ETV Bharat / state

कन्नौज पुलिस अभिरक्षा में मौत का मामला, इलाहाबाद हाईकोर्ट ने दिया SIT गठित करने का आदेश

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मंगलवार को योगी सरकार को कन्नौज की तिरवा कोतवाली में पुलिस अभिरक्षा में मौत मामले की जांच एसआईटी को सौंपने का आदेश दिया. कोर्ट ने कहा है कि एसपी रैंक के अधिकारी के नेतृत्व में क्षेत्राधिकारी रैंक के दो सदस्यों को लेकर एसआईटी गठित की जाए.

etv bharat
कन्नौज पुलिस अभिरक्षा में मौत का मामला
author img

By

Published : May 25, 2022, 8:11 AM IST

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मंगलवार को राज्य सरकार को कन्नौज की तिरवा कोतवाली में पुलिस अभिरक्षा में मौत मामले की जांच एसआईटी को सौंपने का आदेश दिया. कोर्ट ने कहा है कि एसपी रैंक के अधिकारी के नेतृत्व में क्षेत्राधिकारी रैंक के दो सदस्यों को लेकर एसआईटी गठित की जाए. कोर्ट ने एसआईटी को उन सभी पहलुओं की जांच करने का आदेश दिया है, जिससे पता चले कि मृतक अनिल सिंह ने आत्महत्या की है या उसकी हत्या की गई है. कोर्ट ने इस मामले में तीन माह में रिपोर्ट मांगी है.

हाईकोर्ट ने इसके साथ ही आरोपी दो पुलिस अधिकारियों को जांच में सहयोग करने की शर्त पर उनके उत्पीड़नात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी है. याचिका की अगली सुनवाई 6 सितंबर 2022 को होगी. यह आदेश जस्टिस अश्वनी कुमार मिश्र और जस्टिस रजनीश कुमार की खंडपीठ ने पुलिस अधिकारी त्रिभुवन प्रसाद वर्मा और अरूण कुमार की याचिका पर दिया है.

ये भी पढ़ें- यूपी में प्राइवेट जैसे महंगे हुए सरकारी राज्य विश्वविद्यालय, जानिए क्या है हाल

याचियों का कहना है कि 2020 में नशे में धुत मृतक अपनी ससुराल में हंगामा कर रहा था. पुलिस उसे थाने में लाई. जहां शौचालय में उसने फांसी लगा ली. मृतक के पिता की तरफ से पुलिस के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई. तो दूसरी एफआईआर पुलिस की तरफ से पुलिस के खिलाफ मृतक को आत्महत्या के लिए उकसाने व मजबूर करने के आरोप में दर्ज कराई गई.

ऐसी ही जरूरी और विश्वसनीय खबरों के लिए डाउनलोड करें ईटीवी भारत ऐप

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मंगलवार को राज्य सरकार को कन्नौज की तिरवा कोतवाली में पुलिस अभिरक्षा में मौत मामले की जांच एसआईटी को सौंपने का आदेश दिया. कोर्ट ने कहा है कि एसपी रैंक के अधिकारी के नेतृत्व में क्षेत्राधिकारी रैंक के दो सदस्यों को लेकर एसआईटी गठित की जाए. कोर्ट ने एसआईटी को उन सभी पहलुओं की जांच करने का आदेश दिया है, जिससे पता चले कि मृतक अनिल सिंह ने आत्महत्या की है या उसकी हत्या की गई है. कोर्ट ने इस मामले में तीन माह में रिपोर्ट मांगी है.

हाईकोर्ट ने इसके साथ ही आरोपी दो पुलिस अधिकारियों को जांच में सहयोग करने की शर्त पर उनके उत्पीड़नात्मक कार्रवाई पर रोक लगा दी है. याचिका की अगली सुनवाई 6 सितंबर 2022 को होगी. यह आदेश जस्टिस अश्वनी कुमार मिश्र और जस्टिस रजनीश कुमार की खंडपीठ ने पुलिस अधिकारी त्रिभुवन प्रसाद वर्मा और अरूण कुमार की याचिका पर दिया है.

ये भी पढ़ें- यूपी में प्राइवेट जैसे महंगे हुए सरकारी राज्य विश्वविद्यालय, जानिए क्या है हाल

याचियों का कहना है कि 2020 में नशे में धुत मृतक अपनी ससुराल में हंगामा कर रहा था. पुलिस उसे थाने में लाई. जहां शौचालय में उसने फांसी लगा ली. मृतक के पिता की तरफ से पुलिस के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई. तो दूसरी एफआईआर पुलिस की तरफ से पुलिस के खिलाफ मृतक को आत्महत्या के लिए उकसाने व मजबूर करने के आरोप में दर्ज कराई गई.

ऐसी ही जरूरी और विश्वसनीय खबरों के लिए डाउनलोड करें ईटीवी भारत ऐप

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.