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प्रदेश में बारिश ने बदला मौसम का मिजाज, ठंड बढ़ने के आसार - बारिश के बाद बड़ी ठंड

समूचे उत्तर प्रदेश में बीते दो दिनों से हो रही बारिश से मौसम बदल गया है. अचानक हुई बारिश के बाद प्रदेश में ठंड बढ़ गई है. इस बारिश से कहीं किसान परेशान तो कहीं खुश नजर आ रहे हैं.

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जमकर हुई बारिश
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Published : Dec 13, 2019, 10:46 PM IST

Updated : Dec 13, 2019, 11:16 PM IST

मेरठ: गुरूवार शाम से रूक-रूक कर हो रही बारिश से जनजीवन प्रभावित हो रहा है. बारिश के बाद तापमान में गिरावट के साथ ही ठंड का अहसास तेज हो गया है. शुक्रवार को कई स्थानों पर बारिश के साथ ओलावृष्टि भी हुई. मौसम विभाग के अनुसार दिसंबर महीने के इन 13 दिनों में बारिश ने रिकॉर्ड तोड़ा है. पिछले 40 सालों में दिसंबर महीने में दूसरी बार सामान्य से अधिक बारिश हुई है.

मेरठ में हुई ओलावृष्टि.

बारिश जहां गेहूं की फसल के लिए वरदान बताई जा रही है, वहीं आलू और सरसों की फसल के लिए ओलावृष्टि नुकसानदायक साबित हो सकती है. विशेषज्ञों का कहना है कि अभी 15 दिन पहले ही कुछ स्थानों पर भारी ओलावृष्टि हुई थी, जिसकी वजह से फसलों को भारी नुकसान हुआ था. मौसम विभाग ने बताया कि शनिवार से मौसम कुछ साफ होगा लेकिन कोहरा पड़ सकता है.

इसे भी पढ़ें - वाराणसी: बारिश ने बढ़ा दी ठंड, मजदूरों की बढ़ी मुसीबत

शुक्रवार को अधिकतम तापमान 15 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम 9 डिग्री सेल्सियस रहा. बारिश के बाद तापमान में करीब 8 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है.
-डॉ. एन. सुभाष, वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक

वाराणसी: बदले मौसम ने बढ़ाई ठंड

वाराणसी: सुबह से रुक-रुक कर हो रही बरसात के कारण जो लोग घर से निकल कर बाहर मजदूरी करने जाते हैं और ऑफिस जाते हैं. उनकी मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं.

वहीं इस बारिश से किसान खुश नजर आ रहे हैं. किसानों का कहना यह है कि फसल के लिए यह बारिश अमृत की तरह है. वहीं यह बारिश बेसहारा लोगों के लिए मुसीबत बन गई है. दरअसल गरीब और असहाय लोगों के लिए रैन बसेरों के ताले अब तक खोले नहीं गए हैं, जिसके चलते उन्हें खुले आसमान के नीचे रात गुजारनी पड़ रही है.

इसे भी पढ़ें - मुरादाबाद: ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान, अन्नदाता की बढ़ी मुश्किलें

पीलीभीत: सर्दी की पहली बारिश में खुली नगर पालिका की पोल, शहर हुआ जलमग्न

पीलीभीत: हिमालय की तलहटी में बसा पीलीभीत अपने तराई को लेकर विशेष पहचान रखता है. जिले में सर्द हवाओं के साथ बरसात ने दस्तक दी. पिछले 18 घंटे हुई बरसात से पूरा शहर जलमग्न हो गया. शहर में जलमग्न होने से नालियां चोक हो गईं और जगह जगह जलभराव हो गया. जलभराव होने से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

ठंड की पहली बरसात से मौसम ने करवट लेते हुए ठंड की चादर ओढ़ ली. पड़ोस में बसे नैनीताल से आने वाली सर्द हवाओं से पीलीभीत में ठंड काफी बढ़ चुकी है. 18 घंटे की हुई लगातार बारिश से पूरा शहर जलमग्न हो गया. नालियां चोक होने की वजह से गंदा पानी लोगों के घर में घुसने लगा है. शहर में नगर पालिका की तरफ से भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है. ठंड से लोग ठिठुरते हुए नजर आए.

मेरठ: गुरूवार शाम से रूक-रूक कर हो रही बारिश से जनजीवन प्रभावित हो रहा है. बारिश के बाद तापमान में गिरावट के साथ ही ठंड का अहसास तेज हो गया है. शुक्रवार को कई स्थानों पर बारिश के साथ ओलावृष्टि भी हुई. मौसम विभाग के अनुसार दिसंबर महीने के इन 13 दिनों में बारिश ने रिकॉर्ड तोड़ा है. पिछले 40 सालों में दिसंबर महीने में दूसरी बार सामान्य से अधिक बारिश हुई है.

मेरठ में हुई ओलावृष्टि.

बारिश जहां गेहूं की फसल के लिए वरदान बताई जा रही है, वहीं आलू और सरसों की फसल के लिए ओलावृष्टि नुकसानदायक साबित हो सकती है. विशेषज्ञों का कहना है कि अभी 15 दिन पहले ही कुछ स्थानों पर भारी ओलावृष्टि हुई थी, जिसकी वजह से फसलों को भारी नुकसान हुआ था. मौसम विभाग ने बताया कि शनिवार से मौसम कुछ साफ होगा लेकिन कोहरा पड़ सकता है.

