बाराबंकी : जिले के पूरे डलाई ब्लॉक में पूर्व सैनिकों ने विजय दिवस मनाया. इस अवसर पर क्षेत्र के गणमान्य व्यक्तियों ने भी शहीद सैनिकों को पुष्पांज अर्पित कर श्रद्धांजलि दी. यह कार्यक्रम वेटरन्स एसेसिएसन (पूर्व सैनिक संगठन) ने मनाया, जिसमें क्षेत्र के गणमान्य व्यक्तियों ने शिरकत की. ब्लॉक डेवलपमेंट अधिकारी सर्वेश तिवारी ने सबसे पहले स्मृति पट्टिका पर पुष्प चक्र अर्पित किया और बताया कि देश में इन्हीं सैनिकों की वजह से हम लोग खुली हवा में सांस ले पा रहे हैं. संगठन के राष्ट्रीय महासचिव राकेश कुमार शर्मा ने कहा कि देश में 1971 में एक युद्ध हुआ था, जिसमें 3900 सैनिक हमारे शहीद हुए थे और फिर सैनिकों ने अपने रण कौशल से पाकिस्तान के 93,000 सैनिकों को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया था. जनरल नियाजी समेत 93 हजार सैनिकों ने भारत के सैनिकों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया था. इन शहीदों का सदैव देश ऋणी रहेगा. वहीं संगठन के प्रदेश अध्यक्ष राघवेंद्र सिंह बबलू ने बताया कि 1971 का युद्ध 3 दिसंबर को शुरू हुआ था और 16 दिसंबर को विजय दिवस हम लोग मनाते हैं. क्योंकि इसी दिन यह युद्ध समाप्त हुआ था और भारत को विजय प्राप्त हुई थी.
विजय दिवस पर पूर्व सैनिकों ने शहीदों को दी श्रद्धांजलि - यूपी में विजय दिवस
![विजय दिवस पर पूर्व सैनिकों ने शहीदों को दी श्रद्धांजलि tribute paid to martyred soldiers on victory day](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/768-512-9899291-thumbnail-3x2-immm.jpg?imwidth=3840)
21:05 December 16
पूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस, शहीदों को किया याद
20:44 December 16
ऑनलाइन गायन प्रतियोगिता का हुआ आयोजन
![tribute paid to martyred soldiers on victory day](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/9899291_lko.jpg)
लखनऊ : सरोजनीनगर स्थित कैप्टन मनोज कुमार पांडेय उत्तर प्रदेश सैनिक स्कूल में यह वर्ष हीरक जयंती वर्ष के रूप में मनाया जा रहा है. इसके तहत आयोजित कार्यक्रमों की श्रंखला में अखिल भारतीय प्रतियोगिताओं का आयोजन भी किया जा रहा है. बुधवार को विजय दिवस के अवसर पर देशभक्ति गीतों की ऑनलाइन गायन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें कई राज्यों के 15 प्रतिष्ठित स्कूलों के बच्चों ने हिस्सा लिया. इस प्रतियोगिता में एमिटी इंटरनेशनल स्कूल लखनऊ के मान मेहरोत्रा प्रथम स्थान पर रह कर स्वर्ण पदक के हकदार बने. जबकि सैनिक स्कूल झुंझुनू राजस्थान के प्रियेश चरन दूसरे स्थान पर रहे और उन्होंने रजत पदक हासिल किया. वहीं सैनिक स्कूल नालंदा बिहार के आर्यन ने तीसरे स्थान पर रहकर कांस्य पदक प्राप्त किया. इसके अलावा स्कूल में कक्षा 12 के छात्र सैनिकों के बीच अंतर सदन वॉलीबॉल प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. इस प्रतियोगिता में किदवई हाउस प्रथम स्थान पर और टंडन हाउस दूसरे स्थान पर, जबकि संपूर्ण सदन तीसरे स्थान पर रहा.
