लखनऊः मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार की अध्यक्षता में स्टेट लेवल इम्पावर्ड कमेटी की बैठक हुई. रुर्बन मिशन योजना (श्यामा प्रसाद मुखर्जी रुर्बन मिशन) के तहत 16 जिलों में कार्यों को गति प्रदान करने के लिए महत्वपर्ण निर्णय लिए गए. साथ ही कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं को मंजूरी मिली.
श्रावस्ती में एक नये क्लस्टर का चयन इकौना तहसील में किया गया. प्रति क्लस्टर लगभग 100 करोड़ का प्राविधान है. इसमें 30 करोड़ सीजीएफ मद में केंद्र एवं राज्य सरकार तथा 70.00 करोड़ विभागीय योजनाओं के कन्वर्जेन्स से दिया जाता है. योजना के तहत प्रदेश के 19 क्लस्टर के सीजीएफ मद में स्वीकृत डीपीआर में आ रही समस्याओं के निदान के लिए 199.33 करोड़ की परियोजनाओं में परिवर्तन की स्वीकृति प्रदान की गई. ताकि प्रस्तावित कार्यों को ससमय पूर्ण किया जा सके.
चित्रकूट में रुर्बन उद्यमिता प्रषिक्षण विकास केन्द्र, पर्यटन सुविधा केन्द्र रुर्बन मिड-वे निर्माण, रुर्बन ऑडिटोरियम, मल्टीपरपज काॅम्प्लेक्स, रुर्बन आजीविका प्रशिक्षण केन्द्र सोनेपुर, बहराइच में पाइप वाटर सप्लाई नेटवर्क एवं मिर्जापुर में मल्टीपरपज कम्युनिटी सेन्टर जैसे कार्यों पर स्वीकृति दी गई.
रुर्बन क्लस्टर के तहत परियोजनाओं को रुर्बन एवं यूपीएसआरएलएम के माध्यम से संचालित करने का निर्णय लिया गया है. परियोजना को नौ क्लस्टरों, लखनऊ, वाराणसी, प्रयागराज, मिर्जापुर, बहराइच, चित्रकूट एवं सोनभद्र में प्रारम्भ किया जा रहा है. क्लस्टर के तहत निर्मित परियोजनाओं की सराहन करते हुए योजनाओं का सूचारू रूप से संचालित किए जाने एवं रख रखाव के निर्देश दिए गए. ताकि निर्मित परिसम्पत्तियों का लाभ क्लस्टर के तहत निवासित परिवारों को प्रत्यक्ष रूप से मिल सके.
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इन विभागों की जिम्मेदारी
बैठक में बताया गया कि योजना के क्रियान्वयन में पंचायती राज, लघु सिंचाई, ग्रामीण अभियंत्रण विभाग, लोक निर्माण, वन, भूमि विकास एवं जल संसाधन, कृृषि, मत्स्य, सिचांई, रेशम, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण, बाल विकास एवं पुष्टाहार, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, माध्यमिक एवं बेसिक शिक्षा, ऊर्जा, सूचना प्रौद्योगिकी, परिवहन, खेल-कूद, खाद एवं रसद विभाग, नवीकरणीय ऊर्जा, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन एवं कौशल विकास मिशन विभाग द्वारा कन्वर्जेन्स किया जा रहा है.
तीन चरणों की योजना
योजनाओं के कन्वर्जेन्स तथा केंद्र सरकार द्वारा प्रदत्त क्रिटिकल गैप फण्ड (सीजीएफ) को शामिल करते हुए तीन चरणों में कुल धनराशि 2080.80 करोड़ की परियोजना तैयार की गई है. इसमें कन्वर्जेन्स की धनराशि 1530.45 करोड़ एवं सीजीएफ की धनराशि 553.79 करोड़ रुपये सम्मिलित है. केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार द्वारा सीजीएफ के रूप में अब तक कुल धनराशि 398.18 करोड़ प्राप्त हो चुकी है. इसके सापेक्ष 261.21 करोड़ का व्यय कर लिया गया है.
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2017-18 में शुरू हुई योजना
उल्लेखनीय है कि ग्रामीण विकास मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा संचालित श्यामा प्रसाद मुखर्जी रुर्बन मिशन योजना का प्रारम्भ उत्तर प्रदेश में वर्ष 2017-18 में किया गया है. योजना का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्र में स्थानीय आर्थिक विकास को प्रोत्साहन देना, आधारभूत सेवाओं में वृद्धि करना और सुव्यस्थित रुर्बन क्लस्टरों का सृजन करना है.
16 जिलों में संचालित योजना
रुर्बन मिशन योजना के तहत उत्तर प्रदेश के 16 जिलों चित्रकूट, गाजियाबाद, कुशीनगर, गौतमबुद्ध नगर, फिरोजाबाद, मिर्जापुर, लखनऊ, प्रयागराज, बागपत, बरेली, सोनभद्र, श्रावस्ती, वाराणसी, आगरा, बहराइच एवं महोबा में कुल 19 रुर्बन क्लस्टर का सृजन करते हुए 193 ग्राम पंचायतों में योजना संचालित की जा रही है.