प्रतापगढ़: जिले में फरियादी के साथ मारपीट और पैसे छीनने के आरोप में एसपी ने दो पुलिस कर्मियों को जेल भेज दिया है. फरियादी की तहरीर के बाद हुई जांच में मामला सही पाया गया. जिसके बाद हेडकांस्टेबल और कांस्टेबल पर मुकदमा दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया. एसपी अनुराग आर्य ने मामले में हल्का दारोगा संतोष यादव को निलंबित कर दिया है. पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई से महकमे में हड़कंप मचा हुआ है.
महत्वपूर्ण तथ्य-
- बाघराय थाने में फरियादी से लूटपाल का मामला, एसपी ने दो पुलिसकर्मियों को भेजा जेल.
- पुलिसकर्मियों पर लूट, मारपीट समेत दलित उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज.
बाधराय थाने के शुकुलपुर छतार निवासी जयचंद्र पुत्र छोटू ने बीते शनिवार को एसपी अनुराग आर्य को प्रार्थना पत्र सौंपा था. पत्र में आरोप लगाया था कि 31 अगस्त को पारिवारिक संपत्ति के बंटवारे को लेकर घर में विवाद हो गया था. मामले का निपटारा कराने के लिए वह बाघराय थाने में शिकायती पत्र दिया था. थाने के मुख्य आरक्षी हरीशचंद्र बिंद व आरक्षी गुरुवेंद्र सिंह ने दोनों पक्षों को थाने पर बुलाया था. वहां बातचीत के दौरान विपक्षी से रुपये मिलने पर उन्हें छोड़ दिया गया.
दोनों पुलिसकर्मियों ने उससे रुपये की मांग की
मामाले में पुलिसकर्मियों ने छोटू से भी रुपये की मांग की. रुपये न देने पर उसके भाई श्रीचंद्र की जेब से मुख्य आरक्षी हरीशचंद्र बिंद ने आठ सौ रुपये व मोबाइल छीन लिया. उसे व उसके भाई श्रीचंद्र को पीपल के पेड़ से सटाकर सिपाही गुरुवेंद्र सिंह व हरिशचन्द्र बिंद ने मारा पीटा. पिटाई के दौरान जाति सूचक शब्दों का प्रयोग करते हुए गालियां भी दीं.
एसपी ने दिए जांच के आदेश
एसपी ने शिकायत की जांच कराई. जिसमें आरोप सही मिलने पर उनके आदेश पर बाघराय थाने में मुख्य आरक्षी हरीशचंद्र बिंद व सिपाही गुरुवेंद्र सिंह के खिलाफ लूट, मारपीट समेत दलित उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज कर लिया गया. मामले की जांच सीओ सदर तनु उपाध्याय को सौंपी गई थी.
दोनों सिपाहियों को जेल भेज दिया गया है. साथ ही हल्का दरोगा संतोष यादव को निलंबित कर दिया गया है. जो भी पुलिस कर्मी आम जनता का उत्पीड़न करेगा उसपर कार्रवाई होगी. पुलिस जनता की सुरक्षा के लिए है, शोषण के लिए नहीं.
अनुराग आर्य, एसपी