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Lucknow की मंडी में दुकान लगाकर खुद ही सब्जियां बेच रहे हैं किसान, कम हो रहे दाम - Farmers selling vegetables

Lucknow की मंडी में दुकान लगाकर खुद ही सब्जियां (UP Vegetable Price) किसान बेच रहे हैं. इस वजह से सब्जियों के दामों में गिरावट दर्ज की जा रही है.

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Published : Mar 11, 2023, 6:36 AM IST

लखनऊ: इन दिनों प्रदेश की सब्जी मंडियों में अपनी सब्जियां लाने वाले किसानों के आंसू निकल रहे हैं. सब्जियों के दाम में 60 फ़ीसदी की कटौती हुई है. गाजर, पालक, पत्ता गोभी, फुल गोभी सहित ज्यादातर सब्जियों के दाम 10 से 15 रुपये प्रति किलो से भी कम हो गए हैं. थोक सब्जी मंडी में दाम में आई गिरावट का असर फुटकर बाजार में अधिक देखने को नहीं मिल रहा है. हालांकि फुटकर बाजार में भी दाम में भी गिरावट आई है.

क्यों गिर रहे सब्जियों के दाम: सब्जी व्यापारी आरिफ खान के मुताबिक सब्जियों के दाम कम होने की सबसे बड़ी वजह सब्जियों की बंपर आवक है. लखनऊ की सब्जी मंडी में खरीदी करने आए शिवम राजपूत ने बताया कि सब्जी के दाम में गिरावट आई है. यह उनके लिए अच्छी खबर है. सब्जियां ताजी और उच्च क्वालिटी की मिल रही हैं, जबकि दाम पहुंच के अंदर हैं.

11 मार्च को क्या हैं साब्जियों के दाम: सब्जी मंडी में फूलगोभी और टमाटर बेचने आए बबलू रावत ने बताया कि वह खुद थोक मंडी में फुटपाथ पर दुकान लगाकर फूलगोभी बेच रहे हैं. बबलू के मुताबिक किसानों को इस बार सब्जियों की फसल में काफी नुकसान हुआ है. फूलगोभी 5-10 रुपये किलो में बिक रहा है, जबकि व्यापारी 10 रुपये में भी खरीदने को तैयार नहीं है. साथ ही टमाटर के दाम इतने कम है कि 10 रुपये किलो की दर से बिकने में भी दिक्कत आ रही है. इस वजह से किसानों को खुद खुद दुकान लगाकर सब्जी बेचनी पड़ रही है. बबलू का यह भी कहना है कि बिचौलियों से बचने के लिए कई किसान सब्जी मंडी में दुकान लगाकर खुद सब्जियां बेच रहे हैं.


दामों को लेकर किसान-व्यापारियों ठनी: किसान पप्पू के मुताबिक सब्जी के दाम का सबसे बड़ा असर मौसम की वजह से पड़ी है. मौसम के कारण सब्जियां लगातार खराब हो रही हैं. किसान जल्दी सब्जियां बेचने की कोशिश कर रहे हैं, जिससे दाम नहीं मिल पा रहे हैं. वहीं व्यापारी सरताज खान के मुताबिक मंडी में सब्जी की बंपर आवक के कारण दाम में कमी आ रही है. इस बार किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है, जबकि व्यापारी थोड़ा मुनाफा कमा कर ही खुश हैं.



मंडी में सब्जी का भाव

1- नया आलू- 6 रुपये किलो
2- प्याज- 12 रुपये किलो
3- टमाटर- 10 रुपये किलो
3- आलू- 7 रुपये किलो
4- नींबू- 90 रुपये किलो
5- तोरई- 40 रुपये किलो
6- लहसुन- 80 रुपये किलो
7- करेला- 40 रुपये किलो
8- परवल- 90 रुपये किलो
9- मटर- 20 रुपये किलो
10- सेम- 30 रुपये किलो
11- शिमला मिर्च- 18 रुपये किलो
12- कद्दू- 25 रुपये किलो
13- लौकी- 25 रुपये किलो
14- पालक- 15 रुपये किलो
15- भिंडी- 60 रुपये किलो
16- मिर्च- 40 रुपये किलो
17- गोभी- 7 रुपये प्रति पीस
18- गाजर- 10 रुपये किलो

बिचौलियों से बचकर अधिक नुकसान से बचने के लिए किसान सब्जी मंडियों में ही अपनी दुकान लगाकर सब्जी बेच रहे हैं. यह बदलाव इसलिए देखने में मिल रहा है, क्योंकि लखनऊ की मंडियों में सब्जियों के दाम बहुत कम हैं. जिन किसानों ने सब्जियों की पैदावार की है, उनके हाल बेहाल हो गए हैं. यहां तक कि कई सब्जियों के खेत से मंडी तक ले जाने का भाड़ा तक नहीं निकल पा रहे हैं.

