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रोडवेज एमडी का आदेश, बसों की 31 बिंदुओं के आधार पर करें जांच

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Published : Jul 25, 2019, 6:32 AM IST

रोडवेज के एमडी ने बुधवार को सभी क्षेत्रीय प्रबंधक, सेवा प्रबंधक और सहायक क्षेत्रीय प्रबंधकों को यात्री सुरक्षा और इससे जुड़े बसों के फिटनेस टेस्ट को लेकर दिशा निर्देश जारी किया है. उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि सुरक्षा की दृष्टि से बसों की जांच की जाए और उसके बाद ही बसों को फिटनेस सर्टिफिकेट जारी किया जाए.

प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम.

लखनऊ: बसों से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक डॉ. राजशेखर ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिया है. प्रबंध निदेशक ने निर्देश देते हुए कहा कि डिपो से जब भी बस रोड पर संचालन के लिए निकले तो सुरक्षा से जुड़े 31 बिंदुओं का परीक्षण किया जाए. इसके बाद ही बस को फिटनेस सर्टिफिकेट जारी किया जाए.

बता दें कि बसों से हो रही लगातार दुर्घटना में कई बार सामने आया कि तकनीकी रूप से बस अनफिट थी. ऐसे में प्रबंध निदेशक ने अनफिट बसों को रूट पर नहीं भेजने के सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं.

रोडवेज एमडी ने बसों में 31 बिंदुओं की जांच का दिया आदेश.

प्रबंध निदेशक डॉ. राजशेखर ने आदेश दिया कि-

  • रोडवेज और अनुबंधित बसों की चेकिंग की जाए.
  • खस्ताहाल बसों को 15 दिन में हर हाल में दुरुस्त किया जाए.
  • सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक डिपो स्तर पर जांच करें और जांच के बाद रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक को सौंपें.
  • आरएम और एसएम रिपोर्ट तैयार करने के बाद मुख्यालय के प्रधान प्रबंधक को सौंपें.
  • 31 जुलाई तक 300 किमी से अधिक दूरी तय करने वाली बसों का फिटनेस टेस्ट पूरा कर लिया जाए.
  • दूसरे फेज में 15 अगस्त तक सभी बसों की जांच की जाए.
  • बसों में तकनीकी खामियों को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
  • अधिकारी गंभीरता से बसों की जांच करें और जांच रिपोर्ट तैयार करें.

प्रबंध निदेशक के निर्देश पर बसों की फाइनल फिटनेस रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक और सेवा प्रबंधक से होते हुए परिवहन निगम मुख्यालय पर तैनात मुख्य प्रधान प्रबंधक के पास भेजी जाएगी. 31 बिंदुओं में बस के अंदर किसी भी बिंदु पर कमी पाए जाने पर जांचकर कार्रवाई की जाएगी.

लखनऊ: बसों से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक डॉ. राजशेखर ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिया है. प्रबंध निदेशक ने निर्देश देते हुए कहा कि डिपो से जब भी बस रोड पर संचालन के लिए निकले तो सुरक्षा से जुड़े 31 बिंदुओं का परीक्षण किया जाए. इसके बाद ही बस को फिटनेस सर्टिफिकेट जारी किया जाए.

बता दें कि बसों से हो रही लगातार दुर्घटना में कई बार सामने आया कि तकनीकी रूप से बस अनफिट थी. ऐसे में प्रबंध निदेशक ने अनफिट बसों को रूट पर नहीं भेजने के सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं.

रोडवेज एमडी ने बसों में 31 बिंदुओं की जांच का दिया आदेश.

प्रबंध निदेशक डॉ. राजशेखर ने आदेश दिया कि-

  • रोडवेज और अनुबंधित बसों की चेकिंग की जाए.
  • खस्ताहाल बसों को 15 दिन में हर हाल में दुरुस्त किया जाए.
  • सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक डिपो स्तर पर जांच करें और जांच के बाद रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक को सौंपें.
  • आरएम और एसएम रिपोर्ट तैयार करने के बाद मुख्यालय के प्रधान प्रबंधक को सौंपें.
  • 31 जुलाई तक 300 किमी से अधिक दूरी तय करने वाली बसों का फिटनेस टेस्ट पूरा कर लिया जाए.
  • दूसरे फेज में 15 अगस्त तक सभी बसों की जांच की जाए.
  • बसों में तकनीकी खामियों को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
  • अधिकारी गंभीरता से बसों की जांच करें और जांच रिपोर्ट तैयार करें.

प्रबंध निदेशक के निर्देश पर बसों की फाइनल फिटनेस रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक और सेवा प्रबंधक से होते हुए परिवहन निगम मुख्यालय पर तैनात मुख्य प्रधान प्रबंधक के पास भेजी जाएगी. 31 बिंदुओं में बस के अंदर किसी भी बिंदु पर कमी पाए जाने पर जांचकर कार्रवाई की जाएगी.

Intro:एमडी का आदेश, 15 दिन में हो बसों में 31 बिंदुओं की जांच, 15 अगस्त तक सौंपें रिपोर्ट

लखनऊ। बसों से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिया है कि डिपो से जब भी बस रोड पर संचालन के लिए निकले तो सुरक्षा से जुड़े 31 बिंदुओं का परीक्षण किया जाए। इसके बाद ही बस को फिटनेस सर्टिफिकेट जारी किया जाए। उन्होंने आदेश दिया कि रोडवेज और अनुबंधित बसों की चेकिंग की जाए और खस्ताहाल बसों को 15 दिन में हर हाल में दुरुस्त किया जाए। सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक डिपो स्तर पर जांच करें। इसके बाद इसकी रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक को सौंपेंगे और आरएम, एसएम रिपोर्ट तैयार करने के बाद मुख्यालय के प्रधान प्रबंधक को सौंपें।


Body:रोडवेज के एमडी डॉ राजशेखर ने बुधवार को सभी क्षेत्रीय प्रबंधक, सेवा प्रबंधक और सहायक क्षेत्रीय प्रबंधकों को यात्री सुरक्षा और इससे जुड़े बसों के फिटनेस टेस्ट को लेकर साफ तौर पर दिशा निर्देश जारी किए। एमडी ने कहा कि आगामी 31 जुलाई तक उक्त सभी सुरक्षा प्वाइंटों को लेकर 300 किलोमीटर से अधिक दूरी तय करने वाली बसों का फिटनेस टेस्ट पूरा कर लिया जाए। इसके बाद दूसरे फेज में आगामी 15 अगस्त तक सभी बसों की जांच की जाए।। उन्होंने कहा कि बसों में तकनीकी खामियों को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। अधिकारी गंभीरता से बसों की जांच करें और जांच रिपोर्ट तैयार करें।


Conclusion:प्रबंध निदेशक के निर्देश पर बसों की फाइनल फिटनेस रिपोर्ट क्षेत्रीय प्रबंधक और सेवा प्रबंधक से होते हुए परिवहन निगम मुख्यालय पर तैनात मुख्य प्रधान प्रबंधक (प्राविधिक) के पास भेजी जाएगी और 31 बिंदुओं में बस के अंदर किसी भी बिंदु पर कमी पाए जाने पर जांच कर कार्रवाई की जाएगी। बता दें कि बसों से हो रही लगातार दुर्घटना में कई बार सामने आया कि तकनीकी रूप से बस अनफिट थी। ऐसे में एमडी ने अनफिट बसों को रूट पर नहीं भेजने के सख्त दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इससे दुर्घटनाओं में निश्चित तौर पर कमी आएगी।
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