कार्यक्रम के दौरान स्कूल परिसर में स्थित वॉर मेमोरियल पर विजय दिवस अभियान में अपने प्राणों की आहुति देने वाले भारतीय वीर सैनिकों को स्कूल के प्रधानाचार्य लेफ्टिनेंट कर्नल उदय प्रताप सिंह सहित अन्य लोगों ने पुष्प के साथ ही श्रद्धा सुमन अर्पित किए. इस मौके पर प्रशिक्षण प्रभारी संगीता सुनील, डॉ. विनीता भट्ट और अरुण सिन्हा के अलावा छात्र सैनिक कप्तान निहाल शर्मा सहित स्कूल के सभी लोगों ने श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए वीर सैनिकों को याद किया. बाद में कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए स्कूल के प्रधानाचार्य लेफ्टिनेंट कर्नल उदय प्रताप सिंह ने कार्यक्रम समन्वयक डॉ. अनीश कुमार सहित स्कूल के पूरे स्टाफ को धन्यवाद दिया.
19:54 December 16
कानपुर में कारगिल हाइट्स पर मनाया गया विजय दिवस
![tribute paid to martyred soldiers on victory day](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/9899291_m.jpg)
कानपुर : आईआईटी कानपुर में एनसीसी कर्मचारियों और दिग्गजों के साथ कर्नल आशोक मोर ने कारगिल हाइट्स पर विजय दिवस मनाया. गौरतलब रहे कि 16 दिसंबर भारत और उसके पड़ोसी बांग्लादेश और पाकिस्तान के लिए एक महत्वपूर्ण दिन है. 1971 में भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ युद्ध जीता, जिसके परिणामस्वरूप बांग्लादेश (तब पूर्वी पाकिस्तान) का जन्म हुआ और सार्वजनिक रूप से पाक सैनिकों को भारत के सामने आत्मसमर्पण करना पड़ा. द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यह सबसे बड़ा सैन्य आत्मसमर्पण था. युद्ध तब शुरू हुआ, जब पाकिस्तान ने 11 भारतीय एयरबेसों पर हवाई हमले किए थे. यह संभवत: पहली बार था, जब भारत की तीनों सेनाओं ने एकजुट होकर लड़ाई लड़ी. भारत ने पश्चिम में पाकिस्तानी सेना की हरकतों का तुरंत जवाब दिया और लगभग 15,010 किलोमीटर पाकिस्तान क्षेत्र पर कब्जा कर लिया. पाकिस्तानी सेना के प्रमुख आमिर अब्दुल्ला खान नियाजी सहित 93,000 सैनिकों के भारतीय सेना और बांग्लादेश की मुक्ति वाहिनी के संयुक्त बलों के सामने आत्मसमर्पण करने के बाद युद्ध समाप्त हो गया. जनरल नियाजी ने 16 दिसंबर 1971 को ढाका में आत्मसमर्पण के साधन पर हस्ताक्षर किए, जिससे पूर्वी पाकिस्तान यानी बांग्लादेश का जन्म हुआ. बांग्लादेश के जन्म के साथ पाकिस्तान ने भी अपना आधा क्षेत्र खो दिया.
18:19 December 16
कुशीनगर में पूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस
कुशीनगर : 1971 में पाकिस्तान से मिली विजय को याद करते हुए कुशीनगर के मुख्यालय पडरौना में आज के दिन को पूर्व सैनिकों के संगठन ने विजय दिवस के रूप में मनाया. नगरपालिका सभागार में आयोजित हुए कार्यक्रम में वैश्विक बीमारी कोरोना के कारण इस बार पूर्व सैनिकों की कम ही संख्या जुटी. पूर्व सैनिकों ने पाकिस्तान के विरुद्ध सन 1971 में मिली ऐतिहासिक जीत को याद करते हुए भारत माता के जयकारों से अपने वीर शहीद जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की. कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए रिटायर्ड ब्रिगेडियर केपी सिंह ने कहा कि आज का दिन हम सैनिकों के लिए शौर्य और गर्व का विषय है. कार्यक्रम में भाजपा के संगठन मंत्री रामेश्वर, कैप्टन एलबी त्रिपाठी, कैप्टन शमसुद्दीन, एसएन दूबे सहित काफी संख्या में पूर्व सैनिक मौजूद रहे. कोरोना संक्रमण को देखते हुए पूर्व सैनिकों ने इस बार विजय दिवस के उपलक्ष्य में प्रतिवर्ष निकलने वाला अपना विजय जुलूस स्थगित कर दिया.
