लखनऊ : लखनऊ निवासी 62 वर्षीय मजदूर किसान अपना बिल ठीक कराने को लेकर पिछले चार माह से उपखंड अधिकारी निगोहां से लेकर प्रबंध निदेशक और पाॅवर काॅर्पोरेशन के चेयरमैन तक अपनी गुहार लगा चुके हैं. इसके बावजूद उनकी समस्या का समाधान नहीं हुआ है. बुजुर्ग अपने घर से इस चिलचिलाती धूप में 14 किलोमीटर निगोहां से साइकिल चलाकर बिजली दफ्तरों के दर्जनों चक्कर लगा चुके हैं. इसके अलावा मध्यांचल और शक्ति भवन की चौखट भी नापी, लेकिन अभीतक समस्या का हल नहीं निकला है.
उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने कहा कि उपभोक्ता की समस्या का समाधान तो अधिशासी अभियंता सेस -3 से बात करने के बाद हो गया और उपभोक्ता ने कहा कि कल वह अधिशासी अभियंता कार्यालय में पहुंचकर अब जो बिल बना है, उसका भुगतान एक साथ नहीं कर सकता, लेकिन बकाए का 25 फीसद तक पहली किस्त जमा कर देगा. सबसे बड़ा सवाल यह है कि एक उपभोक्ता अपने बिजली बिल के समाधान के लिए चार माह से चक्कर लगाता रहा, जबकि उसका समाधान उपखंड कार्यालय में हो सकता था, ऐसा नहीं हुआ. यह बहुत गंभीर मामला है.
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