रायबरेली: कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के संसदीय क्षेत्र रायबरेली में मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी परियोजना 'प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि' दम तोड़ती नजर आ रही है. योजना के तहत दावा किया जा रहा था कि जनपद में लाखों किसानों को हर वर्ष 6 हजार की धनराशि निर्गत की जाएगी पर सरकार के तमाम दावों को ठेंगा दिखाते हुए जिम्मेदार अब लाखों किसानों को वंचित रहने की बात स्वीकार कर रहे हैं. इनमें से तमाम पात्र किसान वो भी हैं, जिन्हें लोकसभा चुनावों से पूर्व पहली किस्त बेहद आसानी से निर्गत कर दी गई थी पर अब अन्य किस्तों के लिए उन्हें सरकारी दफ्तरों के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं.
किसानों को नहीं मिल पा रहा 'प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि' का लाभ
- जिले में किसान विश्राम यादव का कहना हैं कि उनके द्वारा कई प्रयास किए गए हैं.
- विश्राम को आज तक प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का लाभ नहीं मिल पाया.
- गांव के कुछ लोग इस योजना के तहत लाभान्वित हो रहे हैं पर उन्हें अब तक कोई लाभ नहीं मिल सका.
- योजना के अंतर्गत लाभ पाने को लेकर विश्राम कहते हैं कि प्रधान और लेखपाल से लेकर जिला मुख्यालय तक के अधिकारियों के दरवाजे पर प्रार्थना पत्र लेकर गए.
- हालांकि की किसी भी अधिकारी मे मना नहीं किया, लेकिन आज तक योजना के तहत कोई लाभ नहीं मिल सका.
- किसान राजेश मौर्य को लोकसभा चुनाव के पहले ही किसान सम्मान निधि योजना की 2000 रुपये की पहली किस्त प्राप्त हुई थी.
- लोकसभा चुनाव में अपार बहुमत पाने के बाद से सरकार द्वारा योजना को लेकर कोई तरजीह नहीं दी गई.
- इस मामले में जिम्मेदार लापरवाही कर रहे है और पात्रों को योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है.
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जनपद के करीब 2 लाख 29 हजार से ज्यादा किसानों के आधार कार्ड संबंधी त्रुटियों के कारण उन्हें योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है. विभाग द्वारा ऐसे सभी कृषकों को जनसुविधा केंद्र और इंटरनेट के माध्यम से आधार कार्ड में दर्ज नाम और अन्य डिटेल्स को सही कराने को कहा गया है. इसके अलावा 50 हजार से ज्यादा कृषकों के अकाउंट डिटेल्स में खामियां होने के कारण उन्हें निर्गत होने वाली किस्तों में रोक लगा दी गई है. विभाग खामियों को दुरुस्त करके जल्द ही दोबारा से आगे की कार्रवाई के लिए प्रेषित कर रहा है.
-रविचंद्र प्रकाश, जिला कृषि अधिकारी