लखनऊ: बुधवार को 24 घंटे में 2 लाख 32 हजार सैम्पल टेस्ट किए गए. ऐसे में 35 नए मरीज वायरस की चपेट में मिले. वहीं एक की वायरस ने जान ले ली, जबकि 34 मरीज बीमारी को हराने में कामयाब रहे. यूपी में देश में सर्वाधिक 6 करोड़ 97 लाख से अधिक टेस्ट किए गए. इस दौरान केजीएमयू, बीएचयू, सीडीआरआई की लैब में जीन सिक्वेंसिंग टेस्ट किए जा रहे. इसमें अब तक सिर्फ दो डेल्टा प्लस के केस रहे. वहीं 90 फीसद से ज्यादा डेल्टा वैरिएंट ही पाया गया. अब 419 के करीब एक्टिव केस रह गए हैं.
ये जिले कोरोना मुक्त
अलीगढ़, बलिया, अमेठी, बहराइच, चित्रकूट, फर्रुखाबाद, फिरोजाबाद, हरदोई, हाथरस, कासगंज, कौशांबी, महोबा, सहारनपुर, शामली और सोनभद्र कोरोना मुक्त हो गए. अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद के मुताबिक राज्य में बाहर से लोगों का आना जाना जारी है. ऐसे में 21 अगस्त से 30 अगस्त तक घर-घर सर्वे और संदिग्धों का कोरोना टेस्ट होगा.
कब-कितने मरीज
एक अगस्त को 36 मरीज मिले. दो अगस्त को 25, वहीं तीन अगस्त को 65 रोगी पाए गए. इसके अलावा 4 अगस्त को 61, 5 अगस्त को 34, 6 अगस्त को 41, 7 अगस्त को 28, 8 अगस्त को 58, 9 अगस्त को 23, 10 अगस्त को 20, 11 अगस्त को 27 व 12 अगस्त को 43 मरीज मिले. वहीं माह में सर्वाधिक मौतें 4 गुरुवार को ही हुई. 13 अगस्त को 33 मरीज मिले. 14 अगस्त को 42, 15 अगस्त 72 नए मरीज पाए गए. 16 अगस्त को 17 नए मरीज मिले. 17 अगस्त को 27 मरीज मिले.
अब सिर्फ 0.01 फीसद पॉजिटीविटी रेट
मरीजों की कुल पॉजिटीविटी रेट 3 फीसद घटकर 2.61 रह गई है. इसके अलावा राज्य में पॉजिटीविटी रेट 0.04 से घटकर 0.01 फीसद रह गई है. वहीं मृत्युदर अभी 1 फीसद पर बनी हुई है. जून में प्रदेश में संक्रमण दर का औसत 1 फीसद रहा, जबकि जुलाई में 0.3 फीसद पॉजिटीविटी रेट की गई. 30 अप्रैल को यूपी में सर्वाधिक एक्टिव केस 3 लाख 10 हजार 783 रहे. अब यह संख्या 419 के करीब रह गई. वहीं रिकवरी रेट मार्च में जहां 98.2 फीसद थी. अप्रैल में घटकर 76 फीसद तक पहुंच गई. वर्तमान में फिर रिकवरी रेट 98.6 फीसद हो गई है. वहीं 2020 से अब तक कोरोना की कुल संक्रमण दर 2.68 फीसद रह गई.
राज्य में कोरोना की तीसरी लहर का खतरा बना हुआ है. वहीं एसजीपीजीआई के रेजीडेंट डॉक्टरों ने आंदोलन छेड़ दिया. उधर, बुधवार को 6 लाख से अधिक कोरोना की डोज लगाई गई. राज्य में पहले चार से पांच लाख लोगों को रोज वैक्सीन लगाई जाती थी. जून के दूसरे सप्ताह से हर रोज 6 लाख टीका लगाने का लक्ष्य रखा गया. वहीं 21 जून से हेल्थ टीम द्वारा सात लाख से साढ़े आठ लाख तक रोज डोज लगाना शुरू किया गया. ऐसे में जून में एक करोड़ डोज लगाने का लक्ष्य 24 दिन में हासिल कर लिया गया. जुलाई में हर रोज 10 लाख डोज लगाने का लक्ष्य तय किया गया. मगर, केंद्र सरकार से पर्याप्त मात्रा में डोज नहीं मिली.
