मैनपुरीः पंचायत चुनाव में हार के बाद मुलायम सिंह यादव की भतीजी व बीजेपी नेता संध्या यादव कोर्ट पहुंच गई हैं. उन्होंने चुनाव के बाद मतगणना में धांधली आरोप लगाते हुए फिर से मतगणना कराने के लिए कोर्ट से गुहार लगाई है. इसके लिए उन्होंने कोर्ट में एक याचिका लगाई. याचिका सुनवाई के दौरान जिला जज ने निर्वाचन अधिकारियों से आख्या मांगी है.
बता दें कि मुलायम परिवार में बीजेपी ने लगाई सेंध लगाई और अविश्वास प्रस्ताव में संध्या यादव को समर्थन देकर 2015 में जिला पंचायत अध्यक्ष बनवाया. विश्वास प्रस्ताव के दौरान भाजपा ने संध्या को समर्थन देकर उनकी कुर्सी बचाई थी. इसके बाद संध्या यादव ने भी भाजपा का दामन थाम लिया. पंचायत चुनाव 2021 में संध्या यादव को पंचायत चुनाव में हार का सामना करना पड़ा. जिस वार्ड से पिछली बार संध्या यादव जिला पंचायत सदस्य बनी थी अबकी बार बीजेपी ने उसी वार्ड से उन्हें टिकट देकर चुनाव मैदान में उतारा था, लेकिन वो चुनाव हार गईं.
न्यायालय ने निर्वाचन अधिकारी से मामले में विस्तृत आख्या मांगी
सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव की भतीजी और पूर्व सांसद बदायूं धर्मेंद्र यादव की बहन संध्या यादव ने त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में भाजपा की ओर से घिरोर ब्लॉक के वार्ड संख्या 18 से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा था. सपा प्रत्याशी प्रमोद कुमार ने हराया है. चुनाव हारने के बाद संध्या यादव ने मतगणना में धांधली का आरोप लगाते हुए कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. याचिका की सुनवाई कर रही कोर्ट ने याचिका का निस्तारण करने के लिए निर्वाचन अधिकारी से विस्तृत आख्या मांगी है.
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संध्या यादव के पति अनुजेश प्रताप यादव का कहना है कि मतगणना में कुछ अनियमितता बरती गई हैं. इसी आधार पर पुनर्मतणना के लिए याचिका दी गई है. अब अदालत के फैसले का इंतजार है. उन्होंने बताया जो बूथ हमारे यहां लगते ही नहीं थे उन बूथों के वार्ड की मतगणना की गई और कुछ बूथों में हमारे तो बैलट पेपर ही नहीं निकले. इस बार चुनाव भाजपा की ओर से लड़ा है. पूर्व में उन्होंने सपा की ओर से चुनाव लड़ा था. संध्या यादव के पति अनुजेश प्रताप यादव के भाजपा में शामिल होने पर सात जुलाई 2015 को सदर सीट से सपा विधायक राजकुमार उर्फ राजू की अगुवाई में एक धड़ा उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाया था.