ETV Bharat / state

सहारनपुर: लॉकडाउन में फंसे 30 से ज्यादा नेपाली परिवार, घर जाने की लगाई गुहार - nepal workers trapped in india

उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में 30 से ज्यादा नेपाली परिवार लॉकडाउन में फंसे हुए हैं. आर्थिक तंगी से जूझ रहे ये नेपाली परिवार अपने देश जाने की सरकार से गुहार लगा रहे हैं.

saharanpur  news
सहारनपुर में फंसे नेपाली परिवार.
author img

By

Published : May 23, 2020, 5:02 PM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:22 PM IST

सहारनपुर: केंद्र की मोदी सरकार प्रवासी श्रमिकों को लगातार घर वापस भेज रही है. इसके लिए बाकायदा श्रमिक स्पेशल एक्सप्रेस ट्रेनें भी चलाई गई हैं. परिवहन निगम की बसों का भी सहारा लिया जा रहा है. वहीं दूसरी ओर पिछले दो महीने से लॉकडाउन में फंसे हुए नेपाली परिवार अपने देश जाने की सरकार से गुहार लगा रहे हैं.

सहारनपुर में फंसे नेपाली परिवार.

जिले में 30 से ज्यादा नेपाली परिवार न सिर्फ आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं, बल्कि भूखमरी के कगार पर पहुंच गए हैं. ईटीवी भारत की टीम ने नेपाली परिवारों के बीच पहुंचकर इनका दर्द साझा किया. उन्होंने बताया कि नगर निगम से मिलने वाले खाने के पॉकेट की आपूर्ति भी बंद हो गई है. पैसे खत्म होने से मकान मालिक भी घर से निकालने की धमकी दे रहे हैं. महिलाओं बच्चो के साथ एक वक्त खाना खाकर गुजर बसर करने को मजबूर हैं.

ये भी पढ़ें- CM योगी को धमकी मामला: STF को मुंबई में मिली मोबाइल की लोकेशन, टीम रवाना

दरअसल थाना नगर कोतवाली इलाके के शोहराब रोड़ पर किराए के मकानों में रह रहे 30 से ज्यादा नेपाली परिवार सर्दियों के मौसम में मसाले, जड़ी-बूटियां, हींग, कपड़े आदि बेचने के लिए आए थे. सर्दियां खत्म होते ही कोरोना वायरस की वजह से 22 मार्च को जनता कर्फ्यू और 25 मार्च से लॉकडाउन के बीच फंस गए. नेपाली महिलाएं, पुरुष और बच्चों समेत 200 से ज्यादा नेपाली नागरिक लॉकडाउन में फंस कर रह गए.

दो महीने घरों में कैद रहने के बाद इनके पास जमा पूंजी और खाने-पीने का राशन भी खत्म हो गया. जैसे-तैसे नगर निगम की ओर से कुछ लोगों को खाने के पैकेट मिलने से थोड़ी राहत जरूर मिली, लेकिन कुछ दिन बाद वे भी बंद हो गए. जिससे नेपाली परिवारों के सामने आर्थिक संकट पैदा हो गई. 60 दिन से ज्यादा लॉकडाउन में रहने के बाद बेबस नेपालियों के सब्र का बांध टूट गया और इन्होंने घरों से बाहर निकलकर अपने देश नेपाल बॉर्डर तक भिजवाने की गुहार लगाई.

सहारनपुर: केंद्र की मोदी सरकार प्रवासी श्रमिकों को लगातार घर वापस भेज रही है. इसके लिए बाकायदा श्रमिक स्पेशल एक्सप्रेस ट्रेनें भी चलाई गई हैं. परिवहन निगम की बसों का भी सहारा लिया जा रहा है. वहीं दूसरी ओर पिछले दो महीने से लॉकडाउन में फंसे हुए नेपाली परिवार अपने देश जाने की सरकार से गुहार लगा रहे हैं.

सहारनपुर में फंसे नेपाली परिवार.

जिले में 30 से ज्यादा नेपाली परिवार न सिर्फ आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं, बल्कि भूखमरी के कगार पर पहुंच गए हैं. ईटीवी भारत की टीम ने नेपाली परिवारों के बीच पहुंचकर इनका दर्द साझा किया. उन्होंने बताया कि नगर निगम से मिलने वाले खाने के पॉकेट की आपूर्ति भी बंद हो गई है. पैसे खत्म होने से मकान मालिक भी घर से निकालने की धमकी दे रहे हैं. महिलाओं बच्चो के साथ एक वक्त खाना खाकर गुजर बसर करने को मजबूर हैं.

ये भी पढ़ें- CM योगी को धमकी मामला: STF को मुंबई में मिली मोबाइल की लोकेशन, टीम रवाना

दरअसल थाना नगर कोतवाली इलाके के शोहराब रोड़ पर किराए के मकानों में रह रहे 30 से ज्यादा नेपाली परिवार सर्दियों के मौसम में मसाले, जड़ी-बूटियां, हींग, कपड़े आदि बेचने के लिए आए थे. सर्दियां खत्म होते ही कोरोना वायरस की वजह से 22 मार्च को जनता कर्फ्यू और 25 मार्च से लॉकडाउन के बीच फंस गए. नेपाली महिलाएं, पुरुष और बच्चों समेत 200 से ज्यादा नेपाली नागरिक लॉकडाउन में फंस कर रह गए.

दो महीने घरों में कैद रहने के बाद इनके पास जमा पूंजी और खाने-पीने का राशन भी खत्म हो गया. जैसे-तैसे नगर निगम की ओर से कुछ लोगों को खाने के पैकेट मिलने से थोड़ी राहत जरूर मिली, लेकिन कुछ दिन बाद वे भी बंद हो गए. जिससे नेपाली परिवारों के सामने आर्थिक संकट पैदा हो गई. 60 दिन से ज्यादा लॉकडाउन में रहने के बाद बेबस नेपालियों के सब्र का बांध टूट गया और इन्होंने घरों से बाहर निकलकर अपने देश नेपाल बॉर्डर तक भिजवाने की गुहार लगाई.

Last Updated : Sep 17, 2020, 4:22 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.