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ऐसे में हर रोज 10 लाख वैक्सीन नहीं लग पा रही. सिर्फ माह में दो बार 10 लाख से ज्यादा डोज लग सकी. इसमें 6 जुलाई को एक दिन में 10 लाख 3 हजार 425 डोज लगी थी. इसके बाद 24 जुलाई को 10 लाख 6 हजार 68 डोज लगाकर रिकॉर्ड बनाया गया है. यह अब तक का एक दिन में सर्वाधिक वैक्सीन लगाने का रिकॉर्ड था. वहीं 3 अगस्त को मेगा कैम्प लगे. शहर से लेकर गांव तक ऑन द स्पॉट पंजीकरण कर टीकाकरण किया गया. इस दौरान 29 लाख 50 से अधिक को टीका लगाया गया. ऐसे में एक दिन में सर्वाधिक 29 लाख टीका लगाने का रिकॉर्ड बना. वहीं 16 अगस्त को 23 लाख 67 हजार से अधिक को टीका लगाया गया. बुधवार शाम तक 6 लाख 64 हजार 718 डोज लगी.
4 हजार 179 बूथ पर लगा टीका
अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद के मुताबिक सूबे में कुल 4 हजार 179 टीकाकरण बूथ बनाए गए. इसमें 4058 सरकारी और 121 प्राइवेट बूथ रहे. इन पर शाम तक 6 लाख 64 हजार 718 डोज लगी. ऐसे में अब तक कुल 6 करोड़ 11 लाख 44 हजार 959 को डोज लगी.
पीजीआई में आंदोलन की राह पर डॉक्टर
पीजीआई रेजीडेंट डॉक्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ. आकाश माथुर और सचिव डॉ. अनिल गंगवार ने आंदोलन का एलान किया. उन्होंने कहा कि डीएम-एमसीएच कर रहे छात्रों का तीन वर्ष की रेजीडेंटशिप हो चुकी है. इसके बाद नेशनल मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया के नियमों के मुताबिक असिस्टेंट प्रोफेसर के पद डॉक्टरों को लिया जाएगा. वरना सभी को कार्यमुक्त किया जाए. सुनवाई न होने पर दीक्षा समारोह का बहिष्कार किया जाएगा.
लखनऊ में बढ़ा टीकाकरण का ग्राफ
राजधानी लखनऊ में कोरोना के खिलाफ टीकाकरण का ग्राफ लगातार बढ़ता ही जा रहा है. 17 अगस्त के आंकड़ों के अनुसार लखनऊ में अब तक 23 लाख 23 हजार 562 लोगों को वैक्सीन लगाई जा चुकी है. वर्ष 2021 की अनुमानित जनसंख्या लखनऊ में 53 लाख से अधिक हो चुकी है, जिनमें से 27 लाख 74 हजार के करीब पुरुष और 25 लाख 43 हजार के आसपास महिलाओं की संख्या है.
जिला प्रतिरक्षण अधिकारी एमपी सिंह ने बताया कि आंकड़ों के अनुसार 18 से 44 आयु वर्ग के 10 लाख 64 हजार लोगों को वैक्सीन लग चुकी है. 60 वर्ष से अधिक उम्र के 396000 बुजुर्गों को, 45 से 59 आयु वर्ग के 611000 बीमारों और स्वस्थ लोगों को टीका लगाया जा चुका है. इसके साथ ही 138000 से अधिक स्वास्थ्य कर्मियों और 113000 फ्रंटलाइन कर्मियों को भी टीका लगाया जा चुका है. इस प्रकार फुल 23 लाख से अधिक टीकाकरण हो चुका है. उन्होंने बताया कि 15 सितंबर तक 18 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों का वैक्सीनेशन पूरा कर लेने का लक्ष्य है.