ये भी पढ़ें- Ayurveda Mahakumbh: देश का चौथा आयुर्वेद महाकुंभ मेरठ में आज से, उपराष्ट्रपति करेंगे शुभारंभ

लखनऊ: इन दिनों प्रदेश की सब्जी मंडियों में अपनी सब्जियां लाने वाले किसानों के आंसू निकल रहे हैं. सब्जियों के दाम में 60 फ़ीसदी की कटौती हुई है. गाजर, पालक, पत्ता गोभी, फुल गोभी सहित ज्यादातर सब्जियों के दाम 10 से 15 रुपये प्रति किलो से भी कम हो गए हैं. थोक सब्जी मंडी में दाम में आई गिरावट का असर फुटकर बाजार में अधिक देखने को नहीं मिल रहा है. हालांकि फुटकर बाजार में भी दाम में भी गिरावट आई है.

क्यों गिर रहे सब्जियों के दाम: सब्जी व्यापारी आरिफ खान के मुताबिक सब्जियों के दाम कम होने की सबसे बड़ी वजह सब्जियों की बंपर आवक है. लखनऊ की सब्जी मंडी में खरीदी करने आए शिवम राजपूत ने बताया कि सब्जी के दाम में गिरावट आई है. यह उनके लिए अच्छी खबर है. सब्जियां ताजी और उच्च क्वालिटी की मिल रही हैं, जबकि दाम पहुंच के अंदर हैं.

11 मार्च को क्या हैं साब्जियों के दाम: सब्जी मंडी में फूलगोभी और टमाटर बेचने आए बबलू रावत ने बताया कि वह खुद थोक मंडी में फुटपाथ पर दुकान लगाकर फूलगोभी बेच रहे हैं. बबलू के मुताबिक किसानों को इस बार सब्जियों की फसल में काफी नुकसान हुआ है. फूलगोभी 5-10 रुपये किलो में बिक रहा है, जबकि व्यापारी 10 रुपये में भी खरीदने को तैयार नहीं है. साथ ही टमाटर के दाम इतने कम है कि 10 रुपये किलो की दर से बिकने में भी दिक्कत आ रही है. इस वजह से किसानों को खुद खुद दुकान लगाकर सब्जी बेचनी पड़ रही है. बबलू का यह भी कहना है कि बिचौलियों से बचने के लिए कई किसान सब्जी मंडी में दुकान लगाकर खुद सब्जियां बेच रहे हैं.


दामों को लेकर किसान-व्यापारियों ठनी: किसान पप्पू के मुताबिक सब्जी के दाम का सबसे बड़ा असर मौसम की वजह से पड़ी है. मौसम के कारण सब्जियां लगातार खराब हो रही हैं. किसान जल्दी सब्जियां बेचने की कोशिश कर रहे हैं, जिससे दाम नहीं मिल पा रहे हैं. वहीं व्यापारी सरताज खान के मुताबिक मंडी में सब्जी की बंपर आवक के कारण दाम में कमी आ रही है. इस बार किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है, जबकि व्यापारी थोड़ा मुनाफा कमा कर ही खुश हैं.



मंडी में सब्जी का भाव

1- नया आलू- 6 रुपये किलो
2- प्याज- 12 रुपये किलो
3- टमाटर- 10 रुपये किलो
3- आलू- 7 रुपये किलो
4- नींबू- 90 रुपये किलो
5- तोरई- 40 रुपये किलो
6- लहसुन- 80 रुपये किलो
7- करेला- 40 रुपये किलो
8- परवल- 90 रुपये किलो
9- मटर- 20 रुपये किलो
10- सेम- 30 रुपये किलो
11- शिमला मिर्च- 18 रुपये किलो
12- कद्दू- 25 रुपये किलो
13- लौकी- 25 रुपये किलो
14- पालक- 15 रुपये किलो
15- भिंडी- 60 रुपये किलो
16- मिर्च- 40 रुपये किलो
17- गोभी- 7 रुपये प्रति पीस
18- गाजर- 10 रुपये किलो

बिचौलियों से बचकर अधिक नुकसान से बचने के लिए किसान सब्जी मंडियों में ही अपनी दुकान लगाकर सब्जी बेच रहे हैं. यह बदलाव इसलिए देखने में मिल रहा है, क्योंकि लखनऊ की मंडियों में सब्जियों के दाम बहुत कम हैं. जिन किसानों ने सब्जियों की पैदावार की है, उनके हाल बेहाल हो गए हैं. यहां तक कि कई सब्जियों के खेत से मंडी तक ले जाने का भाड़ा तक नहीं निकल पा रहे हैं.

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