भदोही: जिले के किसान एंटी शुगर 'ब्लैक राइस' की खेती से अपनी आय को कई गुना बढ़ाने में लगे हुए हैं. बता दें कि ब्लैक राइस की कीमत बाजार में 400 से 500 रुपये प्रति किलो है, जिस वजह से ब्लैक राइस की खेती किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो रही है.
इस चावल को खाने से कई तरह की बीमारियों में लाभ मिलता है. साथ ही यह चावल औषधीय गुणों का भंडार है. एंटी शुगर ब्लैक राइस के विषय में कहा जाता है कि इस चावल की खेती एक समय चीन में हुआ करती थी. यह भी कहा जाता है कि जब चीन में राजशाही थी तो इस चावल का प्रयोग सिर्फ राज परिवार ही कर सकता था.
काले रंग में हैं कई गुण
मणिपुर के जंगली इलाकों में आज लोग बहुत कम पैमाने पर 'ब्लैक राइस' की पैदावार करते हैं. करीब तीन वर्ष पहले एंटी शुगर ब्लैक राइस के विषय में भदोही के उप कृषि निदेशक को पता चला तो उन्होंने पांच किलो बीज मंगवाया और किसानों को दिया, जिसके बाद आज बड़े पैमाने पर जिले के किसान इस धान की खेती से जुड़ गए हैं.
जिले के कृषि विभाग में तैनात उप कृषि निदेशक ए. के. सिंह ने बताया कि शोध में पाया गया है कि इस काले रंग के चावल में कई गुण हैं. इसमें एंटीआक्सीडेंट, एंटी कैंसर और एंटी डायबिटिक है. ए. के. सिंह ने बताया कि किसानों की आय कई गुना बढ़ाने में ब्लैक राइस की खेती कारगर है. मौजूदा समय में जिले के कई किसान इस खेती से जुड़ चुके हैं.
इसकी खेती में रासायनिक खाद का नहीं होता प्रयोग
एंटी शुगर ब्लैक राइस के दाम बाजार में 400 रुपये प्रति किलो के करीब है, जो इस समय बहुत ही कम जगहों पर उपलब्ध है. हलांकि अब जिले में कई किसानों ने इस फसल का प्रयाप्त बीज तैयार कर लिया है, जो आने वाले समय में अब बड़े पैमाने पर खेती करेंगे. किसानों का कहना है कि एंटी शुगर ब्लैक राइस की खेती में लागत न के बराबर है. इसमें किसी भी तरह की रासायनिक खाद का प्रयोग नहीं होता है और आम धान से इसकी पैदावार भी बहुत अच्छी है.