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लखनऊ: कर्मचारियों ने किया 'राजस्व महासंघ' का गठन, सरकार के खिलाफ आर-पार की लड़ाई का ऐलान - राजस्व महासंघ का गठन

उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा राजस्व विभाग में चकबंदी विभाग का विलय करने के फैसले से नाराज राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों के चार संगठनों ने मिलकर एक राजस्व महासंघ का गठन किया और इस पूरी लड़ाई को एकजुट होकर लड़ने का फैसला किया है.

राजस्व महासंघ का गठन.
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Published : Sep 22, 2019, 5:10 PM IST

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग में विलय करने के फैसले का राजस्व विभाग के कर्मचारियों ने विरोध करते हुए आर-पार की लड़ाई का ऐलान किया है. राजस्व विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों के 4 संगठनों ने एक राजस्व महासंघ का गठन किया और इस पूरी लड़ाई को एकजुट होकर लड़ने का फैसला किया है.

जानकारी देते अध्यक्ष यूपी राजस्व महासंघ

राजस्व महासंघ का गठन, सरकार को दी चुनौती-

उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ, उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ, उत्तर प्रदेश राजस्व निरीक्षक संघ एवं राजस्व संग्रह, अमीन संघ उत्तर प्रदेश के पदाधिकारियों की आज लखनऊ में बैठक हुई. जिसके बाद उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया गया. इसके साथ ही सरकार को यह चेतावनी दी गई कि अगर चकबंदी विभाग का विलय राजस्व विभाग में करने पर सरकार अड़ी रही तो हम इसका पुरजोर विरोध करेंगे. इसके खिलाफ आंदोलन करने को बाध्य होंगे. उत्तर प्रदेश की सभी तहसीलों में पूरी तरह से कामकाज ठप कर देंगे.

राजस्व विभाग ने दी आंदोलन की चेतावनी-

राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों के द्वारा गठिच किए गए इस 'राजस्व महासंघ' की बैठक में आज यह चर्चा हुई कि 'हम उत्तर प्रदेश की सभी 350 तहसीलों में आंदोलन करेंगे और इस आंदोलन में 50,000 से ज्यादा राजस्व कर्मी शामिल होंगे.' उत्तर प्रदेश के इस आंदोलन में प्रदेश भर के तहसीलदार नायब तहसीलदार भी राजस्व महासंघ का साथ देंगे. उत्तर प्रदेश के करीब 30,000 से अधिक लेखपाल इस लड़ाई में उनका साथ देंगे. खास बात रही कि उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े कर्मचारी संगठन राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग के फैसले का विरोध किया है. सरकार इस मामले में तो राजस्व कर्मियों के आंदोलन करने पर काफी नुकसान भी उठाना पड़ सकता है.

राजस्व महासंघ ने किया पदाधिकारियों का ऐलान-

उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ में मुख्य रूप से जिन प्रमुख संगठनों के लोगों को जिम्मेदारी दी गई है. उनमें उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के अध्यक्ष निखिल शुक्ला को संयोजक बनाया गया है. उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के महामंत्री अनुराग सिंह को अध्यक्ष बनाया गया है. उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के महामंत्री बृजेश श्रीवास्तव को महामंत्री बनाया गया है. उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से शंभू शरण को कोषाध्यक्ष बनाया गया है. इसी तरह उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से ज्ञानेंद्र द्विवेदी को उपाध्यक्ष बनाया गया है. राजस्व निरीक्षक संघ से जितेंद्र कुमार सिंह शिव बरन सिंह को उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी दी गई है. लेखपाल संघ से विनोद कश्यप वह उत्तर प्रदेश राजस्व संग्रह अमीन संघ से समर बहादुर सिंह को उपाध्यक्ष का दायित्व दिया गया है.

