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यूपी पुलिस में स्पोर्ट्स कोटे से भर्ती होने के लिए युवक बना फर्जी खिलाड़ी, बोर्ड ने दर्ज कराई FIR

राजधानी लखनऊ के हुसैनगंज थाने में सोमवार को एक जालसाज के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है. उसने सिपाही के पद पर भर्ती होने के लिए फर्जी प्रमाण पत्र जमा किया था.

यूपी पुलिस
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Published : Apr 11, 2023, 6:33 AM IST

लखनऊ: उत्तर प्रदेश पुलिस में सिपाही के पद पर नकली दस्तावेज दिखाकर स्पोर्ट्स कोटे में भर्ती होने की फिराक में जालसाज के खिलाफ सोमवार को मुकदमा दर्ज किया गया है. यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के डिप्टी एसपी ने राजधानी के हुसैनगंज थाने में बागपत निवासी उज्जवल के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है. आरोप है कि उज्जवल ने स्पोर्ट्स कोटे के लिए निकाली गई आरक्षी भर्ती में इंडियन वेटलिफ्टिंग फेडरेशन नोएडा द्वारा जारी किया गया प्रमाण पत्र जमा किया था, जो सत्यापन के दौरान जांच में फर्जी पाया गया था.

यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के डिप्टी एसपी दीपचंद यादव ने बताया कि पुलिस विभाग में आरक्षी पुलिस के कुल 534 पदों पर कुशल खिलाड़ियों की सीधी भर्ती के लिए 28 सितंबर 2022 को विज्ञप्ति निकाली गई थी. इसमें खेल की कुल 22 विभिन्न विधाओं के खिलाड़ियों से आवेदन मांगे गए थे. इसमें अंतरराष्ट्रीय व भारतीय ओलम्पिक संघ एवं उससे मान्यता प्राप्त खेल परिसंघों द्वारा आयोजित सीनियर या जूनियर प्रतियोगिताओं या अखिल भारतीय पुलिस खेल प्रतियोगिताओं या अखिल भारतीय विश्वविद्यालय संघ द्वारा मान्यता प्राप्त अखिल भारतीय विश्वविद्यालय प्रतियोगिताओं में प्रतिभाग लेने की योग्यता मांगी गई थी. इसके बाद 16 और 17 फरवरी 2023 को आवेदन करने वाले अभ्यर्थियों के दस्तावेजों के सत्यापन के लिए स्पोर्ट्स ऑथोरिटी ऑफ इंडिया लखनऊ में बुलाया गया था. इस दौरान अभ्यर्थियों का खेल परीक्षण और प्रमाणपत्रों का सत्यापन किया गया था.

डिप्टी एसपी दीपचंद यादव ने बताया कि सत्यापन और खेल परीक्षण के दौरान बागपत निवासी अभ्यर्थी उज्जवल ने भी परीक्षण पास किया और उसके सभी प्रमाणपत्रों का सत्यापन भी सफल हुआ. उज्जवल ने एथलेटिक्स विधा के अन्तर्गत वेटलिफ्टिंग में प्रतिभाग करने का इंडियन वेटलिफ्टिंग फेडरेशन नोएडा द्वारा जारी प्रमाण पत्र के आधार पर आवेदन किया था. इसके आधार पर उज्जवल को प्रमाण पत्रों की संवीक्षा के उपरांत कौशल परीक्षण में सम्मिलित किया गया. इसमें यह सफल रहा. लेकिन, जब इस प्रमाण पत्र को सत्यापन के लिए सम्बंधित संस्था को भेजा गया तो फेडरेशन ने उससे संबंधित कोई भी प्रमाण पत्र निर्गत न किए जाने की बात कही. जांच करने पर सामने आया कि आरोपी अभ्यर्थी ने पुलिस में नौकरी पाने के लिए जाली प्रमाण पत्र जमा किया था. हुसैनगंज थाना प्रभारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि जालसाज अभ्यर्थी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर अग्रिम कार्रवाई की गई है.

यह भी पढ़ें: Akhilesh Yadav ने कहा, भ्रष्टाचार चरम पर, हर स्तर पर कमीशनखोरी जारी

लखनऊ: उत्तर प्रदेश पुलिस में सिपाही के पद पर नकली दस्तावेज दिखाकर स्पोर्ट्स कोटे में भर्ती होने की फिराक में जालसाज के खिलाफ सोमवार को मुकदमा दर्ज किया गया है. यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के डिप्टी एसपी ने राजधानी के हुसैनगंज थाने में बागपत निवासी उज्जवल के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है. आरोप है कि उज्जवल ने स्पोर्ट्स कोटे के लिए निकाली गई आरक्षी भर्ती में इंडियन वेटलिफ्टिंग फेडरेशन नोएडा द्वारा जारी किया गया प्रमाण पत्र जमा किया था, जो सत्यापन के दौरान जांच में फर्जी पाया गया था.

यूपी पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के डिप्टी एसपी दीपचंद यादव ने बताया कि पुलिस विभाग में आरक्षी पुलिस के कुल 534 पदों पर कुशल खिलाड़ियों की सीधी भर्ती के लिए 28 सितंबर 2022 को विज्ञप्ति निकाली गई थी. इसमें खेल की कुल 22 विभिन्न विधाओं के खिलाड़ियों से आवेदन मांगे गए थे. इसमें अंतरराष्ट्रीय व भारतीय ओलम्पिक संघ एवं उससे मान्यता प्राप्त खेल परिसंघों द्वारा आयोजित सीनियर या जूनियर प्रतियोगिताओं या अखिल भारतीय पुलिस खेल प्रतियोगिताओं या अखिल भारतीय विश्वविद्यालय संघ द्वारा मान्यता प्राप्त अखिल भारतीय विश्वविद्यालय प्रतियोगिताओं में प्रतिभाग लेने की योग्यता मांगी गई थी. इसके बाद 16 और 17 फरवरी 2023 को आवेदन करने वाले अभ्यर्थियों के दस्तावेजों के सत्यापन के लिए स्पोर्ट्स ऑथोरिटी ऑफ इंडिया लखनऊ में बुलाया गया था. इस दौरान अभ्यर्थियों का खेल परीक्षण और प्रमाणपत्रों का सत्यापन किया गया था.

डिप्टी एसपी दीपचंद यादव ने बताया कि सत्यापन और खेल परीक्षण के दौरान बागपत निवासी अभ्यर्थी उज्जवल ने भी परीक्षण पास किया और उसके सभी प्रमाणपत्रों का सत्यापन भी सफल हुआ. उज्जवल ने एथलेटिक्स विधा के अन्तर्गत वेटलिफ्टिंग में प्रतिभाग करने का इंडियन वेटलिफ्टिंग फेडरेशन नोएडा द्वारा जारी प्रमाण पत्र के आधार पर आवेदन किया था. इसके आधार पर उज्जवल को प्रमाण पत्रों की संवीक्षा के उपरांत कौशल परीक्षण में सम्मिलित किया गया. इसमें यह सफल रहा. लेकिन, जब इस प्रमाण पत्र को सत्यापन के लिए सम्बंधित संस्था को भेजा गया तो फेडरेशन ने उससे संबंधित कोई भी प्रमाण पत्र निर्गत न किए जाने की बात कही. जांच करने पर सामने आया कि आरोपी अभ्यर्थी ने पुलिस में नौकरी पाने के लिए जाली प्रमाण पत्र जमा किया था. हुसैनगंज थाना प्रभारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि जालसाज अभ्यर्थी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर अग्रिम कार्रवाई की गई है.

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