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UP की जेलों में बंद कैदियों को कब लगाई जाएगी वैक्सीन, जानिए

यूपी की 74 जेलों में बंद 60 साल के ऊपर वाले बुजुर्गों और 45 की उम्र पार कर चुके बीमारियों से ग्रसित कैदियों को कोरोना का टीका लगाया जाएगा. उत्तर प्रदेश जेल कारागार के डीजी आनंद कुमार ने बताया कि 23-24 मार्च को कैदियों को कोरोना की वैक्सीन लगाई जाएगी.

कैदियों को लगाई जाएगी वैक्सीन.
कैदियों को लगाई जाएगी वैक्सीन.
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Published : Mar 20, 2021, 10:04 AM IST

लखनऊ: प्रदेश की 74 जेलों में बंद कैदियों को 23-24 मार्च से कोरोना वैक्सीन लगाई जाएगी. 60 साल के ऊपर वाले बुजुर्गों और 45 की उम्र पार कर चुके बीमारियों से ग्रसित कैदियों को ही वैक्सीन लगाई जाएगी. यह निर्देश उत्तर प्रदेश जेल कारागार के डीजी आनंद कुमार ने जारी किए हैं.

अब तक चार लाख से ज्यादा टेस्ट

डीजी जेल की मानें तो उत्तर प्रदेश की जेलों में कुल 1,12,120 कैदी बंद हैं. इनमें से अब तक 4,33,789 बंदियों की को भी टेस्ट कराए जा चुके हैं. उन्होंने बताया कि कोरोना से बचाव के सभी उपायों का सख्ती से पालन कराया गया है. इसी का नतीजा है कि प्रदेश की किसी भी जेल में एक भी बंदी की मौत कोरोना से नहीं हुई है. जेल में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन मुश्किल वर्तमान समय में उत्तर प्रदेश की जेलों में कोरोना के सिर्फ 22 एक्टिव केस ही रह गए हैं, जिसमें 20 कैदी और 2 जेल स्टॉफ कर्मी शामिल हैं.

दरअसल, जेलों में ज्यादातर कैदी आसपास ही बैठते हैं. ऐसे में सोशल डिस्टेंसिंग का हर वक्त पालन करना बहुत मुश्किल होता है. कोरोना का सबसे ज्यादा खतरा बुजुर्गों और बीमार कैदियों को है. ऐसे में उन्हें वैक्सीन लग जाएगा तो जेल में कोरोना संक्रमण का खतरा बहुत कम हो जाएगा.

लखनऊ: प्रदेश की 74 जेलों में बंद कैदियों को 23-24 मार्च से कोरोना वैक्सीन लगाई जाएगी. 60 साल के ऊपर वाले बुजुर्गों और 45 की उम्र पार कर चुके बीमारियों से ग्रसित कैदियों को ही वैक्सीन लगाई जाएगी. यह निर्देश उत्तर प्रदेश जेल कारागार के डीजी आनंद कुमार ने जारी किए हैं.

अब तक चार लाख से ज्यादा टेस्ट

डीजी जेल की मानें तो उत्तर प्रदेश की जेलों में कुल 1,12,120 कैदी बंद हैं. इनमें से अब तक 4,33,789 बंदियों की को भी टेस्ट कराए जा चुके हैं. उन्होंने बताया कि कोरोना से बचाव के सभी उपायों का सख्ती से पालन कराया गया है. इसी का नतीजा है कि प्रदेश की किसी भी जेल में एक भी बंदी की मौत कोरोना से नहीं हुई है. जेल में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन मुश्किल वर्तमान समय में उत्तर प्रदेश की जेलों में कोरोना के सिर्फ 22 एक्टिव केस ही रह गए हैं, जिसमें 20 कैदी और 2 जेल स्टॉफ कर्मी शामिल हैं.

दरअसल, जेलों में ज्यादातर कैदी आसपास ही बैठते हैं. ऐसे में सोशल डिस्टेंसिंग का हर वक्त पालन करना बहुत मुश्किल होता है. कोरोना का सबसे ज्यादा खतरा बुजुर्गों और बीमार कैदियों को है. ऐसे में उन्हें वैक्सीन लग जाएगा तो जेल में कोरोना संक्रमण का खतरा बहुत कम हो जाएगा.

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