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डब्ल्यूएचओ ने कहा कि भविष्य में कोरोना से भी भयानक महामारी देगी दस्तक, जानिए क्यों

विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रमुख डॉ. टेड्रो अदनोम घेब्रेयसस ने भविष्य में कोरोना से भी भयानक महामारी के दस्तक देने की चेतावनी दी है. इस बारे में लखनऊ केजीएमयू के पल्मोनरी एंड क्रिटिकल केयर मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. वेद प्रकाश ने विस्तृत जानकारी साझा की है.

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Published : May 27, 2023, 10:11 PM IST

डब्ल्यूएचओ की चेतावनी की विस्तृत खबर देखें.

लखनऊ : कोरोना को लेकर डब्ल्यूएचओ ने भले ही राहत भरी बात कही है कि कोरोना वायरस की सक्रियता अब कम हैं इसलिए इससे डरने की आवश्यकता नहीं है. अब डब्ल्यूएचओ ने कहा है कि एक बार फिर से दुनिया में एक भयानक बीमारी का दौर आने वाला है. इसको लेकर लोगों को पहले से ही तैयार रहने की आवश्यकता है. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के प्रमुख डॉ. टेड्रो अदनोम घेब्रेयसस ने कहा कि दुनिया को एक ऐसे वायरस के लिए तैयार रहना चाहिए जो कोविड से भी घातक होगा. रिपोर्ट के अनुसार डब्ल्यूएचओ चीफ ने कहा है कि आने वाले वायरस से कम से कम दो करोड़ लोग मारे जाएंगे. डब्ल्यूएचओ ने नौ प्राइमरी बीमारियों की पहचान की है जो पब्लिक हेल्थ के लिए सबसे बड़ा खतरा हैं. हाल ही में डब्ल्यूएचओ ने घोषणा की कि कोविड महामारी अब हेल्थ इमरजेंसी नहीं रही है.

महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.
महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.



केजीएमयू के पल्मोनरी एंड क्रिटिकल केयर मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. वेद प्रकाश ने कहा कि निश्चित तौर पर जिस तरह से रेस्पिरेटरी वायरस श्रेणी के वायरस बहुत तेजी से फैलते हैं और अपना स्वरूप बदलते हैं. इसके साथ ही साथ कई तरह के वर्ल्ड फ्लू, हंटा वायरस बहुत सारे हमारे सामने चुनौती आई हैं. जिन्हें हमने देखा है. जिनसे जनजीवन पर एक बड़ा दुष्प्रभाव पड़ा है. हम लोग को निश्चित ही इस तरह के वायरस जो रेस्पिरेटरी से जुड़े हुए हैं जो तेजी से फैलते हैं. इसमें किसी प्रकार की अनहोनी के लिए हमें तैयार रहने की जरूरत है. जो एक तो तेजी से फैलते हैं. इस तरह के वायरस के लिए जो थ्रेड है, इसके लिए दुनिया भर को तैयार रहना चाहिए. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने भी इस बात को भलीभांति समझा है और इसके लिए भरपूर प्रयास भी किया है कि जो हमारी मेडिकल सिस्टम से उनको किस तरह से बढ़ाया जाए और जो प्रीवेंशन के लिए स्ट्रेटजी बनाई गई हैं. उनको किस तरह से जनजीवन के बीच में लाई जाए.

महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.
महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.



डब्ल्यूएचओ ने जो आशंका जताई है, वह चीजें जब सामने होंगी तब उस वायरस के बारे में डब्ल्यूएचओ बताता है. कोई वायरस दुनिया में फिर से आउटब्रेक होता है तो डब्ल्यूएचओ निर्देश जारी करेगा. कोई वायरस स्प्रेड होने वाला है या हुआ है उस पर डब्ल्यूएचओ वर्क करके हम लोगों को बताएगा. उसके बाद हम उसके लिहाज से पूरी तैयारी करने के लिए बढ़ेंगे. कोविड-19 से मिलता जलता अगर कोई वायरस आता है तो इससे उभरने के लिए भारत सरकार पूरी तरह से तैयार है. साथ ही उत्तर प्रदेश सरकार भी अपनी स्ट्रेटजी के साथ काम करेगी. उत्तर प्रदेश में एक अच्छी स्ट्रेटजी के तहत काम हुआ है और जो प्रिवेंशन तैयार किया गया था उसे लोगों ने भी समझा है. किस तरह से भविष्य में आने वाले वायरस को लेकर प्रिवेंशन होगा और कैसे मेडिकल सिस्टम को एक्सपेंड करें. इस दिशा में हम लोगों को मिलकर के सभी को काम करना होगा.


डॉ. वेद प्रकाश ने कहा कि अगर कोविड लायक कोई अन्य वायरस का स्प्रेड हमारे सामने आती है तो जो यूनिवर्सल प्रिकॉशन है जिनमें दो गज की दूरी मास्क है जरूरी, हैंड हाइजीन, रेस्पिरेट्री हाइजीन, भीड़भाड़ को नजरअंदाज करना. अगर किसी से मिलना अनिवार्य है तो थोड़ा दूरी बनाकर मिलना. अगर बंद कमरे में मिल रहे हैं तो कमरे में वेंटिलेशन हो. अगर कहीं एसी में मिल रहे हैं तो एग्जॉस्ट चलते रहना चाहिए. इस तरह की स्ट्रेटजी यूनिवर्सल स्ट्रेटजी है. जिसे कोविड प्रिवेंशन के लिए जाना जाता है. वायरस कंट्रोल के लिए यह आवश्यक रूप से होना जरूरी है. जो वायरस स्प्रेड होते है, उनके लिए यह प्रिवेंशन अनिवार्य है. सरकार की ओर से स्ट्रेटजी भविष्य में आने वायरस को लेकर बनाई जाएगी. कुछ को कंटेनमेंट जोन की तरह जाने जाते हैं.



