मेरठ: 100 साल की दादी ने कोरोना को हराकर न सिर्फ साहस का परिचय दिया है, बल्कि अन्य मरीजों के लिए सकारात्मक उदाहरण पेश किया है. कोरोना संक्रमण को मात देने के बाद परिजनों ने केक काटकर दादी का 100वां जन्मदिन मनाया. परिवार के सभी सदस्यों ने केक काटा और हैप्पी बर्थडे टू यू गया. कोरोना से जीत के बाद जहां दादी खुश नजर आ रही हैं, वहीं परिजनों द्वारा जन्मदिन मनाने की खुशी भी दिख रही है. खास बात ये है कि दादी के अलावा परिवार के पांच और सदस्य भी कोरोना संक्रमित थे. एक साथ इस परिवार की चार पीढ़ियों ने कोरोना हराने में सफलता हासिल की.
दादी सहित परिवार के 5 लोग हुए थे संक्रमित
100 साल की बुज़ुर्ग महिला सरदार कौर और उनके बेटे, पौते और पड़पौते कोरोना संक्रमित हो गए थे, लेकिन परिवार के सदस्यों ने दादी और संक्रमित सदस्यों को होम आइसोलेट कर न सिर्फ उनका होंसला बढ़ाया, बल्कि किसी ने भी उनका साथ नहीं छोड़ा. कोरोना महामारी के दौर में पौत्र विक्रांत चौधरी, वधु नीशू चौधरी ने दादी की खूब सेवा की. दादी को दवाइयों के साथ-साथ काढ़ा और देसी नुस्के दिए गए. परिवार की सेवा का ही नतीजा है कि दादी ने कोरोना को मात दी.
परिजनों ने मनाया 100वां जन्मदिन
कोरोना से ठीक होते ही जहां परिजनों में जश्न का माहौल है, वहीं कोरोना से जंग जीतकर परिवार में शामिल हुईं दादी का 100वां जन्मदिन धूमधाम से मनाया गया. परिजनों ने दादी के जन्मदिन पर बाकायदा केक काटा और हैप्पी बर्थडे अम्मा गाकर खुशी मनाई. इस दौरान दादी ने भी बाकायदा सिर पर बर्थ डे कैप पहनी और केक काटा. उनके चेहरे की खुशी देखकर परिजनों के चेहरे पर अमिट मुस्कान आ गई. बेटों और पोतों ने दादी को केक खिलाकर गुलदस्ता भेंट किया.
हौसले से जीती कोरोना की जंग
परिवार के सदस्यों का कहना है कि कोरोना संक्रमण में 15 दिन बहुत ही संकट में गुजरे हैं, लेकिन दृढ़ इच्छाशक्ति और हौसले के दम पर परिवार के सभी सदस्य स्वस्थ हो गए. कोरोना पर जीत के बाद दादी ने कहा कि वह अपनी मेहनतकश जिंदगी, सक्रियता, आत्मविश्वास और सकारात्मक सोच की वजह से कोरोना को हरा पाई हैं. इलाज के दौरान उन्होंने खुद को कमजोर नहीं पड़ने दिया और घर वालों का भी हौसला बढ़ाया.
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पंचायत चुनाव के बाद हुईं कोरोना संक्रमित
100 साल की बुजुर्ग सरदार कौर मूल रूप से बागपत की रहने वाली हैं. पिछले दिनों पंचायत चुनाव में वोट डालने गांव गई थीं. इसके बाद से उनको तेज बुखार और खासी जुकाम रहने लगा. कोरोना की जांच कराई तो पॉजिटिव आ गईं. महिला के बेटे धृष्टद्युम्न सिंह ने बताया कि परिवार के सभी लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई थी. इसके बाद अम्मा जी के हौसले को देखकर परिवार के अन्य सदस्यों में भी हिम्मत आई. उन्होंने बताया कि बीमारी में भी अम्मा जी व्यायाम आदि कर रही थीं और प्रोटीन से भरपूर मात्रा में खाने का सेवन करती रहीं. 15 मई को जब जांच कराई गई तो अम्मा जी सहित सभी की रिपोर्ट निगेटिव आई.