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शादी में बजा डीजे तो काजी नहीं पढ़ाएंगे निकाह, मरकजी सुन्नी जमीअते उलमा-ए-हिंद का फैसला - ऑल इंडिया सुन्नी उलेमा काउंसिल

मुस्लिम समाज के जिस बारात में डीजे रहेगा उसमें निकाह न पढ़ाने, शादियों में गैर शरई रस्मों को रोकने के लिए शुरू की गई ऑल इंडिया सुन्नी उलेमा काउंसिल की मुहिम मिर्जापुर तक पहुंच गई.

शादी में बजा डीजे तो काजी नहीं पढ़ाएंगे निकाह
शादी में बजा डीजे तो काजी नहीं पढ़ाएंगे निकाह
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Published : Dec 19, 2021, 9:37 PM IST

मिर्जापुर: ऑल इंडिया सुन्नी उलेमा काउंसिल (All India Sunni Ulema Council) की मुहिम मिर्जापुर तक पहुंच गई है. मरकजी सुन्नी जमीअते उलमा-ए-हिंद (Markazi Sunni Jamiat Ulama-E-Hind) मिर्जापुर ने बैठक कर घोषणा की है कि जिन शादियों में डीजे, नाच गाना और आतिशबाजी होगी वहां काजी निकाह नहीं पढ़ाएंगे. फैसले को नजर अंदाज करते हुए जो काजी निकाह पढ़ाएंगे, उनका भी बहिष्कार किया जाएगा.

शादियों में फिजूलखर्ची और गैर शरई रस्मों को रोकने के लिए मरकजी सुन्नी जमीअते उलेमा-ए-हिंद मिर्जापुर ने जिले के तमाम मुस्लिम धर्मगुरु, मस्जिदों के इमाम, शहर के गणमान्य लोगों के साथ एक मदरसा अरबिया इलियट घाट में रविवार को बैठक की. बैठक में फैसला लिया गया कि जिन शादियों में डीजे, नाच, गाना और आतिशबाजी होगी. वहां काजी निकाह नहीं पढ़ाएंगे. फैसले को नजर अंदाज करते हुए, जो काजी निकाह पढ़ाएंगे उनका भी बहिष्कार किया जाएगा.

बैठक में कहा गया कि इस्लाम एक अमन और भाईचारे वाला मजहब है. इसमें कतई शोर शराबा करना मना है. हम लोगों को ऐसा करने से लोगों को और खुद को भी रोकना चाहिए. उन्होंने कहा कि शादी में एक दिन पहले रात में भी गाना बजाना और नाचना हराम है. दहेज मांगना, खड़े होकर खाना खिलाना और आतिशबाजी करना भी हराम है. अगर कोई काजी ऐसे लोगों का निकाह पढ़ाता है तो सभी धर्म गुरु उसका सामाजिक और धार्मिक बहिष्कार कर देंगे. उसे किसी भी आयोजन में शामिल होने की अनुमति नहीं देंगे. जिले के सभी धर्म गुरुओं ने एक साथ इसका समर्थन किया.

इसे भी पढ़ें- मिर्जापुर: नितिन गडकरी कल करेंगे 3,037 करोड़ के राष्ट्रीय राजमार्गों का लोकार्पण और शिलान्यास

बैठक में फैसला लिया गया कि जहां-जहां ये बुराइयां फैली हुई हैं, उन लोगों को शरीयत के हवाले से समझाया जाएगा. आगे ब्लॉक स्तर पर बैठके होंगी. हर एक-एक शख्स तक बात पहुंचाई जाएगी. इसको लेकर बैठक में उपस्थित सभी ने लोगों ने सराहना की है.

मिर्जापुर: ऑल इंडिया सुन्नी उलेमा काउंसिल (All India Sunni Ulema Council) की मुहिम मिर्जापुर तक पहुंच गई है. मरकजी सुन्नी जमीअते उलमा-ए-हिंद (Markazi Sunni Jamiat Ulama-E-Hind) मिर्जापुर ने बैठक कर घोषणा की है कि जिन शादियों में डीजे, नाच गाना और आतिशबाजी होगी वहां काजी निकाह नहीं पढ़ाएंगे. फैसले को नजर अंदाज करते हुए जो काजी निकाह पढ़ाएंगे, उनका भी बहिष्कार किया जाएगा.

शादियों में फिजूलखर्ची और गैर शरई रस्मों को रोकने के लिए मरकजी सुन्नी जमीअते उलेमा-ए-हिंद मिर्जापुर ने जिले के तमाम मुस्लिम धर्मगुरु, मस्जिदों के इमाम, शहर के गणमान्य लोगों के साथ एक मदरसा अरबिया इलियट घाट में रविवार को बैठक की. बैठक में फैसला लिया गया कि जिन शादियों में डीजे, नाच, गाना और आतिशबाजी होगी. वहां काजी निकाह नहीं पढ़ाएंगे. फैसले को नजर अंदाज करते हुए, जो काजी निकाह पढ़ाएंगे उनका भी बहिष्कार किया जाएगा.

बैठक में कहा गया कि इस्लाम एक अमन और भाईचारे वाला मजहब है. इसमें कतई शोर शराबा करना मना है. हम लोगों को ऐसा करने से लोगों को और खुद को भी रोकना चाहिए. उन्होंने कहा कि शादी में एक दिन पहले रात में भी गाना बजाना और नाचना हराम है. दहेज मांगना, खड़े होकर खाना खिलाना और आतिशबाजी करना भी हराम है. अगर कोई काजी ऐसे लोगों का निकाह पढ़ाता है तो सभी धर्म गुरु उसका सामाजिक और धार्मिक बहिष्कार कर देंगे. उसे किसी भी आयोजन में शामिल होने की अनुमति नहीं देंगे. जिले के सभी धर्म गुरुओं ने एक साथ इसका समर्थन किया.

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बैठक में फैसला लिया गया कि जहां-जहां ये बुराइयां फैली हुई हैं, उन लोगों को शरीयत के हवाले से समझाया जाएगा. आगे ब्लॉक स्तर पर बैठके होंगी. हर एक-एक शख्स तक बात पहुंचाई जाएगी. इसको लेकर बैठक में उपस्थित सभी ने लोगों ने सराहना की है.

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