यह भी पढ़ें : निकाय चुनावों के बाद अस्तित्व में आई शहरों की सरकार के सामने क्या होंगी चुनौतियां

डब्ल्यूएचओ की चेतावनी की विस्तृत खबर देखें.

लखनऊ : कोरोना को लेकर डब्ल्यूएचओ ने भले ही राहत भरी बात कही है कि कोरोना वायरस की सक्रियता अब कम हैं इसलिए इससे डरने की आवश्यकता नहीं है. अब डब्ल्यूएचओ ने कहा है कि एक बार फिर से दुनिया में एक भयानक बीमारी का दौर आने वाला है. इसको लेकर लोगों को पहले से ही तैयार रहने की आवश्यकता है. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के प्रमुख डॉ. टेड्रो अदनोम घेब्रेयसस ने कहा कि दुनिया को एक ऐसे वायरस के लिए तैयार रहना चाहिए जो कोविड से भी घातक होगा. रिपोर्ट के अनुसार डब्ल्यूएचओ चीफ ने कहा है कि आने वाले वायरस से कम से कम दो करोड़ लोग मारे जाएंगे. डब्ल्यूएचओ ने नौ प्राइमरी बीमारियों की पहचान की है जो पब्लिक हेल्थ के लिए सबसे बड़ा खतरा हैं. हाल ही में डब्ल्यूएचओ ने घोषणा की कि कोविड महामारी अब हेल्थ इमरजेंसी नहीं रही है.

महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.
महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.



केजीएमयू के पल्मोनरी एंड क्रिटिकल केयर मेडिसिन विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. वेद प्रकाश ने कहा कि निश्चित तौर पर जिस तरह से रेस्पिरेटरी वायरस श्रेणी के वायरस बहुत तेजी से फैलते हैं और अपना स्वरूप बदलते हैं. इसके साथ ही साथ कई तरह के वर्ल्ड फ्लू, हंटा वायरस बहुत सारे हमारे सामने चुनौती आई हैं. जिन्हें हमने देखा है. जिनसे जनजीवन पर एक बड़ा दुष्प्रभाव पड़ा है. हम लोग को निश्चित ही इस तरह के वायरस जो रेस्पिरेटरी से जुड़े हुए हैं जो तेजी से फैलते हैं. इसमें किसी प्रकार की अनहोनी के लिए हमें तैयार रहने की जरूरत है. जो एक तो तेजी से फैलते हैं. इस तरह के वायरस के लिए जो थ्रेड है, इसके लिए दुनिया भर को तैयार रहना चाहिए. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने भी इस बात को भलीभांति समझा है और इसके लिए भरपूर प्रयास भी किया है कि जो हमारी मेडिकल सिस्टम से उनको किस तरह से बढ़ाया जाए और जो प्रीवेंशन के लिए स्ट्रेटजी बनाई गई हैं. उनको किस तरह से जनजीवन के बीच में लाई जाए.

महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.
महामारी के बाबत विशेषज्ञों की राय.



डब्ल्यूएचओ ने जो आशंका जताई है, वह चीजें जब सामने होंगी तब उस वायरस के बारे में डब्ल्यूएचओ बताता है. कोई वायरस दुनिया में फिर से आउटब्रेक होता है तो डब्ल्यूएचओ निर्देश जारी करेगा. कोई वायरस स्प्रेड होने वाला है या हुआ है उस पर डब्ल्यूएचओ वर्क करके हम लोगों को बताएगा. उसके बाद हम उसके लिहाज से पूरी तैयारी करने के लिए बढ़ेंगे. कोविड-19 से मिलता जलता अगर कोई वायरस आता है तो इससे उभरने के लिए भारत सरकार पूरी तरह से तैयार है. साथ ही उत्तर प्रदेश सरकार भी अपनी स्ट्रेटजी के साथ काम करेगी. उत्तर प्रदेश में एक अच्छी स्ट्रेटजी के तहत काम हुआ है और जो प्रिवेंशन तैयार किया गया था उसे लोगों ने भी समझा है. किस तरह से भविष्य में आने वाले वायरस को लेकर प्रिवेंशन होगा और कैसे मेडिकल सिस्टम को एक्सपेंड करें. इस दिशा में हम लोगों को मिलकर के सभी को काम करना होगा.


डॉ. वेद प्रकाश ने कहा कि अगर कोविड लायक कोई अन्य वायरस का स्प्रेड हमारे सामने आती है तो जो यूनिवर्सल प्रिकॉशन है जिनमें दो गज की दूरी मास्क है जरूरी, हैंड हाइजीन, रेस्पिरेट्री हाइजीन, भीड़भाड़ को नजरअंदाज करना. अगर किसी से मिलना अनिवार्य है तो थोड़ा दूरी बनाकर मिलना. अगर बंद कमरे में मिल रहे हैं तो कमरे में वेंटिलेशन हो. अगर कहीं एसी में मिल रहे हैं तो एग्जॉस्ट चलते रहना चाहिए. इस तरह की स्ट्रेटजी यूनिवर्सल स्ट्रेटजी है. जिसे कोविड प्रिवेंशन के लिए जाना जाता है. वायरस कंट्रोल के लिए यह आवश्यक रूप से होना जरूरी है. जो वायरस स्प्रेड होते है, उनके लिए यह प्रिवेंशन अनिवार्य है. सरकार की ओर से स्ट्रेटजी भविष्य में आने वायरस को लेकर बनाई जाएगी. कुछ को कंटेनमेंट जोन की तरह जाने जाते हैं.



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