16:13 December 16
आज ही के दिन 16 दिसंबर 1971 में भारत-पाकिस्तान के बीच हुए युद्ध में भारत ने पाकिस्तान पर विजय प्राप्त की थी. इस दिवस को विजय दिवस के रूप में मनाया जाता है. विजय दिवस के इस मौके पर अमर शहीद वीर जवानों को पूर्व सैनिकों ने एकत्रित होकर श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रद्धांजलि दी. इस मौके पर शहीदों के अतुलनीय योगदान को याद कर उन्हें नमन किया गया.
लखनऊ : यूपी के कई जिलों में आज विजय दिवस के मौके पर अमर शहीद जवानों को श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रद्धांजलि दी गई और उनके अतुलनीय योगदान को याद किया गया. आज ही के दिन 16 दिसंबर 1971 को भारत-पाकिस्तान युद्ध में भारत ने पाकिस्तान पर विजय प्राप्त की थी. विजय दिवस के मौके पर शहीदों के अतुलनीय योगदान को याद कर उन्हें नमन किया गया.
हरदोई में पूर्व सैनिकों ने दी श्रद्धांजलि
भारत-पाक युद्ध में हरदोई जनपद के 100 से अधिक सैनिकों ने भाग लिया था. इस युद्ध में जनपद के 9 सैनिकों ने अपनी शहादत दी थी, विजय दिवस के मौके पर आज अमर शहीद जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित कर उन्हें याद किया गया. इस दौरान सैनिक कल्याण पुनर्वास केंद्र में शहीदों की याद में एक गोष्ठी का आयोजन भी किया गया, जिसमें पूर्व सैनिकों ने बड़ी संख्या में हिस्सा लिया और अपने-अपने विचार व्यक्त किए.
इन सैनिकों ने दी थी शहादत
जिले के रहने वाले राजपूत रेजीमेंट के सिपाही सुदर्शन सिंह, मोहम्मददीन, रामचरण, शिवरतन सिंह, मुनेश्वर दयाल, जयराम, राजनारायण, जगपाल सिंह और मूलचंद्र ने देश की खातिर अपनी शहादत दी थी. विजय दिवस के इस मौके पर जनपद के तमाम पूर्व सैनिक उनके आश्रित और तमाम अधिकारियों ने एकत्रित होकर शहीदों के चित्रों पर माल्यार्पण कर पुष्प अर्पित किए और उनको नमन किया.
21:05 December 16
पूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस, शहीदों को किया याद
बाराबंकी : जिले के पूरे डलाई ब्लॉक में पूर्व सैनिकों ने विजय दिवस मनाया. इस अवसर पर क्षेत्र के गणमान्य व्यक्तियों ने भी शहीद सैनिकों को पुष्पांज अर्पित कर श्रद्धांजलि दी. यह कार्यक्रम वेटरन्स एसेसिएसन (पूर्व सैनिक संगठन) ने मनाया, जिसमें क्षेत्र के गणमान्य व्यक्तियों ने शिरकत की. ब्लॉक डेवलपमेंट अधिकारी सर्वेश तिवारी ने सबसे पहले स्मृति पट्टिका पर पुष्प चक्र अर्पित किया और बताया कि देश में इन्हीं सैनिकों की वजह से हम लोग खुली हवा में सांस ले पा रहे हैं. संगठन के राष्ट्रीय महासचिव राकेश कुमार शर्मा ने कहा कि देश में 1971 में एक युद्ध हुआ था, जिसमें 3900 सैनिक हमारे शहीद हुए थे और फिर सैनिकों ने अपने रण कौशल से पाकिस्तान के 93,000 सैनिकों को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया था. जनरल नियाजी समेत 93 हजार सैनिकों ने भारत के सैनिकों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया था. इन शहीदों का सदैव देश ऋणी रहेगा. वहीं संगठन के प्रदेश अध्यक्ष राघवेंद्र सिंह बबलू ने बताया कि 1971 का युद्ध 3 दिसंबर को शुरू हुआ था और 16 दिसंबर को विजय दिवस हम लोग मनाते हैं. क्योंकि इसी दिन यह युद्ध समाप्त हुआ था और भारत को विजय प्राप्त हुई थी.
