लखनऊ: पशुपालन विभाग में फर्जी टेंडर के मामले में 24 घंटे की रिमांड पर लिए गए आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन ने पूछताछ में कई अहम जानकारियां पुलिस को दी हैं. न्यायालय ने कोतवाली हजरतगंज पुलिस को 24 घंटे की रिमांड मंजूर की थी. गुरुवार को रिमांड की अवधि दोपहर 12 बजे से शुरू हुई जो 5 तारीख को दोपहर 12 बजे तक समाप्त हो जाएगी. कोतवाली हजरतगंज में एसीपी श्वेता श्रीवास्तव ने अरविंद सेन से पूछताछ की और उनकी आवाज का नमूना भी लिया. वहीं पूछताछ में उन्होंने पशुधन घोटाले में खुद की संलिप्तता से इनकार किया. आरोपी आईपीएस ने कहा कि उन्होंने व्यापारी को न ही धमकी दी है और न ही इसके लिए पैसे लिए.
पशुपालन विभाग में फर्जी टेंडर के नाम पर 9 करोड़ 72 लाख रुपये की ठगी के मामले में आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन को गुरुवार को कोतवाली हजरतगंज पुलिस में रिमांड पर लेकर पूछताछ की गई. हालांकि पूछताछ में आईपीएस अफसर अरविंद सेन प्रकरण में अपनी भूमिका को खारिज किया. उन्होंने सीबीसीआईडी के पद पर रहते हुए भी किसी प्रकार के लेनदेन से खुद को अलग किया है. उन्होंने कहा कि, उन्होंने व्यापारी को कोई धमकी भी नहीं दी है, बल्कि व्यापारी ने जो पैसे दिए हैं वह आशीष राय ने कंपनी के खातों में स्थानांतरित किए हैं.
अरविंद सेन ने पूछताछ में बताया कि उन पर लगे सभी आरोप बेबुनियाद हैं. उनका आशीष राय से पुराना परिचय है. इसी को लेकर उनसे कई बार बातचीत हुई है. बहरहाल, शुक्रवार को पूछताछ के बाद उन्हें पुलिस जेल में दाखिल कर दिया जाएगा.