लखनऊ: यूपी विधानसभा चुनाव 2022 (UP Assembly Election 2022) में जीत को लेकर समाजवादी पार्टी तैयारियों को आगे बढ़ा रही है. सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के नवरात्र से अपने चुनाव अभियान की शुरुआत करने वाले हैं. खास बात यह है कि वह अपने चाचा शिवपाल सिंह यादव से सियासी गठजोड़ को लेकर फिलहाल शांत हैं. सूत्रों का कहना है कि सपा और शिवपाल की पार्टी प्रसपा का सियासी गठजोड़ मुश्किल ही नजर आ रहा है. अगर ऐसा नहीं हो पाया तो दोनों पार्टियों को नुकसान उठाना पड़ सकता है.
समाजवादी पार्टी और प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के सूत्रों का कहना है कि अगर सपा और प्रसपा का गठजोड़ नहीं हुआ, उससे नुकसान समाजवादी पार्टी को उठाना पड़ सकता है. क्योंकि प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के साथ एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी, सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर व भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर आजाद हैं. ऐसे में इन दलों के शिवपाल सिंह यादव के साथ होकर चुनाव लड़ने से समाजवादी पार्टी के वोटों में बिखराव होगा और इसका फायदा भारतीय जनता पार्टी को हो सकता है.
समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता फखरुल हसन चांद कहते हैं कि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव 12 अक्टूबर से समाजवादी विजय यात्रा निकालने जा रहे हैं. उत्तर प्रदेश की दमनकारी सरकार के खिलाफ बिगुल फूंकने का शंखनाद होगा. उत्तर प्रदेश की जनता से आशीर्वाद लेने के लिए अखिलेश यादव निकल रहे हैं. हमें पूरा विश्वास है कि जनता समाजवादी पार्टी के साथ आएगी और भारतीय जनता पार्टी सरकार को हम उखाड़ फेंककर सपा सरकार बनाएंगी. जनता सपा की तरफ आशा और विश्वास से देख रही है.