लखनऊ : पर्यावरण को संरक्षित रखने के लिए पूर्वोत्तर रेलवे ग्रीन एनर्जी को लगातार बढ़ावा दे रहा है. यही वजह है कि पूर्वोत्तर रेलवे के स्टेशन, हॉस्पिटल और मुख्यालय सोलर पैनल से लैस किए गए हैं. बिजली की खपत करने के बजाय ग्रीन एनर्जी का भरपूर इस्तेमाल किया जा रहा है, जिससे ऊर्जा की खपत कम हो रही है और इसका भरपूर फायदा पूर्वोत्तर रेलवे को मिल रहा है. साल 2021-22 में ऊर्जा संरक्षण क्षेत्र में कार्य के लिए उत्तर प्रदेश नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा विकास अभिकरण ( यूपीनेडा) की तरफ से पूर्वोत्तर रेलवे को पहला पुरस्कार भी मिला था.
केंद्र और उत्तर प्रदेश सरकार लगातार ग्रीन एनर्जी को बढ़ावा देने के लिए लोगों को सौर ऊर्जा लगवाने के लिए प्रेरित कर रही है. ऊर्जा संरक्षण के लिए ग्रीन एनर्जी पर पूरा फोकस है. सोलर पैनल पर भारी भरकम सब्सिडी भी दी जा रही है. सरकारी दफ्तरों को सोलर पैनल से लैस किया जा रहा है. पूर्वोत्तर रेलवे ऊर्जा संरक्षण की दिशा में बेहतर कार्य कर रहा है. पूर्वोत्तर रेलवे लखनऊ, वाराणसी और इज्जत नगर मंडल के साथ ही यांत्रिक कारखाना गोरखपुर में पुरानी फिटिंग बदलकर नई एलईडी लाइट लगाई गई हैं. बीएलडीसी पंखे लगाए गए हैं. ज्यादा ऊर्जा खपत वाले एयर कंडीशनर की जगह फाइव स्टार इनवर्टर एयर कंडीशन लगाए जा रहे हैं. ग्रीन एनर्जी की दिशा में पूर्वोत्तर रेलवे लगातार बेहतर कर रहा है यही वजह है कि यूपीनेडा की तरफ से पूर्वोत्तर रेलवे को पहला स्थान प्रदान किया गया था.
करोड़ों रुपए की हुई बचत : पूर्वोत्तर रेलवे लखनऊ मंडल के जन संपर्क अधिकारी महेश कुमार गुप्ता बताते हैं कि 'वित्तीय वर्ष 2022-23 के दौरान लखनऊ मंडल के 48 स्टेशनों और मंडल कार्यालय, ऐशबाग कॉलोनी और बादशाहनगर हॉस्पिटल में 1615 KWp क्षमता के सोलर प्लांट से 19,53,868 यूनिट विद्युत ऊर्जा का उत्पादन किया गया. इससे
1,11,33,516 रुपए की बचत हुई.'
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