ये भी पढ़ें:- टैक्स में छूट और सस्ते श्रम से भारत में बढ़ेगा विदेशी निवेश: सीएम योगी

राजस्व विभाग के चार महत्वपूर्ण संगठनों ने मिलकर उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया है. हमारी मांग है कि चकबंदी विभाग का विलय हम किसी कीमत में राजस्व विभाग में स्वीकार नहीं करेंगे. हम इसका विरोध करते हैं और अगर सरकार इस पर खड़ी रही तो हम इसके खिलाफ आंदोलन करने को भी देखेंगे.
-अनुराग सिंह,अध्यक्ष यूपी राजस्व महासंघ

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग में विलय करने के फैसले का राजस्व विभाग के कर्मचारियों ने विरोध करते हुए आर-पार की लड़ाई का ऐलान किया है. राजस्व विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों के 4 संगठनों ने एक राजस्व महासंघ का गठन किया और इस पूरी लड़ाई को एकजुट होकर लड़ने का फैसला किया है.

जानकारी देते अध्यक्ष यूपी राजस्व महासंघ

राजस्व महासंघ का गठन, सरकार को दी चुनौती-

उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ, उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ, उत्तर प्रदेश राजस्व निरीक्षक संघ एवं राजस्व संग्रह, अमीन संघ उत्तर प्रदेश के पदाधिकारियों की आज लखनऊ में बैठक हुई. जिसके बाद उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया गया. इसके साथ ही सरकार को यह चेतावनी दी गई कि अगर चकबंदी विभाग का विलय राजस्व विभाग में करने पर सरकार अड़ी रही तो हम इसका पुरजोर विरोध करेंगे. इसके खिलाफ आंदोलन करने को बाध्य होंगे. उत्तर प्रदेश की सभी तहसीलों में पूरी तरह से कामकाज ठप कर देंगे.

राजस्व विभाग ने दी आंदोलन की चेतावनी-

राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों के द्वारा गठिच किए गए इस 'राजस्व महासंघ' की बैठक में आज यह चर्चा हुई कि 'हम उत्तर प्रदेश की सभी 350 तहसीलों में आंदोलन करेंगे और इस आंदोलन में 50,000 से ज्यादा राजस्व कर्मी शामिल होंगे.' उत्तर प्रदेश के इस आंदोलन में प्रदेश भर के तहसीलदार नायब तहसीलदार भी राजस्व महासंघ का साथ देंगे. उत्तर प्रदेश के करीब 30,000 से अधिक लेखपाल इस लड़ाई में उनका साथ देंगे. खास बात रही कि उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े कर्मचारी संगठन राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग के फैसले का विरोध किया है. सरकार इस मामले में तो राजस्व कर्मियों के आंदोलन करने पर काफी नुकसान भी उठाना पड़ सकता है.

राजस्व महासंघ ने किया पदाधिकारियों का ऐलान-

उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ में मुख्य रूप से जिन प्रमुख संगठनों के लोगों को जिम्मेदारी दी गई है. उनमें उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के अध्यक्ष निखिल शुक्ला को संयोजक बनाया गया है. उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के महामंत्री अनुराग सिंह को अध्यक्ष बनाया गया है. उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के महामंत्री बृजेश श्रीवास्तव को महामंत्री बनाया गया है. उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से शंभू शरण को कोषाध्यक्ष बनाया गया है. इसी तरह उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से ज्ञानेंद्र द्विवेदी को उपाध्यक्ष बनाया गया है. राजस्व निरीक्षक संघ से जितेंद्र कुमार सिंह शिव बरन सिंह को उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी दी गई है. लेखपाल संघ से विनोद कश्यप वह उत्तर प्रदेश राजस्व संग्रह अमीन संघ से समर बहादुर सिंह को उपाध्यक्ष का दायित्व दिया गया है.