20:44 December 16
ऑनलाइन गायन प्रतियोगिता का हुआ आयोजन
![tribute paid to martyred soldiers on victory day](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/9899291_lko.jpg)
लखनऊ : सरोजनीनगर स्थित कैप्टन मनोज कुमार पांडेय उत्तर प्रदेश सैनिक स्कूल में यह वर्ष हीरक जयंती वर्ष के रूप में मनाया जा रहा है. इसके तहत आयोजित कार्यक्रमों की श्रंखला में अखिल भारतीय प्रतियोगिताओं का आयोजन भी किया जा रहा है. बुधवार को विजय दिवस के अवसर पर देशभक्ति गीतों की ऑनलाइन गायन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें कई राज्यों के 15 प्रतिष्ठित स्कूलों के बच्चों ने हिस्सा लिया. इस प्रतियोगिता में एमिटी इंटरनेशनल स्कूल लखनऊ के मान मेहरोत्रा प्रथम स्थान पर रह कर स्वर्ण पदक के हकदार बने. जबकि सैनिक स्कूल झुंझुनू राजस्थान के प्रियेश चरन दूसरे स्थान पर रहे और उन्होंने रजत पदक हासिल किया. वहीं सैनिक स्कूल नालंदा बिहार के आर्यन ने तीसरे स्थान पर रहकर कांस्य पदक प्राप्त किया. इसके अलावा स्कूल में कक्षा 12 के छात्र सैनिकों के बीच अंतर सदन वॉलीबॉल प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. इस प्रतियोगिता में किदवई हाउस प्रथम स्थान पर और टंडन हाउस दूसरे स्थान पर, जबकि संपूर्ण सदन तीसरे स्थान पर रहा.
कार्यक्रम के दौरान स्कूल परिसर में स्थित वॉर मेमोरियल पर विजय दिवस अभियान में अपने प्राणों की आहुति देने वाले भारतीय वीर सैनिकों को स्कूल के प्रधानाचार्य लेफ्टिनेंट कर्नल उदय प्रताप सिंह सहित अन्य लोगों ने पुष्प के साथ ही श्रद्धा सुमन अर्पित किए. इस मौके पर प्रशिक्षण प्रभारी संगीता सुनील, डॉ. विनीता भट्ट और अरुण सिन्हा के अलावा छात्र सैनिक कप्तान निहाल शर्मा सहित स्कूल के सभी लोगों ने श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए वीर सैनिकों को याद किया. बाद में कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए स्कूल के प्रधानाचार्य लेफ्टिनेंट कर्नल उदय प्रताप सिंह ने कार्यक्रम समन्वयक डॉ. अनीश कुमार सहित स्कूल के पूरे स्टाफ को धन्यवाद दिया.
19:54 December 16
कानपुर में कारगिल हाइट्स पर मनाया गया विजय दिवस
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कानपुर : आईआईटी कानपुर में एनसीसी कर्मचारियों और दिग्गजों के साथ कर्नल आशोक मोर ने कारगिल हाइट्स पर विजय दिवस मनाया. गौरतलब रहे कि 16 दिसंबर भारत और उसके पड़ोसी बांग्लादेश और पाकिस्तान के लिए एक महत्वपूर्ण दिन है. 1971 में भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ युद्ध जीता, जिसके परिणामस्वरूप बांग्लादेश (तब पूर्वी पाकिस्तान) का जन्म हुआ और सार्वजनिक रूप से पाक सैनिकों को भारत के सामने आत्मसमर्पण करना पड़ा. द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यह सबसे बड़ा सैन्य आत्मसमर्पण था. युद्ध तब शुरू हुआ, जब पाकिस्तान ने 11 भारतीय एयरबेसों पर हवाई हमले किए थे. यह संभवत: पहली बार था, जब भारत की तीनों सेनाओं ने एकजुट होकर लड़ाई लड़ी. भारत ने पश्चिम में पाकिस्तानी सेना की हरकतों का तुरंत जवाब दिया और लगभग 15,010 किलोमीटर पाकिस्तान क्षेत्र पर कब्जा कर लिया. पाकिस्तानी सेना के प्रमुख आमिर अब्दुल्ला खान नियाजी सहित 93,000 सैनिकों के भारतीय सेना और बांग्लादेश की मुक्ति वाहिनी के संयुक्त बलों के सामने आत्मसमर्पण करने के बाद युद्ध समाप्त हो गया. जनरल नियाजी ने 16 दिसंबर 1971 को ढाका में आत्मसमर्पण के साधन पर हस्ताक्षर किए, जिससे पूर्वी पाकिस्तान यानी बांग्लादेश का जन्म हुआ. बांग्लादेश के जन्म के साथ पाकिस्तान ने भी अपना आधा क्षेत्र खो दिया.
