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लखनऊ: उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने किया कार्डियोलॉजी कांन्फ्रेंस का शुभारंभ

रहन-सहन और खानपान की खराब आदतों के चलते ह्रदय रोग की समस्या आम होती जा रही हैं. भारत जैसे विशाल आबादी वाले देश में इससे संबंधित रोगों के मामले चिंताजनक तस्वीर पेश करते हैं. इन्हीं विषयों को लेकर लखनऊ एसजीपीजीआई में दो दिन के कार्डियोलॉजी कांन्फ्रेंस की शुरुआत हुई.

उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने किया कार्डियोलॉजी कांन्फ्रेंस का शुभारंभ
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Published : Apr 6, 2019, 2:59 AM IST

लखनऊ: उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने शुक्रवार को राजधानी लखनऊ के एसजीपीजीआई की दो दिवसीय कार्डियोलॉजी वार्षिक कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन किया. इस दौरान उपराष्ट्रपति ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों को संबोधित भी किया, जहां उत्तर प्रदेश के राज्यपाल श्री राम नाईक भी मौजूद रहे.

उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा कि अनियमित रहन-सहन व असंतुलित खान-पान के चलते कार्डियोलॉजी संबंधी समस्याएं बढ़ रही हैं. यदि फास्ट फूड व वैस्टर्न खाने से परहेज किया जाए तो इन समस्याओं से बचा जा सकता है.

उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने किया कार्डियोलॉजी कांन्फ्रेंस का शुभारंभ
आगे उन्होंने कहा कि दुनिया भर में लोगों ने योग को अपनाया है लेकिन भारत में कुछ लोग योग को धार्मिक रंग से जोड़ते हैं. जबकि यह पुरातन काल से चली आ रही एक व्यायाम क्रिया है जिससे मनुष्य का शरीर स्वस्थ रहता है.

इस दौरान उप राष्ट्रपति ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों से अपील की कि वे ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरूक करें. डॉक्टर, राजनेता, मीडियाकर्मी समेत अन्य क्षेत्रों से जुड़े लोग ग्रामीण आबादी को जागरुक करें. इससे ग्रामीण क्षेत्रों में हृदय संबंधित रोगों से बचाव करने में मदद मिल सकेगी.

उप राष्ट्रपति ने कहा कि हमें अपने दैनिक कार्यों से आगे बढ़कर काम करना चाहिए जिससे भारत जैसा देश, जहां 54 फ़ीसदी आबादी आज भी कृषि पर निर्भर करते हैं, उसे जागरूक किया जा सके. उन्होंने कहा कि मैं खुद देश का उपराष्ट्रपति होने के बावजूद जगह-जगह मेडिकल कैंप्स में जाता हूं, इससे मुझे खुशी मिलती है.

लखनऊ: उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने शुक्रवार को राजधानी लखनऊ के एसजीपीजीआई की दो दिवसीय कार्डियोलॉजी वार्षिक कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन किया. इस दौरान उपराष्ट्रपति ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों को संबोधित भी किया, जहां उत्तर प्रदेश के राज्यपाल श्री राम नाईक भी मौजूद रहे.

उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा कि अनियमित रहन-सहन व असंतुलित खान-पान के चलते कार्डियोलॉजी संबंधी समस्याएं बढ़ रही हैं. यदि फास्ट फूड व वैस्टर्न खाने से परहेज किया जाए तो इन समस्याओं से बचा जा सकता है.

उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने किया कार्डियोलॉजी कांन्फ्रेंस का शुभारंभ
आगे उन्होंने कहा कि दुनिया भर में लोगों ने योग को अपनाया है लेकिन भारत में कुछ लोग योग को धार्मिक रंग से जोड़ते हैं. जबकि यह पुरातन काल से चली आ रही एक व्यायाम क्रिया है जिससे मनुष्य का शरीर स्वस्थ रहता है.

इस दौरान उप राष्ट्रपति ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों से अपील की कि वे ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरूक करें. डॉक्टर, राजनेता, मीडियाकर्मी समेत अन्य क्षेत्रों से जुड़े लोग ग्रामीण आबादी को जागरुक करें. इससे ग्रामीण क्षेत्रों में हृदय संबंधित रोगों से बचाव करने में मदद मिल सकेगी.

उप राष्ट्रपति ने कहा कि हमें अपने दैनिक कार्यों से आगे बढ़कर काम करना चाहिए जिससे भारत जैसा देश, जहां 54 फ़ीसदी आबादी आज भी कृषि पर निर्भर करते हैं, उसे जागरूक किया जा सके. उन्होंने कहा कि मैं खुद देश का उपराष्ट्रपति होने के बावजूद जगह-जगह मेडिकल कैंप्स में जाता हूं, इससे मुझे खुशी मिलती है.

Intro:उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू अभिभाषण

राजधानी लखनऊ के एसजीपीजीआई में आज देश के उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने 2 दिनों तक चलने वाली कार्डियोलॉजी की वार्षिक कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन किया जिसमें उत्तर प्रदेश के राज्यपाल श्री राम नाईक भी मौजूद रहे।


Body:उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने दो दिवसीय कार्डियोलॉजी की कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन करते हुए आए हुए सभी देश विदेश से डेलीगेट्स संबोधित किया जिसमें उन्होंने कहा कि वर्तमान में बढ़ती कार्डियोलॉजी संबंधित समस्या आज के रहन-सहन व खानपान की वजह से है। उन्होंने यह भी कहा कि यदि इन समस्याओं से दूर रहना है तो हमें वेस्टर्न फूड का सेवन कम से कम करना चाहिए।

वहीं उन्होंने यह भी बताया कि दुनिया भर में योगा लोगों ने अपनाया है लेकिन भारत में कुछ लोग ऐसे भी हैं जो योगा को धार्मिक रंग से जोड़ते हैं जबकि होगा पुरातन काल से चली आ रही एक व्यायाम क्रिया है जिससे मनुष्य का शरीर स्वस्थ रहता है।

वहीं उप राष्ट्रपति ने सभी से यह भी अपील की कि वे ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरूक करें चाहे वो डॉक्टर हो चाहे वह पॉलीटिशियन हो चाहे वह मीडिया हो जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को जानकारी मिल सके और वह हृदय संबंधित रोगों से भी बच सकें।

अभिभाषण- एम वेंकैया नायडू (उपराष्ट्रपति भारत)


Conclusion:उप राष्ट्रपति महोदय ने सभी से यह बोला कि हम सभी को अपने दैनिक कार्यों से आगे बढ़कर काम करना चाहिए जिससे भारत जैसा देश जहां 54 फ़ीसदी लोग आज भी कृषि पर निर्भर करते हैं को जागरूक किया जा सके उन्होंने कहा कि मैं खुद देश का उपराष्ट्रपति होने के बावजूद भी जगह-जगह मेडिकल कैंप्स में जाता हूं इससे मुझे स्वयं को खुशी मिलती है।

योगेश मिश्रा लखनऊ
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