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आजम खां ने जमा किए एक करोड़ से ज्यादा रुपये, जानिए क्यों

सपा सांसद आजम खां की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही हैं. अभी कुछ महीने पहले ही आजम खां ने रिसोर्ट पर बिजली विभाग का लाखों रुपये बकाया जमा किया था. अब उन्हें जोहर यूनिवर्सिटी का बकाया सेस जमा करना पड़ा है.

जोहर यूनिवर्सिटी.
जोहर यूनिवर्सिटी.
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Published : Feb 23, 2021, 3:43 AM IST

रामपुर: सपा सांसद आजम खां की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही हैं. अभी कुछ महीने पहले ही आजम खां ने हमसफर रिसोर्ट पर बिजली विभाग का लाखों रुपये बकाया जमा किया था. अब सांसद आजम खां ने जोहर यूनिवर्सिटी का बकाया सेस 1 करोड़ 37 लाख रुपये जमा किया है. सेस न देने की वजह से जिलाधिकारी ने जौहर यूनिवर्सिटी के भवन को सील कर रहे थे.

भाजपा नेता ने दी जानकारी

भाजपा नेता आकाश सक्सेना ने बताया कि आजम खां की जौहर यूनिवर्सिटी के ऊपर जो यह सेस है, यह समाजवादी पार्टी की सरकार के समय से था. शाहिद मंजूर उस समय श्रम मंत्री थे, उन्होंने यह नोटिस भेजा था. इसके बाद आजम खां ने नोटिस लेकर आने वाले आरपी यादव को टर्मिनेट करवा दिया था. यह तब से ही मामला चला आ रहा था. उन्होंने बताया कि हमने इसमें शिकायत की थी और भाजपा सरकार आते ही जांच हुई तो पाया गया कि एक करोड़ 37 लाख रुपये सेस बकाया था. आजम खां को लगभग साल भर पहले नोटिस दिया गया था. अब इन्होंने जमा किया है.

जौहर यूनिवर्सिटी के अंदर बनी बिल्डिंगों की किया गया आकलन

आकाश सक्सेना ने बताया कि ऐसा होता है कि जब कोई व्यक्तिगत निर्माण करता है तो सरकार द्वारा इसमें मजदूरों की वेलफेयरटी के लिए एक परसेंट सेस की व्यवस्था की गई है. भारत सरकार द्वारा उसी के तहत यह एक परसेंट सेस देना पड़ता है, क्योंकि आजम खां ने कभी यह सेस नहीं दिया था तो एक परसेंट सेस लगा और उस पर एक परसेंट ब्याज लगा. उन्होंने बताया कि जौहर यूनिवर्सिटी के अंदर जितनी भी बिल्डिंग बनी हैं, उसका आकलन किया गया. आकाश सक्सेना ने बताया कि एक करोड़ 36 लाख रुपये के आसपास आजम खां ने सेस जमा किया है, और बाकी अभी लगभग ढाई करोड़ के आसपास बचता है.

रामपुर: सपा सांसद आजम खां की मुश्किलें कम होती नजर नहीं आ रही हैं. अभी कुछ महीने पहले ही आजम खां ने हमसफर रिसोर्ट पर बिजली विभाग का लाखों रुपये बकाया जमा किया था. अब सांसद आजम खां ने जोहर यूनिवर्सिटी का बकाया सेस 1 करोड़ 37 लाख रुपये जमा किया है. सेस न देने की वजह से जिलाधिकारी ने जौहर यूनिवर्सिटी के भवन को सील कर रहे थे.

भाजपा नेता ने दी जानकारी

भाजपा नेता आकाश सक्सेना ने बताया कि आजम खां की जौहर यूनिवर्सिटी के ऊपर जो यह सेस है, यह समाजवादी पार्टी की सरकार के समय से था. शाहिद मंजूर उस समय श्रम मंत्री थे, उन्होंने यह नोटिस भेजा था. इसके बाद आजम खां ने नोटिस लेकर आने वाले आरपी यादव को टर्मिनेट करवा दिया था. यह तब से ही मामला चला आ रहा था. उन्होंने बताया कि हमने इसमें शिकायत की थी और भाजपा सरकार आते ही जांच हुई तो पाया गया कि एक करोड़ 37 लाख रुपये सेस बकाया था. आजम खां को लगभग साल भर पहले नोटिस दिया गया था. अब इन्होंने जमा किया है.

जौहर यूनिवर्सिटी के अंदर बनी बिल्डिंगों की किया गया आकलन

आकाश सक्सेना ने बताया कि ऐसा होता है कि जब कोई व्यक्तिगत निर्माण करता है तो सरकार द्वारा इसमें मजदूरों की वेलफेयरटी के लिए एक परसेंट सेस की व्यवस्था की गई है. भारत सरकार द्वारा उसी के तहत यह एक परसेंट सेस देना पड़ता है, क्योंकि आजम खां ने कभी यह सेस नहीं दिया था तो एक परसेंट सेस लगा और उस पर एक परसेंट ब्याज लगा. उन्होंने बताया कि जौहर यूनिवर्सिटी के अंदर जितनी भी बिल्डिंग बनी हैं, उसका आकलन किया गया. आकाश सक्सेना ने बताया कि एक करोड़ 36 लाख रुपये के आसपास आजम खां ने सेस जमा किया है, और बाकी अभी लगभग ढाई करोड़ के आसपास बचता है.

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