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लखनऊ: ट्रॉमा सेंटर बनाने के लिए मिली जमीन, अब तक शुरू नहीं हुआ काम - लखनऊ ट्रॉमा सेंटर

राजधानी लखनऊ में 3 मार्च को 100 बेड का ट्रॉमा सेंटर बनाने की न्यू रखी गई थी, लेकिन अभी तक इस जमीन पर ट्रॉमा सेंटर के नाम पर सिर्फ खाली मैदान मौजूद है.

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20 लाख लोगों को मिलनी थी राहत.
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Published : Dec 1, 2019, 3:07 PM IST

लखनऊ: जानकीपुरम विस्तार में पिछले दिनों बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के लिए ट्रॉमा सेंटर का शिलान्यास किया गया. लागत निर्माण के पहली किस्त भी मिल गई, लेकिन अभी तक यहां एक ईंट भी नहीं रखी गई है. ट्रॉमा सेंटर से क्षेत्र के करीब 20 लाख लोगों को लाभ देने की बात कही जा रही थी, लेकिन जमीनी हालात इन दावों से बिल्कुल इतर साबित हो रहे हैं.

ट्रॉमा सेंटर के लिए अब तक शुरू नहीं हुआ काम.

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने किया था शिल्यान्यास

  • जानकीपुरम विस्तार में ट्रॉमा सेंटर का शिलान्यास राजनाथ सिंह के द्वारा किया गया था.
  • राजधानी में 3 मार्च को 100 बेड का ट्रॉमा सेंटर बनाने की न्यू रखी गई थी.
  • शासन ने ट्रॉमा सेंटर में निर्माण की पहली किस्त तक संबंधित कार्यदायी संस्था को दे दी है.
  • करीब 3 माह बाद भी इस जमीन पर ट्रॉमा सेंटर के नाम पर सिर्फ खाली मैदान मौजूद है.

पहले भी कराई जा चुकी जमीन खाली

  • इस खाली जमीन पर अब झुग्गी-झोपड़ी वालों ने घर बनाना शुरू कर दिया है.
  • हालात ऐसे हो चलें कि इस जमीन पर लगभग आधी बस्ती खड़ी हो चुकी है.
  • एलडीए से जमीन मिलने के बाद जिला प्रशासन ने अतिक्रमण को पूरी तरह से साफ कराया था.
  • स्वास्थ्य विभाग की वजह से एक बार फिर यहां पर अतिक्रमण प्रभावी रूप में दिख रहा है.

20 लाख लोगों को मिलनी थी राहत

  • ट्रॉमा सेंटर खुलने से करीब 20 लाख से अधिक आबादी को राहत मिलेगी.
  • स्वास्थ विभाग इस पूरे मामले में अपनी आंखें मूंदे बैठा है.
  • निर्माण के लिए 2 करोड़ 53 लाख रुपये के रूप पहली किस्त के रूप में दिए जा चुके हैं.

लखनऊ: जानकीपुरम विस्तार में पिछले दिनों बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के लिए ट्रॉमा सेंटर का शिलान्यास किया गया. लागत निर्माण के पहली किस्त भी मिल गई, लेकिन अभी तक यहां एक ईंट भी नहीं रखी गई है. ट्रॉमा सेंटर से क्षेत्र के करीब 20 लाख लोगों को लाभ देने की बात कही जा रही थी, लेकिन जमीनी हालात इन दावों से बिल्कुल इतर साबित हो रहे हैं.

ट्रॉमा सेंटर के लिए अब तक शुरू नहीं हुआ काम.

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने किया था शिल्यान्यास

  • जानकीपुरम विस्तार में ट्रॉमा सेंटर का शिलान्यास राजनाथ सिंह के द्वारा किया गया था.
  • राजधानी में 3 मार्च को 100 बेड का ट्रॉमा सेंटर बनाने की न्यू रखी गई थी.
  • शासन ने ट्रॉमा सेंटर में निर्माण की पहली किस्त तक संबंधित कार्यदायी संस्था को दे दी है.
  • करीब 3 माह बाद भी इस जमीन पर ट्रॉमा सेंटर के नाम पर सिर्फ खाली मैदान मौजूद है.

पहले भी कराई जा चुकी जमीन खाली

  • इस खाली जमीन पर अब झुग्गी-झोपड़ी वालों ने घर बनाना शुरू कर दिया है.
  • हालात ऐसे हो चलें कि इस जमीन पर लगभग आधी बस्ती खड़ी हो चुकी है.
  • एलडीए से जमीन मिलने के बाद जिला प्रशासन ने अतिक्रमण को पूरी तरह से साफ कराया था.
  • स्वास्थ्य विभाग की वजह से एक बार फिर यहां पर अतिक्रमण प्रभावी रूप में दिख रहा है.

