौत हो गई थी, जबकि एक बच्चे को बचा लिया गया था. जुर्माना अदा न करने पर दोषी महिला को एक वर्ष कैद की सजा भी भुगतनी होगी.
अभियोजन पक्ष के मुताबिक, बीजापुर थाना क्षेत्र के पिंडारी टोला निवासी राघवदास ने थाने में तहरीर 25 मार्च 2020 को दी और बताया कि 25 मार्च 2020 को सुबह वह पत्नी व आरोपी बहू देवंती पत्नी विजय सिंह गौड़ के साथ अपने भाई गोपाल के यहां जन्मदिन के कार्यक्रम में गए थे. शाम को 3 बजे उसकी बहू अपने बच्चों के साथ घर आ गई. उसी दिन शाम 6 बजे जब घर में कोई नहीं था तो किसी कारणवश गुस्से में बहू ने अपने तीनों बच्चों अन्नू 6 वर्ष, अनुज 3 वर्ष और दीपांशु एक वर्ष को कुएं में फेंक दिया. इसके बाद वह चिल्लाते हुए घर से भाग गई. पड़ोस के राम दुलारे भी शोर सुनकर आ गए. उन्होंने बच्चों को कुएं से बाहर निकाला. तीनों बच्चों को एनटीपीसी अस्पताल ले जाया गया, जहां 2 बच्चों को मृत घोषित कर दिया गया. वहीं, अन्नू जीवित बच गया. उसको एनटीपीसी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उसका उपचार हुआ.
राघवदास की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया. राघवदास का कहना था कि उसका बेटा विजयसिंह गौड़ बाहर नौकरी करता है. देवंती काफी गुस्से वाली है. वह अक्सर बच्चों के साथ मारपीट भी करती थी. घटना वाले दिन भी उसने बच्चों को पिटाई के बाद कुएं में फेंक दिया था. ससुर की तहरीर पर पुलिस ने आरोपी देवंती को गिरफ्तार कर लिया. फिर उसके खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट प्रस्तुत की. कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलील को सुना. इसके बाद महिला देवंती को दोषी पाते हुए उम्रकैद की सजा के साथ 23 हजार रुपये का जुर्माना लगाया. बता दें कि इस पूरे मामले में अभियोजन पक्ष की तरफ से एडवोकेट विजय प्रकाश यादव ने बहस की.
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