18:19 December 16
कुशीनगर में पूर्व सैनिकों ने मनाया विजय दिवस
कुशीनगर : 1971 में पाकिस्तान से मिली विजय को याद करते हुए कुशीनगर के मुख्यालय पडरौना में आज के दिन को पूर्व सैनिकों के संगठन ने विजय दिवस के रूप में मनाया. नगरपालिका सभागार में आयोजित हुए कार्यक्रम में वैश्विक बीमारी कोरोना के कारण इस बार पूर्व सैनिकों की कम ही संख्या जुटी. पूर्व सैनिकों ने पाकिस्तान के विरुद्ध सन 1971 में मिली ऐतिहासिक जीत को याद करते हुए भारत माता के जयकारों से अपने वीर शहीद जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की. कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए रिटायर्ड ब्रिगेडियर केपी सिंह ने कहा कि आज का दिन हम सैनिकों के लिए शौर्य और गर्व का विषय है. कार्यक्रम में भाजपा के संगठन मंत्री रामेश्वर, कैप्टन एलबी त्रिपाठी, कैप्टन शमसुद्दीन, एसएन दूबे सहित काफी संख्या में पूर्व सैनिक मौजूद रहे. कोरोना संक्रमण को देखते हुए पूर्व सैनिकों ने इस बार विजय दिवस के उपलक्ष्य में प्रतिवर्ष निकलने वाला अपना विजय जुलूस स्थगित कर दिया.
16:13 December 16
आज ही के दिन 16 दिसंबर 1971 में भारत-पाकिस्तान के बीच हुए युद्ध में भारत ने पाकिस्तान पर विजय प्राप्त की थी. इस दिवस को विजय दिवस के रूप में मनाया जाता है. विजय दिवस के इस मौके पर अमर शहीद वीर जवानों को पूर्व सैनिकों ने एकत्रित होकर श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रद्धांजलि दी. इस मौके पर शहीदों के अतुलनीय योगदान को याद कर उन्हें नमन किया गया.
लखनऊ : यूपी के कई जिलों में आज विजय दिवस के मौके पर अमर शहीद जवानों को श्रद्धा सुमन अर्पित कर श्रद्धांजलि दी गई और उनके अतुलनीय योगदान को याद किया गया. आज ही के दिन 16 दिसंबर 1971 को भारत-पाकिस्तान युद्ध में भारत ने पाकिस्तान पर विजय प्राप्त की थी. विजय दिवस के मौके पर शहीदों के अतुलनीय योगदान को याद कर उन्हें नमन किया गया.
हरदोई में पूर्व सैनिकों ने दी श्रद्धांजलि
भारत-पाक युद्ध में हरदोई जनपद के 100 से अधिक सैनिकों ने भाग लिया था. इस युद्ध में जनपद के 9 सैनिकों ने अपनी शहादत दी थी, विजय दिवस के मौके पर आज अमर शहीद जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित कर उन्हें याद किया गया. इस दौरान सैनिक कल्याण पुनर्वास केंद्र में शहीदों की याद में एक गोष्ठी का आयोजन भी किया गया, जिसमें पूर्व सैनिकों ने बड़ी संख्या में हिस्सा लिया और अपने-अपने विचार व्यक्त किए.
इन सैनिकों ने दी थी शहादत
जिले के रहने वाले राजपूत रेजीमेंट के सिपाही सुदर्शन सिंह, मोहम्मददीन, रामचरण, शिवरतन सिंह, मुनेश्वर दयाल, जयराम, राजनारायण, जगपाल सिंह और मूलचंद्र ने देश की खातिर अपनी शहादत दी थी. विजय दिवस के इस मौके पर जनपद के तमाम पूर्व सैनिक उनके आश्रित और तमाम अधिकारियों ने एकत्रित होकर शहीदों के चित्रों पर माल्यार्पण कर पुष्प अर्पित किए और उनको नमन किया.