20 लाख लोगों को मिलनी थी राहत

  • ट्रॉमा सेंटर खुलने से करीब 20 लाख से अधिक आबादी को राहत मिलेगी.
  • स्वास्थ विभाग इस पूरे मामले में अपनी आंखें मूंदे बैठा है.
  • निर्माण के लिए 2 करोड़ 53 लाख रुपये के रूप पहली किस्त के रूप में दिए जा चुके हैं.
Intro:जानकीपुरम विस्तार में पिछले दिनों बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के लिए जानकीपुरम विस्तार में ट्रामा सेंटर का शिलान्यास किया गया। लागत निर्माण के पहली किस्त भी मिल गई। लेकिन अभी तक इसकी एक ईंट भी नहीं रखी गई है। ट्रामा सेंटर से क्षेत्र के करीब 20 लाख लोगों को लाभ देने की बात कही जा रही थी। लेकिन जमीनी हालात इन दावों से बिल्कुल इतर साबित हो रहे हैं।





Body:जानकीपुरम विस्तार में ट्रामा सेंटर का शिलान्यास तत्कालीन गृहमंत्री राजनाथ सिंह के द्वारा किया गया था। राजधानी में 3 मार्च को 100 बेड का ट्रामा सेंटर बनाने की न्यू रखी गई थी। इसके लिए तमाम तैयारियां भी हो चुकी हैं यहां तक कि शासन ने ट्रामा सेंटर में निर्माण की पहली किस्त तक संबंधित कार्यदायी संस्था को दे दी है। लेकिन यह जमीन अभी भी खाली पड़ी हुई है। लगभग 3 माह बीत चुके हैं। लेकिन इस जमीन पर अभी तक ट्रामा सेंटर के नाम पर सिर्फ खाली मैदान मौजूद है और अगल-बगल के कब्जे दार इस जमीन पर कब्जा भी कर रहे हैं। लेकिन स्वास्थ्य भाग की नींद नहीं खुल रही हो।

पहले भी जमीन खाली कराई जा चुकी

इस खाली जमीन पर अब वापस से झुग्गी झोपड़ी वालों ने इस जमीन पर वापस से अपने घर बनाने शुरू कर दिए हालात ऐसे चलें कि इस जमीन पर लगभग आधी बस्ती खड़ी हो चुकी है। राजधानी में यह तीसरा ट्रामा सेंटर बनाने की बात हो रही थी। केजीएमयू,पीजीआई में अभी तक ट्रामा सेंटर चल रहे थे। इस क्षेत्र में स्थापित केजीएमयू ट्रामा सेंटर में सबसे अधिक लोड होने की वजह से ट्रामा सेंटर का निर्माण कराया जा रहा है। एल डी ए से जमीन मिलने के बाद जिला प्रशासन से इस पर पहले भी झुग्गी झोपड़ी अन्य अतिक्रमण को पूरी तरह से साफ कराया गया था। लेकिन स्वास्थ्य विभाग की नजरअंदाज जी की वजह से एक बार फिर से यहां पर झुग्गी झोपड़ी अन्य अतिक्रमण प्रभावी रूप में दिख रहा है। ट्रामा सेंटर के बनने में अतिक्रमण काफी समय से रोड़ा बना हुआ था। जो कि एक समस्या के रूप में फिर से स्वास्थ्य विभाग के सामने मुंह बाए खड़ा है।

20 लाख लोगों को मिलनी थी राहत

ट्रामा सेंटर से इलाके में पढ़ने वाले जानकीपुरम विस्तार में समय ट्रामा सेंटर खोलने से करीब 20 लख से अधिक आबादी को राहत मिलेगी। लेकिन 20 लाख लोगों को आखिर कब राहत मिल पाएगी। यह एक बड़ा सवाल है क्योंकि स्वास्थ विभाग इस पूरे मामले में अपनी आंखें मूंदे बैठा है। निर्माण के लिए 2 करोड़ 53 लाख रुपये के रूप पहली किस्त के रूप में दिए जा चुके हैं। लेकिन अभी भी यह जमीन खाली पड़ी हुई है।

बाइट- डॉ नरेंद्र अग्रवाल, मुख्यचिकित्साधिकारी, लखनऊ


Conclusion:एन्ड
शुभम पाण्डेय
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