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प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने की अमूल्य औषधि है संगीत

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Published : May 13, 2021, 10:46 PM IST

Updated : May 13, 2021, 11:06 PM IST

गायिका डॉ. आकांक्षा गुप्ता का कहना है कि कोरोना काल में संगीत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने की एक अमूल्य औषधि है. संगीत सुनने से हमें बीमारी से लड़ने की हिम्मत मिलेगी.

गायिका डॉ. आकांक्षा गुप्ता
गायिका डॉ. आकांक्षा गुप्ता

लखनऊः पूरा विश्व कोरोना महामारी से जूझ रहा है, ऐसे में लोगों में दहशत और बेचैनी है. ऐसे में संगीत के जरिए लोग इस दहशत से बाहर निकल सकते हैं. गायिका डॉ. आकांक्षा गुप्ता का कहना है कि कोरोना काल में संगीत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने की एक अमूल्य औषधि है. संगीत सुनने से नई ऊर्जा के साथ हमें बीमारी से लड़ने की हिम्मत मिलेगी.

संगीत से दूर होगी कोरोना की दहशत
डॉ. आकंक्षा गुप्ता का कहना है कि जीवन का कोई भी कार्य संगीत के बिना अधूरा ही है. जीवन के प्रत्येक अवसर पर किसी न किसी रूप में संगीत विद्यमान रहता है. चाहे वह कोई मांगलिक कार्य हो या मृत्यु जैसी शोक स्थिति. ईश्वर आराधना हो या युद्ध क्षेत्र प्रत्येक क्षेत्र में संगीत विद्यमान है. कोविड-19 के प्राण घातक बीमारी से जूझ रहा पूरा विश्व अपनों को खो देने वाले भयावह दृश्य का सामना करते करते अब हिम्मत हारने लगा है. ऐसे में संगीत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली औषधि का काम कर रही है. जिसके माध्यम से हमें किसी भी बीमारी से लड़ने की हिम्मत मिलती है.

यह भी पढ़ें-कोरोना में अस्पताल का अमानवीय चेहरा उजागर, 9 दिन के इलाज का थमाया 6 लाख का बिल

संगीत को दवा के रूप में अपनाना चाहिए
डॉक्टर अंशिका गुप्ता ने बताया कि संगीत सुनने का प्रभाव मनुष्य के साथ-साथ पेड़ पौधों और जंतुओं पर भी देखा गया है. माना जाता है कि शारीरिक रूप से स्वस्थ होने से पहले मन मस्तिष्क का स्वस्थ होना अति आवश्यक है. शोध के पश्चात वैज्ञानिकों ने यह सिद्ध किया है कि संगीत के माध्यम से निकली हुई तरंगे हमारे मस्तिष्क को प्रभावित करती हैं और हम कम थकान महसूस करते हैं. उन्होंने कहा कि वर्तमान की प्रतिकूल परिस्थितियों में घर पर रहकर ही अपने शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को कई गुना तेजी से बढ़ाने के लिए हमें संगीत को एक दवा के रूप में अपनाना चाहिए.

लखनऊः पूरा विश्व कोरोना महामारी से जूझ रहा है, ऐसे में लोगों में दहशत और बेचैनी है. ऐसे में संगीत के जरिए लोग इस दहशत से बाहर निकल सकते हैं. गायिका डॉ. आकांक्षा गुप्ता का कहना है कि कोरोना काल में संगीत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने की एक अमूल्य औषधि है. संगीत सुनने से नई ऊर्जा के साथ हमें बीमारी से लड़ने की हिम्मत मिलेगी.

संगीत से दूर होगी कोरोना की दहशत
डॉ. आकंक्षा गुप्ता का कहना है कि जीवन का कोई भी कार्य संगीत के बिना अधूरा ही है. जीवन के प्रत्येक अवसर पर किसी न किसी रूप में संगीत विद्यमान रहता है. चाहे वह कोई मांगलिक कार्य हो या मृत्यु जैसी शोक स्थिति. ईश्वर आराधना हो या युद्ध क्षेत्र प्रत्येक क्षेत्र में संगीत विद्यमान है. कोविड-19 के प्राण घातक बीमारी से जूझ रहा पूरा विश्व अपनों को खो देने वाले भयावह दृश्य का सामना करते करते अब हिम्मत हारने लगा है. ऐसे में संगीत प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाली औषधि का काम कर रही है. जिसके माध्यम से हमें किसी भी बीमारी से लड़ने की हिम्मत मिलती है.

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संगीत को दवा के रूप में अपनाना चाहिए
डॉक्टर अंशिका गुप्ता ने बताया कि संगीत सुनने का प्रभाव मनुष्य के साथ-साथ पेड़ पौधों और जंतुओं पर भी देखा गया है. माना जाता है कि शारीरिक रूप से स्वस्थ होने से पहले मन मस्तिष्क का स्वस्थ होना अति आवश्यक है. शोध के पश्चात वैज्ञानिकों ने यह सिद्ध किया है कि संगीत के माध्यम से निकली हुई तरंगे हमारे मस्तिष्क को प्रभावित करती हैं और हम कम थकान महसूस करते हैं. उन्होंने कहा कि वर्तमान की प्रतिकूल परिस्थितियों में घर पर रहकर ही अपने शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को कई गुना तेजी से बढ़ाने के लिए हमें संगीत को एक दवा के रूप में अपनाना चाहिए.

Last Updated : May 13, 2021, 11:06 PM IST
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