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शुक्रवार को अधिकतम तापमान 15 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम 9 डिग्री सेल्सियस रहा. बारिश के बाद तापमान में करीब 8 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है.
-डॉ. एन. सुभाष, वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक

वाराणसी: बदले मौसम ने बढ़ाई ठंड

वाराणसी: सुबह से रुक-रुक कर हो रही बरसात के कारण जो लोग घर से निकल कर बाहर मजदूरी करने जाते हैं और ऑफिस जाते हैं. उनकी मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं.

वहीं इस बारिश से किसान खुश नजर आ रहे हैं. किसानों का कहना यह है कि फसल के लिए यह बारिश अमृत की तरह है. वहीं यह बारिश बेसहारा लोगों के लिए मुसीबत बन गई है. दरअसल गरीब और असहाय लोगों के लिए रैन बसेरों के ताले अब तक खोले नहीं गए हैं, जिसके चलते उन्हें खुले आसमान के नीचे रात गुजारनी पड़ रही है.

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पीलीभीत: सर्दी की पहली बारिश में खुली नगर पालिका की पोल, शहर हुआ जलमग्न

पीलीभीत: हिमालय की तलहटी में बसा पीलीभीत अपने तराई को लेकर विशेष पहचान रखता है. जिले में सर्द हवाओं के साथ बरसात ने दस्तक दी. पिछले 18 घंटे हुई बरसात से पूरा शहर जलमग्न हो गया. शहर में जलमग्न होने से नालियां चोक हो गईं और जगह जगह जलभराव हो गया. जलभराव होने से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

ठंड की पहली बरसात से मौसम ने करवट लेते हुए ठंड की चादर ओढ़ ली. पड़ोस में बसे नैनीताल से आने वाली सर्द हवाओं से पीलीभीत में ठंड काफी बढ़ चुकी है. 18 घंटे की हुई लगातार बारिश से पूरा शहर जलमग्न हो गया. नालियां चोक होने की वजह से गंदा पानी लोगों के घर में घुसने लगा है. शहर में नगर पालिका की तरफ से भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है. ठंड से लोग ठिठुरते हुए नजर आए.

Intro:मेरठ: रिकार्ड बारिश से जनजीवन प्रभावित, ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान
मेरठ। गुरूवार शाम से रूक रूक कर हो रही बारिश से जनजीवन प्रभावित हो रहा है। बारिश के बाद तापमान में गिरावट के साथ ही ठंड का अहसास तेज हो गया है। शुक्रवार को कई स्थानों पर बारिश के साथ ओलावृष्टि भी हुई। ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान पहुंचा है। मौसम विभाग के अनुसार दिसंबर महीने के इन 13 दिनों में बारिश ने रिकॉर्ड तोड़ा है पिछले 40 सालों में दिसंबर महीने में दूसरी बार सामान्य से अधिक बारिश हुई है। अभी तक 41 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है जबकि 1997 में 84.2 मिलीमीटर बारिश हुई थी।


Body:शुक्रवार को बारिश के बाद तापमान में गिरावट आ गई, जिसके बाद ठंड का एहसास तेज हो गया। मौसम विभाग ने 13 दिसंबर को तेज बारिश की संभावना जतायी थी। कल शाम से अब तक 42 मिली मीटर बारिश रिकॉर्ड की गई है जो अभी तक दिसंबर के महीनों में पिछले 40 सालों में दूसरी बार सामान्य से अधिक है। दिसंबर महीने में अभी तक 4 से 5 मिलीमीटर बारिश होनी चाहिए थी।
शुक्रवार को दोपहर बाद जमकर बारिश हुई, गरज के साथ कई स्थानों पर ओलावृष्टि भी हुई। बारिश जहां गेहूं की फसल के लिए वरदान बताई जा रही है वहीं आलू और सरसों की फसल के लिए ओलावृष्टि नुकसानदायक साबित हो सकती है। विशेषज्ञों का कहना है कि अभी 15 दिन पहले ही कुछ स्थानों पर भारी ओलावृष्टि हुई थी, जिसकी वजह से फसलों को भारी नुकसान हुआ था। यह ओलावृष्टि नुकसान को और बढ़ा देगी। मौसम विभाग का कहना है कि पश्चिमी विक्षोभ के असर से अभी बारिश की संभावना बनी हुई है। शनिवार से मौसम कुछ साफ होगा लेकिन अब कोहरा आने की संभावना अधिक हो गई है। बारिश के बाद तापमान में आई गिरावट के साथ ही ठंड का एहसास तेज हो गया है। सर्द हवाएं चलने से ठंड का असर और तेज होगा। कृषि विशेषज्ञों का कहना है की है बारिश गेहूं की फसल के लिए तो लाभकारी होगी लेकिन आलू और सरसों आदि की फसलों के लिए ओलावृष्टि नुकसानदायक साबित होगी। ओलावृष्टि कुछ ही स्थानों पर होने की बात सामने आई है लेकिन जहां ओलावृष्टि अधिक होगी वहां नुकसान भी अधिक होगा।




Conclusion:कृषि विशेषज्ञों का कहना है यदि आलू की फसल में पानी खेत में अधिक भर गया है तो किसानों को उसकी निकासी का प्रबंधन करना चाहिए ताकि फसल में होने वाले नुकसान को कम किया जा सके। मौसम वैज्ञानिक डॉ एन सुभाष ने बताया शुक्रवार को अधिकतम तापमान 15 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम 9 डिग्री सेल्सियस रहा बारिश के बाद तापमान में करीब 8 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है।

बाइट- डॉ एन सुभाष, वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक


अजय चौहान
9897799794


Last Updated : Dec 13, 2019, 11:16 PM IST
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