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राजस्व विभाग के चार महत्वपूर्ण संगठनों ने मिलकर उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया है. हमारी मांग है कि चकबंदी विभाग का विलय हम किसी कीमत में राजस्व विभाग में स्वीकार नहीं करेंगे. हम इसका विरोध करते हैं और अगर सरकार इस पर खड़ी रही तो हम इसके खिलाफ आंदोलन करने को भी देखेंगे.
-अनुराग सिंह,अध्यक्ष यूपी राजस्व महासंघ

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश में चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग में विलय करने के फैसले का राजस्व विभाग के कर्मचारियों ने विरोध करते हुए आर-पार की लड़ाई का ऐलान किया है राजस्व विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों के 4 संगठनों ने एक राजस्व महासंघ का गठन किया और इस पूरी लड़ाई को एकजुट होकर लड़ने का फैसला किया।


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उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ उत्तर प्रदेश राजस्व निरीक्षक संघ एवं राजस्व संग्रह अमीन संघ उत्तर प्रदेश के पदाधिकारियों की आज लखनऊ में हुई बैठक के बाद उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया गया और सरकार को यह चेतावनी दी गई कि अगर चकबंदी विभाग का बिल है राजस्व विभाग में करने पर सरकार अड़ी रही तो हम इसका पुरजोर विरोध करेंगे और इसके खिलाफ आंदोलन करने को बाध्य होंगे उत्तर प्रदेश की सभी तहसीलों में पूरी तरह से कामकाज ठप कर देंगे।
राजस्व विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों के दौरा गठन किए गए इस राजस्व महासंघ की बैठक में आज यह चर्चा हुई कि हम उत्तर प्रदेश की सभी 350 तहसीलों में आंदोलन करेंगे और इस आंदोलन में 50,000 से ज्यादा राजस्व कर्मी शामिल होंगे उत्तर प्रदेश के इस आंदोलन में प्रदेश भर के तहसीलदार नायब तहसीलदार भी राजस्व महासंघ का साथ देंगे उत्तर प्रदेश के करीब 30,000 से अधिक लेखपाल इस लड़ाई में उनका साथ देंगे यह भी खास बात रही कि उत्तर प्रदेश के सबसे बड़े कर्मचारी संगठन राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद चकबंदी विभाग के राजस्व विभाग के फैसले का विरोध किया है सरकार इस मामले में तो राजस्व कर्मियों के आंदोलन करने पर काफी नुकसान भी उठाना पड़ सकता है।
उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ में मुख्य रूप से जिन प्रमुख संगठनों के लोगों को जिम्मेदारी दी गई है उनमें उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के अध्यक्ष निखिल शुक्ला को संयोजक बनाया गया है उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ के महामंत्री अनुराग सिंह को अध्यक्ष बनाया गया है उत्तर प्रदेश लेखपाल संघ के महामंत्री बृजेश श्रीवास्तव को महामंत्री बनाया गया है उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से शंभू शरण को कोषाध्यक्ष बनाया गया है इसी तरह उत्तर प्रदेश राजस्व प्रशासनिक अधिकारी संघ से ज्ञानेंद्र द्विवेदी को उपाध्यक्ष बनाया गया है राजस्व निरीक्षक संघ से जितेंद्र कुमार सिंह शिव बरन सिंह को उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी दी गई है लेखपाल संघ से विनोद कश्यप वह उत्तर प्रदेश राजस्व संग्रह अमीन संघ से समर बहादुर सिंह को उपाध्यक्ष का दायित्व दिया गया है।

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अनुराग सिंह, अध्यक्ष यूपी राजस्व महासंघ
राजस्व विभाग के चार महत्वपूर्ण संगठनों ने मिलकर उत्तर प्रदेश राजस्व महासंघ का गठन किया है हमारी मांग है कि चकबंदी विभाग का विलय हम किसी कीमत में राजस्व विभाग में स्वीकार नहीं करेंगे हम इसका विरोध करते हैं और अगर सरकार इस पर खड़ी रही तो हम इसके खिलाफ आंदोलन करने को भी बाद देखेंगे हम उत्तर प्रदेश की तहसीलों में पूरी तरह से कामकाज ठप कर देंगे जिसकी जिम्मेदारी राज्य सरकार की होगी इसके अलावा हमारी मांग है कि रिक्त पदों पर हमारे संवर्ग के लोगों की नियुक्ति की जाए।



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